tag:blogger.com,1999:blog-8361671976283392822024-03-04T22:19:27.521-08:00RPSC PORTAL2010This portal is written by vinod bhanaVinod Bhanahttp://www.blogger.com/profile/08200806326936994849noreply@blogger.comBlogger31125tag:blogger.com,1999:blog-836167197628339282.post-66561243270207765332010-10-28T01:37:00.000-07:002010-10-28T01:37:08.071-07:00RPSC LECTURER SANSKRIT SECONDARY ( EDUCATION DEPT) RESULT DECLARED<span style="color: red;"><span style="font-size: large;">RAJASTHAN PUBLIC SERVICE COMMISSION, AJMER</span></span><br />
ONE HUNDRED ONE POSTS OF LECTURER SANSKRIT FOR<br />
SECONDARY EDUCATION DEPT.,WERE ADVERTISED BY THE COMMISSION IN THEIR ADVT.NO. 1/2008-09 & CORRIGENDUM NO. 2/2008-09. INTERVIEWS FOR THESE POSTS WERE HELD FROM 18/10/10 TO 26/10/10. AFTER INTERVIEWING THE CANDIDATES THE COMMISSION HAVE SELECTED FOLLOWING CANDIDATES IN ORDER OF MERIT (FROM LEFT TO RIGHT) AND THEIR NAMES ARE BEING RECOMMENDED TO THE DEPARTMENT:-<br />
<br />
for Result Click Here<br />
<br />
CANDIDATES SELECTED AGAINST GENERAL POSTS :-<br />
==============================================<br />
208890 201661 209046 207345 209032 205181<br />
201875 214636 210448 201009 213629 203289<br />
210745 200613 213944 213813 200607 209757<br />
211722 203540 214581 206551 207937 209224<br />
209976 214574 206043 205590 211488 203679<br />
206695 214196 (BLND) 204940 207975 202626 210542<br />
212047<br />
Total Candidates : - 37<br />
CANDIDATES SELECTED AGAINST GENERAL FEMALE :-<br />
==============================================<br />
201263 209340 214700 207111 212269 201086<br />
208887 202886 211635 202924 204128 208785<br />
200266 214874 (LV) 209300<br />
Total Candidates : - 15<br />
CANDIDATES SELECTED AGAINST OBC GENERAL POSTS :-<br />
==============================================<br />
201687 213966 (OL) 203413 209773 203919 205468<br />
214843 200438 202287 (OL) 205406 202908 212945<br />
214422 208316 211566<br />
Total Candidates : - 15<br />
CANDIDATES SELECTED AGAINST OBC FEMALE :-<br />
==============================================<br />
202674 210811 214830 200784 208797 209910<br />
Total Candidates : - 6<br />
LECTURER - SANSKRIT Page No. -> 2<br />
CANDIDATES SELECTED AGAINST SC GENERAL POSTS :-<br />
==============================================<br />
208754 205574 209870 203787 208391 211187<br />
203462 205254 213999 206192 201938 214531<br />
Total Candidates : - 12<br />
CANDIDATES SELECTED AGAINST SC FEMALE :-<br />
==============================================<br />
206854 209632 204300 209911<br />
Total Candidates : - 4<br />
CANDIDATES SELECTED AGAINST ST GENERAL POSTS :-<br />
==============================================<br />
213652 206302 202950 212143 205474 203538<br />
200739 203438 200551<br />
Total Candidates : - 9<br />
CANDIDATES SELECTED AGAINST ST FEMALE :-<br />
==============================================<br />
206077 212598 213463<br />
Total Candidates : - 3<br />
---------------------------------------------------------------------------<br />
(1) FOURTY EIGHT NAMES HAVE BEEN KEPT IN RESERVE LIST.<br />
AJMER ( K K PATHAK )<br />
DATED : 27/10/2010 SECRETARYVinod Bhanahttp://www.blogger.com/profile/08200806326936994849noreply@blogger.com1tag:blogger.com,1999:blog-836167197628339282.post-82612789687398707822010-10-15T21:27:00.000-07:002010-10-15T21:27:03.055-07:00राजस्थान के जिले -3- झालावाड<span style="color: #20124d; font-size: large;">राजस्थान के जिले -3- झालावाड</span> <br />
<strong>झालावाड</strong> <a href="http://hi.wikipedia.org/wiki/राà¤à¤¸à¥à¤¥à¤¾à¤¨" title="राजस्थान"><span style="color: #0b0080;">राजस्थान</span></a> राज्य के दक्षिण-पूर्व में स्थित <a href="http://hi.wikipedia.org/wiki/à¤à¤¾à¤²à¤¾à¤µà¤¾à¤¡à¤¼_à¤à¤¿à¤²à¤¾" title="झालावाड़ जिला"><span style="color: #0645ad;">झालावाड़ जिला</span></a> का मुख्यालय है। यह झालावाड के <a class="mw-redirect" href="http://hi.wikipedia.org/wiki/हाडà¥à¤¤à¥" title="हाडौती"><span style="color: #0645ad;">हाडौती</span></a> क्षेत्र का हिस्सा है । झालावाड के अलावा <a class="mw-redirect" href="http://hi.wikipedia.org/wiki/à¤à¥à¤à¤¾" title="कोटा"><span style="color: #0b0080;">कोटा</span></a>, <a class="mw-redirect" href="http://hi.wikipedia.org/wiki/बाराà¤" title="बारां"><span style="color: #0645ad;">बारां</span></a> एवं <a class="mw-redirect" href="http://hi.wikipedia.org/wiki/बà¥à¤à¤¦à¥" title="बूंदी"><span style="color: #0645ad;">बूंदी</span></a> हाडौती क्षेत्र में आते हैं । राजस्थान के झालावाड़ ने पर्यटन के लिहाज से अपनी एक अलग पहचान बनाई है। राजस्थान की कला और संस्कृति को संजोए यह शहर अपने खूबसूरत सरोवरों, किला और मंदिरों के लिए जाना जाता है। झालावाड़ की नदियां और सरोवर इस क्षेत्र की दृश्यावली को भव्यता प्रदान करते हैं। यहां अनेक ऐतिहासिक और धार्मिक स्थल भी हैं, जो पर्यटकों को अपनी ओर खींचने में कामयाब होते हैं। झालावाड़ मालवा के पठार के एक छोर पर बसा जनपद है। इस जनपद के अंदर झालावाड़ और झालरापाटन नामक दो पर्यटन स्थल है।<br />
इन दोनों शहरों की स्थापना 18वीं शताब्दी के अन्त में झाला राजपूतों द्वारा की गई थी। इसलिए इन्हें ट्विन सिटी भी कहा जाता है। इन दोनों शहरों के बीच 7 किमी की दूरी है। यह दोनों शहर झाला वंश के राजाओं की समृद्ध रियासत का हिस्सा था।<br />
<br />
<span class="mw-headline" id=".E0.A4.AA.E0.A5.8D.E0.A4.B0.E0.A4.AE.E0.A5.81.E0.A4.96_.E0.A4.86.E0.A4.95.E0.A4.B0.E0.A5.8D.E0.A4.B7.E0.A4.A3"><span style="font-size: large;">प्रमुख आकर्षण</span></span><br />
<span class="mw-headline"><span class="mw-headline" id=".E0.A4.97.E0.A4.A2.E0.A4.BC_.E0.A4.AE.E0.A4.B9.E0.A4.B2">गढ़ महल</span></span><br />
<br />
गढमहल झाला वंश के राजाओं का भव्य महल था। शहर के मध्य स्थित इस महल के तीन कलात्मक द्वार हैं। महल का अग्रभाग चार मंजिला है, जिसमें मेहराबों, झरोखों और गुम्बदों का आनुपातिक विन्यास देखने लायक है।<br />
परिसर के नक्कारखाने के निकट स्थित पुरातात्विक संग्रहालय भी देखने योग्य है। महल का निर्माण 1838 ई. में राजा राणा मदन सिंह ने शुरू करवाया था जिसे बाद में राजा पृथ्वीसिंह ने पूरा करवाया। 1921 में राजा भवानी सिंह ने महल के पिछले भाग में एक नाट्यशाला का निर्माण कराया। इसके निर्माण में यूरोपियन ओपेरा शैली का खास ध्यान रखा गया है।<br />
<h3><span class="mw-headline" id=".E0.A4.95.E0.A5.83.E0.A4.B7.E0.A5.8D.E0.A4.A3_.E0.A4.B8.E0.A4.BE.E0.A4.97.E0.A4.B0">कृष्ण सागर</span></h3>शहर से करीब 6 किमी. दूर कृष्ण सागर नामक विशाल सरोवर है। यह सरोवर एकांतप्रिय लोगों को बहुत पसंद आता है। सरोवर के किनारे पर लकड़ियों से निर्मित एक इमारत है। इस इमारत को रैन बसेरा कहा जाता है। यह इमारत महाराजा राजेन्द्र सिंह ने ग्रीष्मकालीन आवास के लिए बनवाई थी। पक्षियों में रूचि रखने वालों को यह स्थान बहुत भाता है।<br />
<h3><span class="mw-headline" id=".E0.A4.97.E0.A4.BE.E0.A4.97.E0.A4.B0.E0.A4.A8_.E0.A4.AB.E0.A5.8B.E0.A4.B0.E0.A5.8D.E0.A4.9F">गागरन फोर्ट</span></h3>काली सिंध नदी और आहु नदी के संगम पर स्थित गागरन फोर्ट झालावाड़ की एक ऐतिहासिक धरोहर है। यह शहर से उत्तर में 13 किमी. की दूरी पर स्थित है। किले के प्रवेश द्वार के निकट ही सूफी संत ख्वाजा हमीनुद्दीन चिश्ती की दरगाह है। यहां हर वर्ष तीन दिवसीय उर्स मेला भी लगता है।<br />
<h3><span class="mw-headline" id=".E0.A4.B8.E0.A5.82.E0.A4.B0.E0.A5.8D.E0.A4.AF_.E0.A4.AE.E0.A4.82.E0.A4.A6.E0.A4.BF.E0.A4.B0">सूर्य मंदिर</span></h3><div class="rellink relarticle mainarticle">झालावाड़ का दूसरा जुड़वा शहर झालरापाटन को सिटी ऑफ वेल्स यानी घाटियों का शहर भी कहा जाता है। शहर में मध्य स्थित सूर्य मंदिर झालरापाटन का प्रमुख दर्शनीय स्थल है। वास्तुकला की दृष्टि से भी यह मंदिर अहम है। इसका निर्माण दसवीं शताब्दी में मालवा के परमार वंशीय राजाओं ने करवाया था। मंदिर के गर्भगृह में भगवान विष्णु की प्रतिमा विराजमान है। इसे पद्मनाभ मंदिर भी कहा जाता है।</div><h3><span class="mw-headline" id=".E0.A4.B6.E0.A4.BE.E0.A4.A8.E0.A5.8D.E0.A4.A4.E0.A4.BF.E0.A4.A8.E0.A4.BE.E0.A4.A5_.E0.A4.AE.E0.A4.82.E0.A4.A6.E0.A4.BF.E0.A4.B0">शान्तिनाथ मंदिर</span></h3>यह मंदिर सूर्य मंदिर से कुछ दूरी पर स्थित है। ग्यारहवीं शताब्दी में निर्मित इस जैन मंदिर के गर्भगृह में भगवान शांतिथ की सौम्य प्रतिमा विराजमान है। यह प्रतिमा 11 फुट ऊंची है और काले पत्थर से बनी है। मुख्य मंदिर के बाहर विशालकाय दो हाथियों की मूर्तियां इस प्रकार स्थित हैं, मानो प्रहरी के रूप में खड़ी हों।<br />
<h3><span class="mw-headline" id=".E0.A4.97.E0.A5.8B.E0.A4.AE.E0.A4.A4.E0.A5.80_.E0.A4.B8.E0.A4.BE.E0.A4.97.E0.A4.B0">गोमती सागर</span></h3>झालरापाटन का यह विशाल सरोवर गोमती सागर के नाम से जाना जाता है। इसके तट पर बना द्वारिकाधीश मंदिर एक प्रमुख दर्शनीय स्थान है। झाला राजपूतों के कुल देवता द्वारिकाधीश को समर्पित यह मंदिर राजा जालिम सिंह द्वारा बनवाया गया था। शहर के पूर्व में चन्द्रभागा नदी है। जहां चन्द्रावती नगरी थी। उस काल के कुछ मंदिर आज भी यहां स्थित हैं, जिनका निर्माण आठवीं शताब्दी में मालवा नरेश ने करवाया था। इनमें शिव मंदिर प्रमुख हैं। यह मंदिर नदी के घाट पर स्थित है।<br />
<h3><span class="mw-headline" id=".E0.A4.A8.E0.A5.8C.E0.A4.B2.E0.A4.96.E0.A4.BE_.E0.A4.95.E0.A4.BF.E0.A4.B2.E0.A4.BE">नौलखा किला</span></h3>शहर के एक छोर पर ऊंची पहाड़ी पर नौलखा किला एक अन्य पर्यटन स्थल है। इसका निर्माण राजा पृथ्वीसिंह द्वारा 1860 में शुरू करवाया गया था। इसके निर्माण में खर्च होने वाली राशि के आधार पर इसे नौलखा किला कहा जाता है। यहां से शहर का विहंगम नजारा काफी आकर्षक लगता है।<br />
<h3><span class="mw-headline" id=".E0.A4.AC.E0.A5.8C.E0.A4.A6.E0.A5.8D.E0.A4.A7_.E0.A4.94.E0.A4.B0_.E0.A4.9C.E0.A5.88.E0.A4.A8_.E0.A4.AE.E0.A4.82.E0.A4.A6.E0.A4.BF.E0.A4.B0">बौद्ध और जैन मंदिर</span></h3>झालावाड़ और झालरापाटन शहरों के बाहर जैन धर्म और बौद्ध धर्म से जुड़े मंदिर भी पर्यटकों को खूब लुभाते हैं। इसमें चांदखेड़ी का दिगंबर जैन मंदिर और कोलवी स्थित बौद्ध धर्म के दीनयान मत की गुफाएं काफी प्रसिद्ध हैं। झालावाड़ शहर से 23 किमी की दूरी पर भीमसागर बांध स्थित है तथा 65 किमी की दूरी पर भीमगढ किला है। यह स्थल भी पर्यटन के लिहाज से घूमा जा सकता है।<br />
<h2><span class="mw-headline" id=".E0.A4.86.E0.A4.B5.E0.A4.BE.E0.A4.97.E0.A4.AE.E0.A4.A8">आवागमन</span></h2>झालावाड <a class="mw-redirect" href="http://hi.wikipedia.org/wiki/राषà¥à¤à¥à¤°à¥à¤¯_राà¤à¤®à¤¾à¤°à¥à¤_१२" title="राष्ट्रीय राजमार्ग १२"><span style="color: #0645ad;">राष्ट्रीय राजमार्ग १२</span></a> (जयपुर-जबलपुर) पर स्थित है । निकटतम बडा शहर <a class="mw-redirect" href="http://hi.wikipedia.org/wiki/à¤à¥à¤à¤¾" title="कोटा"><span style="color: #0b0080;">कोटा</span></a> है जो ८५ किलोमीटर दूर है । अभी जिला मुख्यालय पर रेलवे लाइन नही है लेकिन कार्य प्रगति पर है और <a class="mw-redirect" href="http://hi.wikipedia.org/wiki/2008" title="2008"><span style="color: #0645ad;">2008</span></a> तक रेलवे स्टेशन बन जाने की उम्मीद है।<br />
झालावाड़ का निकटतम एयरपोर्ट <a class="new" href="http://hi.wikipedia.org/w/index.php?title=%E0%A4%95%E0%A5%8B%E0%A4%9F%E0%A4%BE_%E0%A4%B5%E0%A4%BF%E0%A4%AE%E0%A4%BE%E0%A4%A8%E0%A4%95%E0%A5%8D%E0%A4%B7%E0%A5%87%E0%A4%A4%E0%A5%8D%E0%A4%B0&action=edit&redlink=1" title="कोटा विमानक्षेत्र (पृष्ठ मौजूद नहीं है)"><span style="color: #ba0000;">कोटा विमानक्षेत्र</span></a> है। यह शहर से 87 किमी. दूर स्थित है। नजदीकी रेलवे स्टेशन भी कोटा ही है। कोटा से झालावाड़ जाने के लिए बस या टैक्सी की सेवा ली जा सकती है। इसके अलावा जयपुर, बूंदी, अजमेर, कोटा, दिल्ली, इंदौर आदि शहरों से बस सेवाएं उपलब्धVinod Bhanahttp://www.blogger.com/profile/08200806326936994849noreply@blogger.com0tag:blogger.com,1999:blog-836167197628339282.post-2954885949326753892010-10-15T21:18:00.000-07:002010-10-15T21:18:46.154-07:00राजस्थान के जिले -2- कोटा<span style="font-size: small;"><span style="color: red; font-size: large;">राजस्थान के जिले -2- कोटा</span> </span><br />
<span style="font-size: small;"><strong>कोटा</strong> <a href="http://hi.wikipedia.org/wiki/राà¤à¤¸à¥à¤¥à¤¾à¤¨" title="राजस्थान"><span style="color: #0b0080;">राजस्थान</span></a> का एक प्रमुख औद्योगिक एवं शैक्षणिक शहर है । यह <a href="http://hi.wikipedia.org/wiki/à¤à¤®à¥à¤¬à¤²_नदà¥" title="चम्बल नदी"><span style="color: #0645ad;">चम्बल नदी</span></a> के तट पर बसा हुआ है । राजधानी <a href="http://hi.wikipedia.org/wiki/à¤à¤¯à¤ªà¥à¤°" title="जयपुर"><span style="color: #0b0080;">जयपुर</span></a> से लगभग २४० किलोमीटर दूर सडक एवं रेलमार्ग से । जयपुर-जबलपुर राष्ट्रीय राजमार्ग १२ पर स्थित ।दक्षिण राजस्थान में चंबल नदी के पूर्वी किनारे पर स्थित कोटा उन शहरों में है जहां औद्योगीकरण बड़े पैमाने पर हुआ है। कोटा अनेक किलों, महलों, संग्रहालयों, मंदिरों और बगीचों के लिए लोकप्रिय है। यह शहर नवीनता और प्राचीनता का अनूठा मिश्रण है। जहां एक तरफ शहर के स्मारक प्राचीनता का बोध कराते हैं वहीं चंबल नदी पर बना हाइड्रो इलेक्ट्रिक प्लान्ट और न्यूक्लियर पावर प्लान्ट आधुनिकता का एहसास कराता है।</span><br />
प्रारंभ में कोटा बूंदी राज्य का एक हिस्सा था। मुगल शासक जहांगीर ने जब बूंदी के शासकों को पराजित किया तो बूंदी 1624 ई. में एक स्वतंत्र राज्य के रूप में स्थापित हुआ। राव माधो सिंह यहां के प्रथम स्वतंत्र शासक के रूप में गद्दी पर बैठे। 1818 ई. में कोटा ब्रिटिश साम्राज्य के अधीन हो गया।<br />
<span class="mw-headline" id=".E0.A4.AD.E0.A5.82.E0.A4.97.E0.A5.8B.E0.A4.B2"><span style="font-size: large;">भूगोल</span></span><br />
<span class="mw-headline">कोटा <a class="mw-redirect" href="http://hi.wikipedia.org/wiki/à¤à¤®à¥à¤¬à¤²" title="चम्बल"><span style="color: #0645ad;">चम्बल</span></a> नदी के पूर्वी तट पर स्थित है। यह [[राजस्थान] के दक्षिणी भाग में आता है। यहां का भूगोलिक निर्देशांक है <a class="image" href="http://hi.wikipedia.org/wiki/à¤à¤¿à¤¤à¥à¤°:Erioll_world.svg"><img alt="Erioll world.svg" height="20" src="http://upload.wikimedia.org/wikipedia/commons/thumb/9/9a/Erioll_world.svg/20px-Erioll_world.svg.png" width="20" /></a><span class="plainlinksneverexpand"><img alt="" class="noprint" height="18" mapparam="25.18_75.83_600_400_hi_1_hi" src="http://upload.wikimedia.org/wikipedia/commons/thumb/9/9a/Erioll_world.svg/18px-Erioll_world.svg.png" style="cursor: pointer; padding-bottom: 0px; padding-left: 0px; padding-right: 3px; padding-top: 0px;" title="show location on an interactive map" width="21" /><span style="color: #3366bb;"><span class="geo-nondefault"><span class="geo-dms" title="Maps, aerial photos, and other data for 25°11′N 75°50′E"><span class="latitude">25°11′N</span> <span class="longitude">75°50′E</span></span></span><span class="geo-multi-punct"> / </span><span class="geo-default"><span class="geo-dec geo" title="Maps, aerial photos, and other data for 25.18 75.83"><span class="latitude">25.18</span>, <span class="longitude">75.83</span></span></span></span></span>.। यहां का क्षेत्रफल है 12,436 कि.मी.² (राजस्थान राज्य का 3.63 % भूभाग). यहां की औसत ऊंचाई है 271 मीटर (889 फीट).<br />
<br />
<span class="mw-headline" id=".E0.A4.AA.E0.A5.8D.E0.A4.B0.E0.A4.AE.E0.A5.81.E0.A4.96_.E0.A4.86.E0.A4.95.E0.A4.B0.E0.A5.8D.E0.A4.B7.E0.A4.A3"><span style="font-size: large;">प्रमुख आकर्षण</span></span><br />
<span class="mw-headline"><span class="mw-headline" id=".E0.A4.B8.E0.A4.BF.E0.A4.9F.E0.A5.80_.E0.A4.AB.E0.A5.8B.E0.A4.B0.E0.A5.8D.E0.A4.9F_.E0.A4.AA.E0.A5.88.E0.A4.B2.E0.A5.87.E0.A4.B8"><span style="font-size: large;">सिटी फोर्ट पैलेस</span></span></span><br />
<span class="mw-headline"><span class="mw-headline">चंबल नदी के पूर्वी तट पर 17 वीं शताब्दी में बना यह किला कोटा का मुख्य आकर्षण है। इस किले का परिसर राजस्थान के सबसे विशाल किले परिसरों में है। 17 वीं शताब्दी में बना हाथी पोल किले में प्रवेश का खूबसूरत प्रवेश द्वार है। किले के बुर्ज, बालकनी, गुम्बद, परकोटे बेहद आकर्षक है |<br />
<br />
<span class="mw-headline" id=".E0.A4.B0.E0.A4.BE.E0.A4.B5_.E0.A4.AE.E0.A4.BE.E0.A4.A7.E0.A5.8B_.E0.A4.B8.E0.A4.BF.E0.A4.82.E0.A4.B9_.E0.A4.B8.E0.A4.82.E0.A4.97.E0.A5.8D.E0.A4.B0.E0.A4.B9.E0.A4.BE.E0.A4.B2.E0.A4.AF"><span style="font-size: large;">राव माधो सिंह संग्रहालय</span></span><br />
<span class="mw-headline">यह संग्रहालय पुराने महल में स्थित है और इसे राजस्थान के सबसे बेहतरीन संग्रहालयों में माना जाता है। कोटा राज्य के प्रथम शासक राव माधो सिंह के नाम पर संग्रहालय का नाम रखा गया है। संग्रहालय में कोटा की खूबसूरत पेटिन्ग, मूर्तियों, तस्वीरें, हथियार और शाही वंश से संबंधित अनेक वस्तुएं देखी जा सकती हैं।<br />
<span class="mw-headline" id=".E0.A4.9C.E0.A4.97.E0.A4.AE.E0.A4.82.E0.A4.A6.E0.A4.BF.E0.A4.B0_.E0.A4.AE.E0.A4.B9.E0.A4.B2"><span style="font-size: large;">जगमंदिर महल</span></span><br />
<span class="mw-headline">यह महल कोटा की एक रानी द्वारा 1740 ई. में बनवाया गया था। खूबसूरत किशोर सागर झील के मध्य बना यह महल राजाओं के आमोद प्रमोद का स्थान था। झील के पारदर्शी जल में महल का प्रतिबिम्ब बेहद सुन्दर लगता है। किशोर सागर झील बूंदी के राजकुमार धी देह ने 1346 ई. में बनवाई थी। झील में नौकायन का आनन्द भी लिया जा सकता है।<br />
<br />
<span class="mw-headline" id=".E0.A4.B8.E0.A4.B0.E0.A4.95.E0.A4.BE.E0.A4.B0.E0.A5.80_.E0.A4.B8.E0.A4.82.E0.A4.97.E0.A5.8D.E0.A4.B0.E0.A4.B9.E0.A4.BE.E0.A4.B2.E0.A4.AF"><span style="font-size: large;">सरकारी संग्रहालय</span></span><br />
<span class="mw-headline">किशोर सागर झील के समीप किशोर बाग में बने ब्रिजविलास महल में यह संग्रहालय स्थित है। संग्रहालय में दुर्लभ सिक्कों, हस्तलिपियों और चुनिन्दा हडोटी मूर्तियों का विस्तृत संग्रह है। यहां बरोली के मंदिरों से कुछ आकर्षक और ऐतिहासिक मूर्तियां लाकर रखी गई हैं। शुक्रवार और राष्ट्रीय अवकाश के दिन संग्रहालय बन्द रहता है।<br />
<br />
<span class="mw-headline" id=".E0.A4.9A.E0.A4.AE.E0.A5.8D.E0.A4.AC.E0.A4.B2_.E0.A4.97.E0.A4.BE.E0.A4.B0.E0.A5.8D.E0.A4.A1.E0.A4.A8"><span style="font-size: large;">चम्बल गार्डन</span></span><br />
<span class="mw-headline">यह एक खूबसूरत पिकनिक स्पॉट है और यहां मगरमच्छों का तालाब देखा जा सकता है। यह गार्डन चम्बल नदी और अमर निवास के समीप स्थित है।</span><br />
<span class="mw-headline"><span class="mw-headline" id=".E0.A4.A6.E0.A4.BF.E0.A4.AF.E0.A4.BE.E0.A4.9C.E0.A5.80_.E0.A4.95.E0.A5.80_.E0.A4.B9.E0.A4.B5.E0.A5.87.E0.A4.B2.E0.A5.80"><span style="font-size: large;">दियाजी की हवेली</span></span></span><br />
<span class="mw-headline"><span class="mw-headline">दियाजी की हवेली राजस्थान के सबसे सुन्दर भवनों में है। कोटा की यह हवेली अनोखे भित्तिचित्रों और चित्रकारी के लिए प्रसिद्ध है।</span></span><br />
<br />
<span class="mw-headline"><span class="mw-headline"><span class="mw-headline"><span style="font-size: large;">दर्राह वन्य जीव अभ्यारण्य</span></span></span></span><br />
<span class="mw-headline"><span class="mw-headline"><span class="mw-headline">कोटा से 50 किमी. दूर राष्ट्रीय चम्बल वन्य जीव अभ्यारण्य है जो घड़ियालों और पतले मुंह वाले मगरमच्छों के लिए बहुत लोकप्रिय है। यहां चीते, वाइल्डबोर, तेंदुए और हिरन पाए जाते हैं। बहुत कम जगह दिखाई देने वाला दुर्लभ कराकल यहां देखा जा सकता है।<br />
<span class="mw-headline" id=".E0.A4.95.E0.A5.87.E0.A4.B6.E0.A5.8B.E0.A4.B0.E0.A4.88.E0.A4.AA.E0.A4.BE.E0.A4.9F.E0.A4.A8"><span style="font-size: large;">केशोरईपाटन</span></span><br />
<span class="mw-headline">श्री केशव राय जी हडोती और हाडा के शासकों के इष्टदेव हैं। केशोरईपाटन भगवान श्री केशव का निवास स्थल है। श्री केशव का मध्यकालीन मंदिर चंबल नदी के किनार स्थित है। नदी की ओर वाली मंदिर की दीवार किले की दीवार के समान है। कार्तिक माह में आयोजित होने वाले मेले में यहां श्रद्धालु बड़ी संख्या में आते हैं। इस अवसर पर भक्तजन चम्बल नदी में डुबकी लगाते हैं और श्री कृष्ण के आशीर्वाद की कामना करते हैं। केशोरईपाटन कोटा से 22 किमी. दूर उत्तर पूर्व में स्थित है।<br />
<br />
<span class="mw-headline" id=".E0.A4.97.E0.A5.8B.E0.A4.AA.E0.A4.B0.E0.A4.A8.E0.A4.BE.E0.A4.A5_.E0.A4.AE.E0.A4.82.E0.A4.A6.E0.A4.BF.E0.A4.B0"><span style="font-size: large;">गोपरनाथ मंदिर</span></span><br />
<span class="mw-headline">कोटा से 22 किमी. दूर दक्षिण पश्चिम में शिव को समर्पित गोपरनाथ मंदिर स्थित है। यह मंदिर 1569 ई. में बना था। यह स्थान प्राचीन काल से शिवभक्तों का प्रमुख तीर्थस्थल रहा है। यहां कुछ प्राचीन अभिलेख प्राप्त हुए हैं जो इस तथ्य की पुष्टि करते हैं।<br />
<br />
<span class="mw-headline" id=".E0.A4.AC.E0.A4.A6.E0.A5.8C.E0.A4.B2.E0.A5.80"><span style="font-size: large;">बदौली</span></span><br />
<span class="mw-headline">यहां 9 वीं और 12 वीं शताब्दी के बीच बने अनेक प्राचीन मंदिर है। यह स्थान कदम, आम, जामुन और पीपल के पेड़ों से घिरा हिन्दुओं का पवित्र धार्मिक स्थल है। घाटेश्वर यहां का मुख्य मंदिर है जो भगवान शिव को समर्पित है। मंदिर के सभा मंडप विशेषकर स्तम्भों में आकर्षक नक्काशियां की गई हैं। महिषासुरमर्दिनी और त्रिदेव मंदिर अन्य दो प्रमुख मंदिर है। इन मंदिरों की कुछ प्रतिमाएं कोटा के सरकारी संग्रहालय में रखी र्गइ हैं।<br />
</span></span></span></span></span></span></span></span></span></span></span></span>Vinod Bhanahttp://www.blogger.com/profile/08200806326936994849noreply@blogger.com0tag:blogger.com,1999:blog-836167197628339282.post-19118122108408548382010-10-15T20:56:00.000-07:002010-10-15T20:56:35.350-07:00राजस्थान के जिले - १- जयपुरराजस्थान के जिले - १- जयपुर <br />
<strong>जयपुर</strong> जिसे <b>गुलाबी नगरी</b> के नाम से भी जाना जाता है, <span style="color: #0645ad;">भारत</span> में <a href="http://hi.wikipedia.org/wiki/राजसà¥à¤¥à¤¾à¤¨" title="राजस्थान"><span style="color: #0b0080;">राजस्थान</span></a> राज्य की राजधानी है। यह जयपुर नाम से प्रसिद्ध प्राचीन <span style="color: #0645ad;">रजवाड़े</span> की भी <a href="http://hi.wikipedia.org/wiki/राजधानी" title="राजधानी"><span style="color: #0645ad;">राजधानी</span></a> रहा है। इस शहर की स्थापना <a href="http://hi.wikipedia.org/wiki/१à¥à¥¨à¥®" title="१७२८"><span style="color: #0645ad;">१७२८</span></a> में <a class="mw-redirect" href="http://hi.wikipedia.org/wiki/आंबेर" title="आंबेर"><span style="color: #0645ad;">आंबेर</span></a> के <a href="http://hi.wikipedia.org/wiki/महाराजा" title="महाराजा"><span style="color: #0645ad;">महाराजा</span></a> <a href="http://hi.wikipedia.org/wiki/जयसिंह_दà¥à¤µà¤¿à¤¤à¥€à¤¯" title="जयसिंह द्वितीय"><span style="color: #0645ad;">जयसिंह द्वितीय</span></a> द्वारा की गयी थी। आज भी यहां के महाराजा महाराज भवानी सिंह (जन्म:<a href="http://hi.wikipedia.org/wiki/१९३१" title="१९३१"><span style="color: #0645ad;">१९३१</span></a>) हैं। जयपुर अपनी समृद्ध परंपरा, संस्कृति और ऐतिहासिक महत्व के लिए प्रसिद्ध है। यह शहर तीन ओर से <span style="color: #0645ad;">अरावली पर्वत</span>माला से घिरा हुआ है। जयपुर शहर की पहचान यहाँ के महलों और पुराने घरों में लगे गुलाबी धौलपुरी पत्थरों से होती है जो यहाँ के स्थापत्य की खूबी है। <a href="http://hi.wikipedia.org/wiki/१८à¥à¥¬" title="१८७६"><span style="color: #0645ad;">१८७६</span></a> में तत्कालीन महाराज सवाई मानसिंह ने <a class="mw-redirect" href="http://hi.wikipedia.org/wiki/इंगà¥à¤²à¥ˆà¤‚ड" title="इंग्लैंड"><span style="color: #0645ad;">इंग्लैंड</span></a> की महारानी <a class="mw-redirect" href="http://hi.wikipedia.org/wiki/à¤à¤²à¤¿à¤œà¤¼à¤¾à¤¬à¥‡à¤¥" title="एलिज़ाबेथ"><span style="color: #0645ad;">एलिज़ाबेथ</span></a> <a class="mw-redirect" href="http://hi.wikipedia.org/wiki/पà¥à¤°à¤¿à¤‚स_ऑफ_वेलà¥à¤¸" title="प्रिंस ऑफ वेल्स"><span style="color: #0645ad;">प्रिंस ऑफ वेल्स</span></a> युवराज अल्बर्ट के स्वागत में पूरे शहर को गुलाबी रंग से आच्छादित करवा दिया था। तभी से शहर का नाम गुलाबी नगरी पड़ा है।<br />
शहर चारों ओर से दीवारों और परकोटों से घिरा हुआ है, जिसमें प्रवेश के लिए सात दरवाजे हैं बाद में एक और द्वार भी बना जो न्यू गेट कहलाया। पूरा शहर करीब छह भागों में बँटा है और यह १११ फुट(३४ मी.) चौड़ी सड़कों से विभाजित है। पाँच भाग मध्य प्रासाद भाग को पूर्वी, दक्षिणी एवं पश्चिमी ओर से घेरे हुए हैं, और छठा भाग एकदम पूर्व में स्थित है। प्रासाद भाग में <a href="http://hi.wikipedia.org/wiki/हवा_महल" title="हवा महल"><span style="color: #0645ad;">हवा महल</span></a> परिसर, व्यवस्थित उद्यान एवं एक छोटी झील हैं। पुराने शह के उत्तर-पश्चिमी ओर पहाड़ी पर <a href="http://hi.wikipedia.org/wiki/नाहरà¤à¤¢à¤¼_दà¥à¤°à¥à¤" title="नाहरगढ़ दुर्ग"><span style="color: #0645ad;">नाहरगढ़ दुर्ग</span></a> शहर के मुकुट के समान दिखता है। इसके अलावा यहां मध्य भाग में ही सवाई जयसिंह द्वारा बनावायी गईं वेधशाला, <span style="color: #0645ad;">जंतर मंतर, जयपुर</span> भी हैं।<br />
जयपुर को आधुनिक शहरी योजनाकारों द्वारा सबसे नियोजित और व्यवस्थित शहरों में से गिना जाता है। शहर के वास्तुकार <a class="mw-redirect" href="http://hi.wikipedia.org/wiki/मिरà¥à¤à¤¾_à¤à¤¸à¥à¤®à¤¾à¤à¤²" title="मिर्जा इस्माइल"><span style="color: #0645ad;">मिर्जा इस्माइल</span></a> का नाम आज भी प्रसिद्ध है। <a class="mw-redirect" href="http://hi.wikipedia.org/wiki/बà¥à¤°à¤¿à¤à¤¿à¤¶" title="ब्रिटिश"><span style="color: #0645ad;">ब्रिटिश</span></a> शासन के दौरान इस पर <a href="http://hi.wikipedia.org/wiki/à¤à¤à¤µà¤¾à¤¹à¤¾" title="कछवाहा"><span style="color: #0645ad;">कछवाहा</span></a> समुदाय के <a href="http://hi.wikipedia.org/wiki/राà¤à¤ªà¥à¤¤" title="राजपूत"><span style="color: #0645ad;">राजपूत</span></a> शासकों का शासन था। १९वीं सदी में इस शहर का विस्तार शुरु हुआ तब इसकी जनसंख्या १,६०,००० थी जो अब बढ़ कर २००१ के आंकड़ों के अनुसार २३,३४,३१९ हो चुकी है। यहाँ के मुख्य उद्योगों में <a href="http://hi.wikipedia.org/wiki/धातà¥" title="धातु"><span style="color: #0645ad;">धातु</span></a>, <a href="http://hi.wikipedia.org/wiki/सà¤à¤à¤®à¤°à¤®à¤°" title="संगमरमर"><span style="color: #0645ad;">संगमरमर</span></a>, वस्त्र-छपाई, हस्त-कला, रत्न व आभूषण का आयात-निर्यात तथा पर्यटन आदि शामिल हैं। जयपुर को <a href="http://hi.wikipedia.org/wiki/à¤à¤¾à¤°à¤¤" title="भारत"><span style="color: #0645ad;">भारत</span></a> का <a class="mw-redirect" href="http://hi.wikipedia.org/wiki/पà¥à¤°à¤¿à¤¸" title="पेरिस"><span style="color: #0645ad;">पेरिस</span></a> कहा जाता है। इस शहर की वास्तु के बारे में कहते हैं, कि शहर को <a class="mw-redirect" href="http://hi.wikipedia.org/wiki/सà¥à¤¤" title="सूत"><span style="color: #0645ad;">सूत</span></a> से नाप लीजिये, नाप-जोख में एक <a href="http://hi.wikipedia.org/wiki/बाल" title="बाल"><span style="color: #0645ad;">बाल</span></a> के बराबर भी फ़र्क नही मिलेगा।<br />
<br />
<span class="mw-headline" id=".E0.A4.87.E0.A4.A4.E0.A4.BF.E0.A4.B9.E0.A4.BE.E0.A4.B8">इतिहास</span><br />
<span class="mw-headline">सत्रहवीं शताब्दी मे जब <a class="mw-redirect" href="http://hi.wikipedia.org/wiki/मà¥à¤à¤²" title="मुगल"><span style="color: #0645ad;">मुगल</span></a> अपनी ताकत खोने लगे,तो समूचे <a href="http://hi.wikipedia.org/wiki/à¤à¤¾à¤°à¤¤" title="भारत"><span style="color: #0645ad;">भारत</span></a> में <a href="http://hi.wikipedia.org/wiki/à¤
राà¤à¤à¤¤à¤¾" title="अराजकता"><span style="color: #0645ad;">अराजकता</span></a> <a href="http://hi.wikipedia.org/wiki/सिर" title="सिर"><span style="color: #0645ad;">सिर</span></a> उठाने लगी,ऐसे दौर में <a href="http://hi.wikipedia.org/wiki/राà¤à¤ªà¥à¤¤à¤¾à¤¨à¤¾" title="राजपूताना"><span style="color: #0645ad;">राजपूताना</span></a> की <a href="http://hi.wikipedia.org/wiki/à¤à¤®à¥à¤°" title="आमेर"><span style="color: #0645ad;">आमेर</span></a> रियासत,एक बडी ताकत के रूप में उभरी.जाहिर है कि महाराजा <a href="http://hi.wikipedia.org/wiki/सवाà¤_à¤à¤¯à¤¸à¤¿à¤à¤¹" title="सवाई जयसिंह"><span style="color: #0645ad;">सवाई जयसिंह</span></a> को तब मीलों के दायरे में फ़ैली अपनी <a href="http://hi.wikipedia.org/wiki/रियासत" title="रियासत"><span style="color: #0645ad;">रियासत</span></a> संभालने और सुचारु <a class="new" href="http://hi.wikipedia.org/w/index.php?title=%E0%A4%B0%E0%A4%BE%E0%A4%9C%E0%A4%95%E0%A4%BE%E0%A4%9C&action=edit&redlink=1" title="राजकाज (पृष्ठ मौजूद नहीं है)"><span style="color: #ba0000;">राजकाज</span></a> संचालन के लिये <a href="http://hi.wikipedia.org/wiki/à¤à¤®à¥à¤°" title="आमेर"><span style="color: #0645ad;">आमेर</span></a> छोटा लगने लगा,और इस तरह से इस नई <a href="http://hi.wikipedia.org/wiki/राà¤à¤§à¤¾à¤¨à¥" title="राजधानी"><span style="color: #0645ad;">राजधानी</span></a> के रूप में जयपुर की कल्पना की गई,और बडी तैयारियों के साथ इस कल्पना को साकार रूप देने की शुरुआत हुई.इस शहर की <a class="mw-redirect" href="http://hi.wikipedia.org/wiki/नà¥à¤à¤µ" title="नींव"><span style="color: #0645ad;">नींव</span></a> कहां रखी गई,इसके बारे मे मतभेद हैं,किंतु इतिहासकारों के अनुसार <a class="new" href="http://hi.wikipedia.org/w/index.php?title=%E0%A4%A4%E0%A4%BE%E0%A4%B2%E0%A4%95%E0%A4%9F%E0%A5%8B%E0%A4%B0%E0%A4%BE&action=edit&redlink=1" title="तालकटोरा (पृष्ठ मौजूद नहीं है)"><span style="color: #ba0000;">तालकटोरा</span></a> के निकट स्थित <a class="new" href="http://hi.wikipedia.org/w/index.php?title=%E0%A4%B6%E0%A4%BF%E0%A4%95%E0%A4%BE%E0%A4%B0_%E0%A4%95%E0%A5%80_%E0%A4%B9%E0%A5%8B%E0%A4%A6%E0%A5%80&action=edit&redlink=1" title="शिकार की होदी (पृष्ठ मौजूद नहीं है)"><span style="color: #ba0000;">शिकार की होदी</span></a> से इस शहर के निर्माण की शुरुआत हुई।<br />
राजा सवाई जयसिंह द्वितीय ने यह शहर बसाने से पहले इसकी सुरक्षा की काफी चिंता की थी और सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए ही सात मजबूत दरवाजों के साथ किलाबंदी की गई थी। जयसिंह ने हालाँकि मराठों के हमलों की चिंता से अपनी राजधानी की सुरक्षा के लिए चारदीवारी बनवाई थी, लेकिन उन्हें शायद मौजूदा समय की सुरक्षा समस्याओं का भान नहीं था। इतिहास की पुस्तकों में जयपुर के इतिहास के अनुसार यह देश का पहला पूरी योजना से बनाया गया शहर था और स्थापना के समय राजा जयसिंह ने अपनी राजधानी आमेर में बढ़ती आबादी और पानी की समस्या को ध्यान में रखकर ही इसका विकास किया था। नगर के निर्माण का काम १७२७ में शुरू हुआ और प्रमुख स्थानों के बनने में करीब चार साल लगे। यह शहर नौ खंडों में विभाजित किया गया था, जिसमें दो खंडों में राजकीय इमारतें और राजमहलों को बसाया गया था। राजा को शिल्पशास्त्र के आधार पर यह नगर बसाने की राय एक बंगाली ब्राह्मण ने दी थी।<br />
यह शहर प्रारंभ से ही गुलाबी नगरी नहीं था बल्कि अन्य नगरों की ही तरह था, लेकिन १८५३ में जब वेल्स के राजकुमार आए तो पूरे शहर को गुलाबी रंग से रंग जादुई आकर्षण प्रदान करने की कोशिश की गई थी। उसी के बाद से यह शहर गुलाबी नगरी के नाम से प्रसिद्ध हो गया। सुंदर भवनों के आकर्षक स्थापत्य वाले, दो सौ वर्ग किलोमीटर से अधिक क्षेत्रफल में फैले जयपुर में जलमहल, जंतर-मंतर, आमेर महल, नाहरगढ़ का किला, हवामहल और आमेर का किला राजपूतों के वास्तुशिल्प के बेजोड़ नमूने हैं।<br />
<b>जयपुर में आतंकवाद</b> - १३ मई, २००८ को जयपुर में श्रृंखलाबद्ध <a href="http://hi.wikipedia.org/wiki/१३_मà¤_२००८_à¤à¤¯à¤ªà¥à¤°_बम_विसà¥à¤«à¥à¤" title="१३ मई २००८ जयपुर बम विस्फोट"><span style="color: #0645ad;">सात बम विस्फोट</span></a> किए गए। विस्फोट १२ मिनट की वधि के भीतर जयपुर के विभिन्न स्थानों पर हुए। आठवाँ बम निष्कृय पाया गया। घटना में ८० से अधिक लोगों कि मृत्यु व डेढ़ सौ से अधिक घायल हुए।<br />
<br />
<span class="mw-headline" id=".E0.A4.B8.E0.A5.8D.E0.A4.A5.E0.A4.BE.E0.A4.AA.E0.A4.A4.E0.A5.8D.E0.A4.AF">स्थापत्य</span><br />
<span class="mw-headline">नियोजित तरीके से बसाये गये इस जयपुर में महाराजा के महल,औहदेदारों की <a href="http://hi.wikipedia.org/wiki/हवà¥à¤²à¥" title="हवेली"><span style="color: #0645ad;">हवेली</span></a> और बाग बगीचे,ही नही बल्कि आम नागरिकों के <a href="http://hi.wikipedia.org/wiki/à¤à¤µà¤¾à¤¸" title="आवास"><span style="color: #0645ad;">आवास</span></a> और <a href="http://hi.wikipedia.org/wiki/राà¤à¤®à¤¾à¤°à¥à¤" title="राजमार्ग"><span style="color: #0645ad;">राजमार्ग</span></a> बनाये गये.गलियों का और सडकों का निर्माण <a class="mw-redirect" href="http://hi.wikipedia.org/wiki/वासà¥à¤¤à¥" title="वास्तु"><span style="color: #0645ad;">वास्तु</span></a> के अनुसार और <a class="new" href="http://hi.wikipedia.org/w/index.php?title=%E0%A4%9C%E0%A5%8D%E0%A4%AF%E0%A4%BE%E0%A4%AE%E0%A4%BF%E0%A4%A4%E0%A5%80%E0%A4%AF&action=edit&redlink=1" title="ज्यामितीय (पृष्ठ मौजूद नहीं है)"><span style="color: #ba0000;">ज्यामितीय</span></a> तरीके से किया गया,<a href="http://hi.wikipedia.org/wiki/नà¤à¤°" title="नगर"><span style="color: #0645ad;">नगर</span></a> को सुरक्षित रखने के लिये,इस नगर के चारो ओर <a class="new" href="http://hi.wikipedia.org/w/index.php?title=%E0%A4%AA%E0%A4%B0%E0%A4%95%E0%A5%8B%E0%A4%9F%E0%A4%BE&action=edit&redlink=1" title="परकोटा (पृष्ठ मौजूद नहीं है)"><span style="color: #ba0000;">परकोटा</span></a> बनवाया गया,और पश्चिमी पहाडी पर <a class="new" href="http://hi.wikipedia.org/w/index.php?title=%E0%A4%A8%E0%A4%BE%E0%A4%B9%E0%A4%B0%E0%A4%97%E0%A4%A2&action=edit&redlink=1" title="नाहरगढ (पृष्ठ मौजूद नहीं है)"><span style="color: #ba0000;">नाहरगढ</span></a> का <a href="http://hi.wikipedia.org/wiki/à¤à¤¿à¤²à¤¾" title="किला"><span style="color: #0645ad;">किला</span></a> बनवाया गया.पुराने <a href="http://hi.wikipedia.org/wiki/दà¥à¤°à¥à¤" title="दुर्ग"><span style="color: #0645ad;">दुर्ग</span></a> <a class="new" href="http://hi.wikipedia.org/w/index.php?title=%E0%A4%9C%E0%A4%AF%E0%A4%97%E0%A4%A2&action=edit&redlink=1" title="जयगढ (पृष्ठ मौजूद नहीं है)"><span style="color: #ba0000;">जयगढ</span></a> मे <a href="http://hi.wikipedia.org/wiki/हथियार" title="हथियार"><span style="color: #0645ad;">हथियार</span></a> बनाने का <a href="http://hi.wikipedia.org/wiki/à¤à¤¾à¤°à¤à¤¾à¤¨à¤¾" title="कारखाना"><span style="color: #0645ad;">कारखाना</span></a> बनवाया गया,जिसे देख कर आज भी वैज्ञानिक चकित हो जाते हैं,इस कारखाने और अपने शहर जयपुर के निर्माता <a href="http://hi.wikipedia.org/wiki/सवाà¤_à¤à¤¯à¤¸à¤¿à¤à¤¹" title="सवाई जयसिंह"><span style="color: #0645ad;">सवाई जयसिंह</span></a> की स्मॄतियों को संजोये विशालकाय <a class="new" href="http://hi.wikipedia.org/w/index.php?title=%E0%A4%9C%E0%A4%AF%E0%A4%AC%E0%A4%BE%E0%A4%A3&action=edit&redlink=1" title="जयबाण (पृष्ठ मौजूद नहीं है)"><span style="color: #ba0000;">जयबाण</span></a> <a href="http://hi.wikipedia.org/wiki/तà¥à¤ª" title="तोप"><span style="color: #0645ad;">तोप</span></a> आज भी सीना ताने इस नगर की सुरक्षा करती महसूस होती है.महाराजा <a href="http://hi.wikipedia.org/wiki/सवाà¤_à¤à¤¯à¤¸à¤¿à¤à¤¹" title="सवाई जयसिंह"><span style="color: #0645ad;">सवाई जयसिंह</span></a> ने जयपुर को नौ आवासीय खण्डों मे बसाया,जिन्हे <a class="new" href="http://hi.wikipedia.org/w/index.php?title=%E0%A4%9A%E0%A5%8C%E0%A4%95%E0%A4%A1%E0%A5%80&action=edit&redlink=1" title="चौकडी (पृष्ठ मौजूद नहीं है)"><span style="color: #ba0000;">चौकडी</span></a> कहा जाता है,इनमे सबसे बडी <a class="new" href="http://hi.wikipedia.org/w/index.php?title=%E0%A4%9A%E0%A5%8C%E0%A4%95%E0%A4%A1%E0%A5%80&action=edit&redlink=1" title="चौकडी (पृष्ठ मौजूद नहीं है)"><span style="color: #ba0000;">चौकडी</span></a> <a class="new" href="http://hi.wikipedia.org/w/index.php?title=%E0%A4%B8%E0%A4%B0%E0%A4%B9%E0%A4%A6&action=edit&redlink=1" title="सरहद (पृष्ठ मौजूद नहीं है)"><span style="color: #ba0000;">सरहद</span></a> में <a href="http://hi.wikipedia.org/wiki/राà¤à¤®à¤¹à¤²" title="राजमहल"><span style="color: #0645ad;">राजमहल</span></a>,<a class="new" href="http://hi.wikipedia.org/w/index.php?title=%E0%A4%B0%E0%A4%A8%E0%A4%BF%E0%A4%B5%E0%A4%BE%E0%A4%B8&action=edit&redlink=1" title="रनिवास (पृष्ठ मौजूद नहीं है)"><span style="color: #ba0000;">रनिवास</span></a>,<a href="http://hi.wikipedia.org/wiki/à¤à¤à¤¤à¤°_मà¤à¤¤à¤°" title="जंतर मंतर"><span style="color: #0645ad;">जंतर मंतर</span></a>,<a class="new" href="http://hi.wikipedia.org/w/index.php?title=%E0%A4%97%E0%A5%8B%E0%A4%B5%E0%A4%BF%E0%A4%82%E0%A4%A6%E0%A4%A6%E0%A5%87%E0%A4%B5%E0%A4%9C%E0%A5%80_%E0%A4%95%E0%A4%BE_%E0%A4%AE%E0%A4%82%E0%A4%A6%E0%A4%BF%E0%A4%B0&action=edit&redlink=1" title="गोविंददेवजी का मंदिर (पृष्ठ मौजूद नहीं है)"><span style="color: #ba0000;">गोविंददेवजी का मंदिर</span></a>,आदि हैं,शेष चौकडियों में नागरिक <a href="http://hi.wikipedia.org/wiki/à¤à¤µà¤¾à¤¸" title="आवास"><span style="color: #0645ad;">आवास</span></a>, हवेलियां और कारखाने आदि बनवाये गये.प्रजा को अपना परिवार समझने वाले <a href="http://hi.wikipedia.org/wiki/सवाà¤_à¤à¤¯à¤¸à¤¿à¤à¤¹" title="सवाई जयसिंह"><span style="color: #0645ad;">सवाई जयसिंह</span></a> ने सुन्दर शहर को इस तरह से बसाया कि यहां पर नागरिकों को <a href="http://hi.wikipedia.org/wiki/मà¥à¤²à¤à¥à¤¤" title="मूलभूत"><span style="color: #0645ad;">मूलभूत</span></a> आवश्यकताओं के साथ अन्य किसी प्रकार की कमी न हो,सुचारु <a class="new" href="http://hi.wikipedia.org/w/index.php?title=%E0%A4%AA%E0%A5%87%E0%A4%AF%E0%A4%9C%E0%A4%B2&action=edit&redlink=1" title="पेयजल (पृष्ठ मौजूद नहीं है)"><span style="color: #ba0000;">पेयजल</span></a> व्यवस्था,बागबगीचे,कल कारखाने आदि के साथ <a class="new" href="http://hi.wikipedia.org/w/index.php?title=%E0%A4%B5%E0%A4%B0%E0%A5%8D%E0%A4%B7%E0%A4%BE%E0%A4%9C%E0%A4%B2&action=edit&redlink=1" title="वर्षाजल (पृष्ठ मौजूद नहीं है)"><span style="color: #ba0000;">वर्षाजल</span></a> का संरक्षण और निकासी का प्रबंध भी करवाया.<a href="http://hi.wikipedia.org/wiki/सवाà¤_à¤à¤¯à¤¸à¤¿à¤à¤¹" title="सवाई जयसिंह"><span style="color: #0645ad;">सवाई जयसिंह</span></a> ने लम्बे समय तक जयपुर में राज किया,इस शहर में <a class="new" href="http://hi.wikipedia.org/w/index.php?title=%E0%A4%B9%E0%A4%B8%E0%A5%8D%E0%A4%A4%E0%A4%95%E0%A4%B2%E0%A4%BE&action=edit&redlink=1" title="हस्तकला (पृष्ठ मौजूद नहीं है)"><span style="color: #ba0000;">हस्तकला</span></a>,<a href="http://hi.wikipedia.org/wiki/à¤à¥à¤¤" title="गीत"><span style="color: #0645ad;">गीत</span></a> <a href="http://hi.wikipedia.org/wiki/सà¤à¤à¥à¤¤" title="संगीत"><span style="color: #0645ad;">संगीत</span></a>,<a href="http://hi.wikipedia.org/wiki/शिà¤à¥à¤·à¤¾" title="शिक्षा"><span style="color: #0645ad;">शिक्षा</span></a>,और <a class="mw-redirect" href="http://hi.wikipedia.org/wiki/रà¥à¤à¤à¤¾à¤°" title="रोजगार"><span style="color: #0645ad;">रोजगार</span></a> आदि को उन्होने खूब प्रोत्साहित किया.<a class="mw-redirect" href="http://hi.wikipedia.org/wiki/वासà¥à¤¤à¥" title="वास्तु"><span style="color: #0645ad;">वास्तु</span></a> अनुरुप <a class="new" href="http://hi.wikipedia.org/w/index.php?title=%E0%A4%88%E0%A4%B6%E0%A4%B0_%E0%A4%B2%E0%A4%BE%E0%A4%9F&action=edit&redlink=1" title="ईशर लाट (पृष्ठ मौजूद नहीं है)"><span style="color: #ba0000;">ईशर लाट</span></a>,<a href="http://hi.wikipedia.org/wiki/हवामहल" title="हवामहल"><span style="color: #0645ad;">हवामहल</span></a>,<a class="new" href="http://hi.wikipedia.org/w/index.php?title=%E0%A4%B0%E0%A4%BE%E0%A4%AE%E0%A4%A8%E0%A4%BF%E0%A4%B5%E0%A4%BE%E0%A4%B8_%E0%A4%AC%E0%A4%BE%E0%A4%97&action=edit&redlink=1" title="रामनिवास बाग (पृष्ठ मौजूद नहीं है)"><span style="color: #ba0000;">रामनिवास बाग</span></a>,और विभिन्न कलात्मक मंदिर, शिक्षण संस्थान,आदि का निर्माण करवाया.<br />
</span></span><b>बाजार</b>- जयपुर प्रेमी कहते हैं कि जयपुर के सौन्दर्य को को देखने के लिये कुछ खास नजर चाहिये,बाजारों से गुजरते हुए,जयपुर की बनावट की कल्पना को आत्मसात कर इसे निहारें तो पल भर में इसका सौन्दर्य आंखों के सामने प्रकट होने लगता है.लम्बी चौडी और ऊंची <a class="new" href="http://hi.wikipedia.org/w/index.php?title=%E0%A4%AA%E0%A5%8D%E0%A4%B0%E0%A4%BE%E0%A4%9A%E0%A5%80%E0%A4%B0&action=edit&redlink=1" title="प्राचीर (पृष्ठ मौजूद नहीं है)"><span style="color: #ba0000;">प्राचीर</span></a> तीन ओर फ़ैली <a href="http://hi.wikipedia.org/wiki/परà¥à¤µà¤¤à¤®à¤¾à¤²à¤¾" title="पर्वतमाला"><span style="color: #0645ad;">पर्वतमाला</span></a> सीधे सपाट <a href="http://hi.wikipedia.org/wiki/राà¤à¤®à¤¾à¤°à¥à¤" title="राजमार्ग"><span style="color: #0645ad;">राजमार्ग</span></a> गलियां <a class="new" href="http://hi.wikipedia.org/w/index.php?title=%E0%A4%9A%E0%A5%8C%E0%A4%B0%E0%A4%BE%E0%A4%B9%E0%A5%87&action=edit&redlink=1" title="चौराहे (पृष्ठ मौजूद नहीं है)"><span style="color: #ba0000;">चौराहे</span></a> <a class="new" href="http://hi.wikipedia.org/w/index.php?title=%E0%A4%9A%E0%A5%8C%E0%A4%AA%E0%A4%A1&action=edit&redlink=1" title="चौपड (पृष्ठ मौजूद नहीं है)"><span style="color: #ba0000;">चौपड</span></a> भव्य <a class="new" href="http://hi.wikipedia.org/w/index.php?title=%E0%A4%B0%E0%A4%BE%E0%A4%9C%E0%A4%AA%E0%A5%8D%E0%A4%B0%E0%A4%B8%E0%A4%BE%E0%A4%A6&action=edit&redlink=1" title="राजप्रसाद (पृष्ठ मौजूद नहीं है)"><span style="color: #ba0000;">राजप्रसाद</span></a>.<a class="mw-redirect" href="http://hi.wikipedia.org/wiki/मà¤à¤¦à¤¿à¤°" title="मंदिर"><span style="color: #0645ad;">मंदिर</span></a> और <a href="http://hi.wikipedia.org/wiki/हवà¥à¤²à¥" title="हवेली"><span style="color: #0645ad;">हवेली</span></a>,बाग बगीचे,<a class="new" href="http://hi.wikipedia.org/w/index.php?title=%E0%A4%9C%E0%A4%B2%E0%A4%BE%E0%A4%B6%E0%A4%AF&action=edit&redlink=1" title="जलाशय (पृष्ठ मौजूद नहीं है)"><span style="color: #ba0000;">जलाशय</span></a>,और गुलाबी आभा से सजा यह शहर <a href="http://hi.wikipedia.org/wiki/à¤à¤¨à¥à¤¦à¥à¤°à¤ªà¥à¤°à¥" title="इन्द्रपुरी"><span style="color: #0645ad;">इन्द्रपुरी</span></a> का आभास देने लगता है,<a class="new" href="http://hi.wikipedia.org/w/index.php?title=%E0%A4%9C%E0%A4%B2%E0%A4%BE%E0%A4%B6%E0%A4%AF&action=edit&redlink=1" title="जलाशय (पृष्ठ मौजूद नहीं है)"><span style="color: #ba0000;">जलाशय</span></a> तो अब नही रहे,किन्तु कल्पना की जा सकती है,कि अब से कुछ दशक पहले ही जयपुर <a class="new" href="http://hi.wikipedia.org/w/index.php?title=%E0%A4%AA%E0%A4%B0%E0%A4%95%E0%A5%8B%E0%A4%9F%E0%A5%87&action=edit&redlink=1" title="परकोटे (पृष्ठ मौजूद नहीं है)"><span style="color: #ba0000;">परकोटे</span></a> में ही सिमटा हुआ था,तब इसका भव्य एवं कलात्मक रूप हर किसी को मन्त्र मुग्ध कर देता होगा.आज भी जयपुर यहां आने वाले सैलानियों को बरसों बरस सहेज कर रखने वाले <a class="new" href="http://hi.wikipedia.org/w/index.php?title=%E0%A4%B0%E0%A5%8B%E0%A4%AE%E0%A4%BE%E0%A4%82%E0%A4%9A%E0%A4%95%E0%A4%BE%E0%A4%B0%E0%A5%80&action=edit&redlink=1" title="रोमांचकारी (पृष्ठ मौजूद नहीं है)"><span style="color: #ba0000;">रोमांचकारी</span></a> अनुभव देता है.<br />
<br />
<span class="mw-headline" id=".E0.A4.9C.E0.A4.AF.E0.A4.AA.E0.A5.81.E0.A4.B0_.E0.A4.95.E0.A4.BE_.E0.A4.AC.E0.A4.A6.E0.A4.B2.E0.A4.BE.E0.A4.B5">जयपुर का बदलाव</span><br />
<span class="mw-headline">जयपुर की रंगत अब बदल रही है, साथ ही बदल रही है इसकी आवोहवा, किन्तु पिछले तीन सौ साल पहले से सजे इस शहर में विकास का पहिया निरन्तर घूम रहा है। हाल में ही जयपुर को विश्व के दस सबसे खूबशूरत शहरों में शामिल किया गया है। यह जयपुर वासियों के लिये ही नहीं बल्कि सम्पूर्ण भारत वासियों के लिये गर्व की बात है। <a class="mw-redirect" href="http://hi.wikipedia.org/wiki/महानà¤à¤°" title="महानगर"><span style="color: #0645ad;">महानगर</span></a> बनने की ओर अग्रसर जयपुर में <a href="http://hi.wikipedia.org/wiki/सà¥à¤µà¤¤à¤¨à¥à¤¤à¥à¤°à¤¤à¤¾" title="स्वतन्त्रता"><span style="color: #0645ad;">स्वतन्त्रता</span></a> के बाद भी कई कीर्तिमान अपने नाम किये, और साथ ही महत्वाकांक्षी निर्माण भी यहां हुये। <a href="http://hi.wikipedia.org/wiki/à¤à¤¶à¤¿à¤¯à¤¾" title="एशिया"><span style="color: #0645ad;">एशिया</span></a> की सबसे बडी <a class="new" href="http://hi.wikipedia.org/w/index.php?title=%E0%A4%86%E0%A4%B5%E0%A4%BE%E0%A4%B8%E0%A5%80%E0%A4%AF&action=edit&redlink=1" title="आवासीय (पृष्ठ मौजूद नहीं है)"><span style="color: #ba0000;">आवासीय</span></a> <a href="http://hi.wikipedia.org/wiki/बसà¥à¤¤à¥" title="बस्ती"><span style="color: #0645ad;">बस्ती</span></a> <a href="http://hi.wikipedia.org/wiki/मानसरà¥à¤µà¤°" title="मानसरोवर"><span style="color: #0645ad;">मानसरोवर</span></a>, राज्य का सबसे बडा <a class="new" href="http://hi.wikipedia.org/w/index.php?title=%E0%A4%B8%E0%A4%B5%E0%A4%BE%E0%A4%88_%E0%A4%AE%E0%A4%BE%E0%A4%A8%E0%A4%B8%E0%A4%BF%E0%A4%82%E0%A4%B9_%E0%A4%9A%E0%A4%BF%E0%A4%95%E0%A4%BF%E0%A4%A4%E0%A5%8D%E0%A4%B8%E0%A4%BE%E0%A4%B2%E0%A4%AF&action=edit&redlink=1" title="सवाई मानसिंह चिकित्सालय (पृष्ठ मौजूद नहीं है)"><span style="color: #ba0000;">सवाई मानसिंह चिकित्सालय</span></a>, <a class="new" href="http://hi.wikipedia.org/w/index.php?title=%E0%A4%B5%E0%A4%BF%E0%A4%A7%E0%A4%BE%E0%A4%A8%E0%A4%B8%E0%A4%AD%E0%A4%BE_%E0%A4%AD%E0%A4%B5%E0%A4%A8&action=edit&redlink=1" title="विधानसभा भवन (पृष्ठ मौजूद नहीं है)"><span style="color: #ba0000;">विधानसभा भवन</span></a>, <a class="new" href="http://hi.wikipedia.org/w/index.php?title=%E0%A4%85%E0%A4%AE%E0%A4%B0_%E0%A4%9C%E0%A4%B5%E0%A4%BE%E0%A4%A8_%E0%A4%9C%E0%A5%8D%E0%A4%AF%E0%A5%8B%E0%A4%A4%E0%A4%BF&action=edit&redlink=1" title="अमर जवान ज्योति (पृष्ठ मौजूद नहीं है)"><span style="color: #ba0000;">अमर जवान ज्योति</span></a>, <a class="new" href="http://hi.wikipedia.org/w/index.php?title=%E0%A4%8F%E0%A4%AE.%E0%A4%86%E0%A4%88.%E0%A4%B0%E0%A5%8B%E0%A4%A1&action=edit&redlink=1" title="एम.आई.रोड (पृष्ठ मौजूद नहीं है)"><span style="color: #ba0000;">एम.आई.रोड</span></a>, <a class="new" href="http://hi.wikipedia.org/w/index.php?title=%E0%A4%B8%E0%A5%87%E0%A4%A8%E0%A5%8D%E0%A4%9F%E0%A5%8D%E0%A4%B0%E0%A4%B2_%E0%A4%AA%E0%A4%BE%E0%A4%B0%E0%A5%8D%E0%A4%95&action=edit&redlink=1" title="सेन्ट्रल पार्क (पृष्ठ मौजूद नहीं है)"><span style="color: #ba0000;">सेन्ट्रल पार्क</span></a> और <a class="mw-redirect" href="http://hi.wikipedia.org/wiki/विशà¥à¤µ" title="विश्व"><span style="color: #0645ad;">विश्व</span></a> के प्रसिद्ध बैंक, महत्वाकांक्षी और उपयोगी भवन निर्माण इसी कडी में शामिल हैं। पिछले कुछ सालों से जयपुर में <a class="new" href="http://hi.wikipedia.org/w/index.php?title=%E0%A4%AE%E0%A5%87%E0%A4%9F%E0%A5%8D%E0%A4%B0%E0%A5%8B&action=edit&redlink=1" title="मेट्रो (पृष्ठ मौजूद नहीं है)"><span style="color: #ba0000;">मेट्रो</span></a> <a class="new" href="http://hi.wikipedia.org/w/index.php?title=%E0%A4%B8%E0%A4%82%E0%A4%B8%E0%A5%8D%E0%A4%95%E0%A5%84%E0%A4%A4%E0%A4%BF&action=edit&redlink=1" title="संस्कॄति (पृष्ठ मौजूद नहीं है)"><span style="color: #ba0000;">संस्कॄति</span></a> के दर्शन भी होने लगे हैं, चमचमाती सडकें, बहुमंजिला शापिंग माल, आधुनिकता को छूती आवासीय कालोनियां, आदि महानगरों की होड करती दिखती हैं। पुराने जयपुर और नये जयपुर में नई और पुरानी संस्कॄति के दर्शन जैसे इस शहर के विकास और <a href="http://hi.wikipedia.org/wiki/à¤à¤¤à¤¿à¤¹à¤¾à¤¸" title="इतिहास"><span style="color: #0645ad;">इतिहास</span></a> दोनों को स्पष्ट करते हैं। प्रगति के पथ पर गुलाबी नगर <a class="new" href="http://hi.wikipedia.org/w/index.php?title=%E0%A4%AA%E0%A4%BF%E0%A4%82%E0%A4%95_%E0%A4%B8%E0%A4%BF%E0%A4%9F%E0%A5%80&action=edit&redlink=1" title="पिंक सिटी (पृष्ठ मौजूद नहीं है)"><span style="color: #ba0000;">पिंक सिटी</span></a> गतिमान है और वह दिन दूर नहीं जब यह शहर महानगरों मे शुमार हो जायेगा।<br />
<br />
<span class="mw-headline"><i><span style="color: #0645ad; font-size: large;"><u>जयपुर के दर्शनीय स्थल</u></span></i></span><br />
<br />
<span class="mw-headline">शहर में बहुत से पर्यटन आकर्षण भी हैं, जैसे <a class="mw-redirect" href="http://hi.wikipedia.org/wiki/à¤à¤à¤¤à¤°_मà¤à¤¤à¤°,_à¤à¤¯à¤ªà¥à¤°" title="जंतर मंतर, जयपुर"><span style="color: #0645ad;">जंतर मंतर, जयपुर</span></a>, <a href="http://hi.wikipedia.org/wiki/हवा_महल" title="हवा महल"><span style="color: #0645ad;">हवा महल</span></a>, <a href="http://hi.wikipedia.org/wiki/सिà¤à¥_पà¥à¤²à¥à¤¸" title="सिटी पैलेस"><span style="color: #0645ad;">सिटी पैलेस</span></a>, <a href="http://hi.wikipedia.org/wiki/à¤à¥à¤µà¤¿à¤à¤¦_दà¥à¤µà¤à¥_à¤à¤¾_मà¤à¤¦à¤¿à¤°" title="गोविंद देवजी का मंदिर"><span style="color: #0645ad;">गोविंद देवजी का मंदिर</span></a>, <a href="http://hi.wikipedia.org/wiki/बà¥_à¤à¤®_बिड़ला_तारामणà¥à¤¡à¤²" title="बी एम बिड़ला तारामण्डल"><span style="color: #0645ad;">बी एम बिड़ला तारामण्डल</span></a>, <a href="http://hi.wikipedia.org/wiki/à¤à¤®à¥à¤°_à¤à¤¾_à¤à¤¿à¤²à¤¾" title="आमेर का किला"><span style="color: #0645ad;">आमेर का किला</span></a>, <a href="http://hi.wikipedia.org/wiki/à¤à¤¯à¤à¤¢à¤¼_दà¥à¤°à¥à¤" title="जयगढ़ दुर्ग"><span style="color: #0645ad;">जयगढ़ दुर्ग</span></a> आदि। जयपुर के रौनक भरे बाजारों में दुकाने रंग बिरंगे सामानों से भरी है, जिसमें हथकरघा उत्पाद, बहुमूल्य पत्थर, वस्त्र, मीनाकारी सामान, आभूषण, राजस्थानी चित्र आदि शामिल हैं। इसके अलावा ये संगमरमर की प्रतिमाओं, ब्लू पॉटरी औऱ राजस्थानी जूतियों के लिये भी प्रसिद्ध हैं। प्रसिद्ध बाजारों में जौहरी बाजार, बापू बाजार, नेहरू बाजार, चौड़ा रास्ता, त्रिपोलिया बाजार और एम.आई. रोड़ के साथ साथ लगा बाजार हैं।</span><br />
<dl><dt><b><a href="http://hi.wikipedia.org/wiki/सिà¤à¥_पà¥à¤²à¥à¤¸" title="सिटी पैलेस"><span style="color: #0645ad; font-size: large;">सिटी पैलेस</span></a></b> </dt>
</dl>राजस्थानी व मुगल शैलियों की मिश्रित रचना एक पूर्व शाही निवास जो पुराने शहर के बीचों बीच खड़ा है। भूरे संगमरमर के स्तंभों पर टिके नक्काशीदार मेहराब, सोने व रंगीन पत्थरों की फूलों वाली आकृतियों ले अलंकृत है। संगमरमर के दो नक्काशीदार हाथी प्रवेश द्वार पर प्रहरी की तरह खड़े है। जिन परिवारों ने पीढ़ी दर पीढ़ी राजाओं की सेवा की है वे लोग गाइड के रूप में कार्य करते है। पैलेस में एक संग्राहलय है जिसमें राजस्थानी पोशाकों व मुगलों तथा राजपूतों के हथियार का बढ़िया संग्रह हैं। इसमें विभिन्न रंगों व आकारों वाली तराशी हुई मूंठ वाकी तलवारें भी हैं, जिनमें से कई मीनाकारी के जड़ऊ काम व जवाहरातों से अलंकृत है तथा शानदार जड़ी हुई म्यानों से युक्त हैं। महल में एक कलादीर्घा भी हैं जिसमें लघुचित्रों, कालीनों, शाही साजों सामान और अरबी, फारसी, लेटिन व संस्कृत में दुर्लभ खगोल विज्ञान की रचनाओं का उत्कृष्ट संग्रह है जो सवाई जयसिंह द्वितीय ने विस्तृत रूप से खगोल विज्ञान का अध्ययन करने के लिए प्राप्त की थी।<br />
<dl><dt><b><a class="mw-redirect" href="http://hi.wikipedia.org/wiki/à¤à¤à¤¤à¤°_मà¤à¤¤à¤°,_à¤à¤¯à¤ªà¥à¤°" title="जंतर मंतर, जयपुर"><span style="color: #0645ad; font-size: large;">जंतर मंतर, जयपुर</span></a></b> </dt>
</dl>एक पत्थर की वेगशाला। यह जयसिंह की पाँच वेगशालाओं में से सबसे विशाल है। इसके जटिल यंत्र, इसका विन्यास व आकार वैज्ञानिक ढंग से तैयार किया गया है। यह मध्ययुगीन भारत के खगोल विज्ञान के उच्च सूत्रों का प्रतिनिधित्व करतें है। इनमें सबसे प्रभावशाली रामयंत्र है जिसका इस्तेमाल ऊंचाई नापने के लिए किया जाता है।<br />
<dl><dt><b><a href="http://hi.wikipedia.org/wiki/हवा_महल" title="हवा महल"><span style="color: #0645ad; font-size: large;">हवा महल</span></a></b> </dt>
</dl>ईसवी सन् 1799 में निर्मित हवा महल राजपूतो का मुख्य प्रमाण चिन्ह। पुरानी नगरी की मुख्य गलियों के साथ यह पाँच मंजिली इमारत गुलाबी रंग में अर्धअष्टभुजाकार और परिष्कृत छतेदार बलुए पत्थर की खिड़कीयों से सुसज्जित है। शाही घरानों की स्त्रियां शहर का दैनिक जीवन व शहर के जुलूस देख सके इसी उद्देश्य से इमारत की रचना की गई थी।<br />
<dl><dt><b><a href="http://hi.wikipedia.org/wiki/à¤à¥à¤µà¤¿à¤à¤¦_दà¥à¤µà¤à¥_à¤à¤¾_मà¤à¤¦à¤¿à¤°" title="गोविंद देवजी का मंदिर"><span style="color: #0645ad; font-size: large;">गोविंद देवजी का मंदिर</span></a></b><span style="font-size: large;"> </span></dt>
</dl>भगवान कृष्ण का जयपुर का सबसे प्रसिद्ध बिना शिखर का मंदिर। यह चन्द्र महल के पूर्व में बने जन निवास बगीचे के मध्य अहाते में स्थित है। संरक्षक देवता गोविंदजी की मुर्ति पहले वृंदावन के मंदिर में स्थापित थी जिसको सवाई जय सिंह द्वितीय ने अपने परिवार के देवता के रूप में यहाँ पुनः स्थापित किया था।<br />
<dl><dt><b><a href="http://hi.wikipedia.org/wiki/सरà¤à¤¾à¤¸à¥à¤²à¥" title="सरगासूली"><span style="color: #0645ad; font-size: large;">सरगासूली</span></a></b><span style="font-size: large;">-</span> </dt>
</dl>(ईसर लाट) - त्रिपोलिया बाजार के पशिचमी किनारे पर क्षितिज को छूती उच्चतम इमारत जिसका निर्माण ईसवी सन् 1749 में सवाई ईश्वरी सिंह मे महान विजय को मनाने के लिए किया था।<br />
<dl><dt><b><a href="http://hi.wikipedia.org/wiki/राम_निवास_बाà¤" title="राम निवास बाग"><span style="color: #0645ad; font-size: large;">राम निवास बाग</span></a></b><span style="font-size: large;"> </span></dt>
</dl>एक चिड़ियाघर, दरबा, पौधाघर, वनस्पति संग्राहलय से युक्त एक हरा भरा विस्तृत बाग, खेल का प्रसिद्ध मैदान भी है। बाढ राहत परियोजना के अंतर्गत ईसवी सन् 1865 में सवाई राम सिंह द्वितीय ने इसे बनवाया था। सर सवीटन जैकब द्वारा रूपांकित, अल्बर्ट हाल जो भारतीय वास्तुकला शैली का परिष्कृत नमूना है, जिसे बाद में उत्कृष्ट मूर्तियों, चित्रों, सज्जित बर्तनों, प्राकृतिक विज्ञान के नमूनों, इजिप्ट की एक ममी और प्रख्यात फारस के कालीनों से सुसज्जित कर खोला गया। हाल ही में, सांस्कृतिक कार्यक्रमों को बढ़ावा देने के लिए एक प्रेक्षागृह के साथ रवीन्द्र मंच, एक आधुनिक कलादीर्घा व एक खुला थियेटर इसमें बनाया गया हैं।<br />
<dl><dt><b><span style="font-size: large;">गुड़िया घर</span></b> - (समयः 12 बजे से सात बजे तक)- पुलिस स्मारक के पास गूंगे बहरों के विद्यालय के अहाते में विभिन्न देशों की प्यारी गुड़ियाँ यहाँ प्रदर्शित हैं। </dt>
</dl><dl><dt><b><a href="http://hi.wikipedia.org/wiki/बà¥_à¤à¤®_बिड़ला_तारामणà¥à¤¡à¤²" title="बी एम बिड़ला तारामण्डल"><span style="color: #0645ad; font-size: large;">बी एम बिड़ला तारामण्डल</span></a></b> </dt>
</dl>(समयः 12 बजे से सात बजे तक)- अपने आधुनिक कम्पयूटर युक्त प्रक्षेपण व्यवस्था के साथ इस ताराघर में श्रव्य व दृश्य शिक्षा व मनोरंजनों के साधनों की अनेखी सुविधा उपलब्घ है। विद्यालयों के दलों के लिये रियायत उपलब्ध है। प्रत्येक महीने के आखिरी बुघवार को यह बंद रहता है।<br />
<dl><dt><b><a href="http://hi.wikipedia.org/wiki/à¤à¤²à¤¤à¤¾à¤à¥" title="गलताजी"><span style="color: #0645ad; font-size: large;">गलताजी</span></a></b><span style="font-size: large;"> </span></dt>
</dl>एक प्राचीन तार्थस्थल, निचली पहाड़ियों के बीच बगीचों से परे स्थित। मंदिर, मंडप और पवित्र कुंडो के साथ हरियाली युक्त प्राकृतिक दृश्य इसे आन्नददायक स्थल बना देते हैं। दीवान कृपाराम द्वारा निर्मित उच्चतम चोटी के शिखर पर बना सूर्य देवता का छोटा मंदिर शहर के सारे स्थानों से दिखाई पड़ता है।<br />
<dl><dt><b><span style="color: cyan; font-size: large;">जैन मंदिर</span></b> </dt>
</dl>आगरा मार्ग पर बने इस उत्कृष्ट जैन मंदिर की दीवारों पर जयपुर शैली में उन्नीसवीं सदी के अत्यधिक सुंदर चित्र बने हैं।Galta Ji Lake<br />
<dl><dt><b><span style="color: #3d85c6; font-size: large;">मोती डूंगरी और लक्ष्मी नारायण मंदिर</span></b> </dt>
</dl>मोती डूंगरी एक निजी पहाड़ी ऊचाँई पर बना किला है जो स्कॉटलैण्ड के महल की तरह निर्मित है। कुछ वर्षों पहले, पहाड़ी पादगिरी पर बना गणेश मंदिर और अद्भुत लक्ष्मी नारायण मंदिर भी उल्लेखनीय है।<br />
<b><a href="http://hi.wikipedia.org/wiki/सà¥à¤à¥à¤à¥à¤¯à¥_सरà¥à¤à¤¿à¤²" title="स्टैच्यू सर्किल"><span style="color: #0645ad; font-size: large;">स्टैच्यू सर्किल</span></a></b> - चक्कर के मध्य सवाई जयसिंह का स्टैच्यू बहुत ही उत्कृष्ट ढंग से बना हुआ है। इसे जयपुर के संस्थापक को श्रद्धांजलि देने के लिए नई क्षेत्रीय योजना के अंतर्गत बनाया गया है।<br />
<dl><dt><b><span style="font-size: large;">अन्य स्थल</span></b> </dt>
</dl>आमेर मार्ग पर रामगढ़ मार्ग के चौराहे के पास रानियों की याद में बनी आकर्षक महारानी की छतरी है। मानसागर झील के मध्य, सवाई माधोसिंह प्रथम द्वारा निर्मित जल महल, एक वशीभूत करने वाला स्थल है। परिष्कृत मंदिरों व बगीचों वाले कनक वृंदावन भवन की पुरातन पूर्णता को अभी हाल ही में पुनर्निर्मित किया गया है। इस सड़क के पश्चिम में गैटोर में शाही शमशान घाट है जिसमें जयपुर के सवाई ईश्वरी सिंह के सिवाय समस्त शासकों के भव्य स्मारक हैं। बारीक नक्काशी व लालित्यपूर्ण आकार से युक्त सवाई जयसिंह द्वितीय की बहुत ही प्रभावशाली छतरी है। प्राकृतिक पृष्ठभूमि से युक्त बगीचे आगरा मार्ग पर दीवारों से घिरे शहर के दक्षिण पूर्वी कोने पर घाटी में फैले हुए हैं।<br />
<dl><dt><b><a href="http://hi.wikipedia.org/wiki/à¤à¥à¤à¥à¤°" title="गैटोर"><span style="color: #0645ad; font-size: large;">गैटोर</span></a></b><span style="font-size: large;"> </span></dt>
</dl>सिसोदिया रानी के बाग में फव्वारों, पानी की नहरों, व चित्रित मंडपों के साथ पंक्तिबद्ध बहुस्तरीय बगीचे हैं व बैठकों के कमरे हैं। अन्य बगीचों में, विद्याधर का बाग बहुत ही अच्छे ढ़ग से संरक्षित बाग है, इसमें घने वृक्ष, बहता पानी व खुले मंडप हैं। इसे शहर के नियोजक विद्याधर ने निर्मित किया था।<br />
<br />
<div class="rellink relarticle mainarticle"><i><span style="color: #0645ad; font-size: large;">आमेर का किला</span></i></div>यह कभी सात शताव्दियों तक ढूंडार के पुराने राज्य के कच्छवाहा शासकों की राजधानी थी। आरंभिक ढ़ाचा अब थोड़ा ही बचा है।<br />
<br />
<b><span style="font-size: large;">आमेर और शीला माता मंदिर</span></b> - लगभग दो शताब्दी पूर्व राजा मान सिंह, मिर्जा राजा जय सिंह और सवाई जय सिंह द्वारा निर्मित महलों, मंडपों, बगीचों और मंदिरों का एक आकर्षक भवन है। मावठा झील के शान्त पानी से यह महल सीधा उभरता है और वहाँ कठिन रास्ते द्वारा ही पहुंचा जा सकता है। सिंह पोल और जलेब चौक तक अकसर पर्यटक हाथी पर सवार होकर जाते हैं। चौक के सिरे से सीढ़ियों की पंक्तियाँ उठती हैं, एक शिला माता के मंदिर की ओर जाती है और दूसरी महल के भवन की ओर। यहां स्थापित करने के लिए राजा मान सिंह द्वारा संरक्षक देवी की मूर्ति, जिसकी पूजा हजारों श्रद्धालु करते है, पूर्वी बंगाल (जो अब बंगला देश है) के जेसोर से यहां लाई गई थी। एक दर्शनीय खंभो वाला हॉल दीवान-ए-आम और एक दोमंजिला चित्रित प्रवेशद्वार, गणेश पोल आगे के पंरागण में है। गलियारे के पीछे चारबाग की तरह का एक रमणीय छोटा बगीचा है जिसकी दाई तरफ सुख निवास है और बाई तरफ जसमंदिर। इसमें मुगल व राजपूत वास्तुकला का मिश्रित है, बारीक ढंग से नक्काशी की हुई जाली की चिलमन, बारीक शीशों और गचकारी का कार्य और चित्रित व नक्काशीदार निचली दिवारें। मावठा झील के मध्य में सही अनुपातित मोहन बाड़ी या केसर क्यारी और उसके पूर्वी किनारे पर दिलराम बाग ऊपर बने महलों का मनोहर दृश्य दिखाते है।<br />
<b>पुराना शहर</b> - कभी राजाओं, हस्तशिल्पों व आम जनता का आवास आमेर शहर अब खंडहर बन गया है। आकर्षक ढंग से नक्काशी किया व सुनियोजित जगत शिरोमणि मंदिर, मीराबाई से जुड़ा एक कृष्ण मंदिर, नरसिंहजी का पुराना मंदिर व अच्छे ढ़ग से बना सीढ़ियों वाला कुआँ, पन्ना मियां का कुण्ड समृद्ध अतीत के अवशेष है।<br />
<br />
<b><span style="font-size: large;">जयगढ़ किला</span></b><br />
<div class="rellink relarticle mainarticle"><i><span style="font-size: large;"> <span style="color: #0645ad;">जयगढ़ दुर्ग</span></span></i></div>मध्ययुगीन भारत के कुछ सैनिक इमारतों में से एक। महलों, बगीचों, टांकियों, अन्य भन्डार, शस्त्रागार, एक सुनोयोजित तोप ढलाई-घर, अनेक मंदिर, एक लंबा बुर्ज और एक विशालकाय चढी हुई तोप - जय बाण जो देश की सबसे बड़ी तोपों में से एक है, इसमें अपना प्राचीन वैभव सुरक्षित करके रखा हुआ है। जयगढ़ के फैले हुए परकोटे, बुर्ज और प्रवेश द्वार पश्चिमी द्वार क्षितिज को छूते है। नाहरगढः जयगढ की पहाड़ियों के पीछे स्थित गुलाबी शहर का पहरेदार है - नाहरगढ़ किला। यद्यपि इसका बहुत कुछ हिस्सा ध्वस्त हो गया है, फिर भी सवाई मान सिंह द्वितीय व सवाई माधव सिंह द्वितीय द्वारा बनाई मनोहर इमारतें किले की रौनक बढ़ती है।<br />
<b><a href="http://hi.wikipedia.org/wiki/साà¤à¤à¤¾à¤¨à¥à¤°" title="सांगानेर"><span style="color: #0645ad;">सांगानेर</span></a></b> - (१२ किलोमीटर) - यह टोंक मार्ग पर स्थित है। इसके ध्वस्त महलों के अतिरिक्त, सांगानेर के उत्कृष्ट नक्काशीदार जैन मंदिर है। दो त्रिपोलिया (तीन मुख्य द्वार ) के अवशेषो द्वारा नगर में प्रवेश किया जाता है। शिल्प उद्योग के लिए शहर महत्वपूर्ण केन्द्र है और ठप्पे व जालीदार छपाई की इकाइयों द्वारा हाथ से बने बढिया कपड़े यहां बनते है। यह कपड़ा देश व विदेश में प्रसिद्ध है।<br />
<b><a href="http://hi.wikipedia.org/wiki/बà¤à¤°à¥" title="बगरू"><span style="color: #0645ad;">बगरू</span></a></b> - (३४ किलोमीटर) - अजमेर मार्ग पर, भूमि के छूता किला, अभी भी अच्छी अवस्था में है। यह अपने हाथ की छपाई के हथकरघा उद्योग के लिए उल्लेखनीय है, जहां सरल तकनीको का प्रयोग होता है। इस हथकरघाओं के डिजाइन कम जटिल व मटियाले रंगो के होते है।<br />
<b><a href="http://hi.wikipedia.org/wiki/रामà¤à¤¢à¤¼_à¤à¥à¤²" title="रामगढ़ झील"><span style="color: #0645ad;">रामगढ़ झील</span></a></b> - (३२ किलोमीटर उत्तर - पूर्व) - पेड़ो से आच्छादित पहाड़ियो के बीच एक ऊंचा बांध बांधकर एक विशाल कृत्रिम झील की निर्माण किया गया है। यद्यपि जमवा माता का मंदिर व पुराने किले के खंडहर इसके पुरावशेष है। विशेषकर बारिश के मौसम में इसके आकर्षक प्राकृतिक दृश्य इसको एक बेहतर पिकनिक स्थल बना देते है।<br />
<b><a href="http://hi.wikipedia.org/wiki/सामà¥à¤¦" title="सामोद"><span style="color: #0645ad;">सामोद</span></a></b> - (४० किलोमीटर उत्तर - पूर्व) - सुन्दर सामोद महल का पुनर्निमाण किया गया तथा यह राजपूत हवेली वास्तुकला का बेहतर नमुना है व घूमने के लिए उत्तम स्थल।<br />
<b><a href="http://hi.wikipedia.org/wiki/बà¥à¤°à¤¾à¤ " title="बैराठ"><span style="color: #0645ad;">बैराठ</span></a></b>- (शाहपुरा - अलवर मार्ग 86 किलोमीटर दूर) - खुदाई करने पर निकले एक वृताकार बौध मंदिर के अवशेषों से युक्त एक महत्वपूर्ण ऐतिहासिक स्थान है जो राजस्थान का असाधारण व भारत का आरंभिक प्रसिद्ध मंदिर है। बैराठ के मौर्य, मुगल व राजपूत समय के स्मृतिचिन्ह भी है। अकबर द्वारा निर्मित एक खान, एक रमणीय मुगल बगीचा औक जहांगीर द्वारा निर्मित चित्रित छतरियों व दीवारों से युक्त असाधारण इमारत अन्य आकर्षण है।<br />
<br />
<b><span style="font-size: large;">सांभर</span></b><br />
<div class="rellink relarticle mainarticle"><i><span style="color: #0645ad; font-size: large;">सांभर झील</span></i></div>(पश्चिम से 14 किलोमीटर) - विशाल टापू वाली भारत की नमक की झील, पवित्र देवयानी कुंड, महल और पास ही स्थित नालियासार के प्रसिद्ध है।<br />
<b>जयसिंहपुरा खोर</b> - (अजमेर मार्ग से 12 किलोमीटर) - मीणा कबीले के इस आवास में एक दुर्जय किला, एक जैन मंदिर और हरे भरे वातावरण के बीच एक बावड़ी है।<br />
<b>माधोगढ़</b> - तुंगा (बस्सी लालसोट आगरा मार्ग से 40 किलोमीटर) - जयपुर व मराठा सेना के बीच हुए एतिहासिक युग का तुंगा गवाह है। सुंदर आम के बागो के बीच यह किला बसा है।</span>Vinod Bhanahttp://www.blogger.com/profile/08200806326936994849noreply@blogger.com0tag:blogger.com,1999:blog-836167197628339282.post-70892858498546748682010-10-15T20:24:00.000-07:002010-10-15T20:24:50.492-07:00राजस्थान के प्रसिद्ध स्थल<span class="mw-headline" id=".E0.A4.B0.E0.A4.BE.E0.A4.9C.E0.A4.B8.E0.A5.8D.E0.A4.A5.E0.A4.BE.E0.A4.A8_.E0.A4.95.E0.A5.87_.E0.A4.AA.E0.A5.8D.E0.A4.B0.E0.A4.B8.E0.A4.BF.E0.A4.A6.E0.A5.8D.E0.A4.A7_.E0.A4.B8.E0.A5.8D.E0.A4.A5.E0.A4.B2"><span style="font-size: large;">राजस्थान के प्रसिद्ध स्थल</span></span><br />
<span class="mw-headline">. गुलाबी नगरी के रूप में प्रसिद्ध <b><span style="color: #0645ad;">जयपुर</span></b> राजस्थान राज्य की राजधानी है।</span><br />
2. शहर इसके भव्य किलों, महलों और सुंदर झीलों के लिए प्रसिद्ध है, जो विश्वभर से पर्यटकों को आकर्षित करते हैं।<br />
3. सिटी पैलेस महाराजा जयसिंह II द्वारा बनवाया गया था और मुगल औऱ राजस्थानी स्थापत्य का एक संयोजन है।<br />
4. महराजा सवाई प्रताप सिंह ने हवामहल 1799 ईसा में बनवाया और वास्तुकार लाल चन्द उस्ता थे ।<br />
5. अम्बेर दुर्ग भवन-समूह के महलों, विशाल कक्षों, सीढ़ीयों, स्तंभदार दर्शक दीर्घाओं, बगीचों और मंदिरों सहित कई भाग हैं।<br />
6. अम्बेर महल मुगल औऱ हिन्दू स्थापत्य का उत्कृष्ट उदाहरण हैं।<br />
7. गवर्नमेण्ट सेन्ट्रल म्यूजियम 1876 में, जब प्रिंस ऑफ वेल्स ने भारत भ्रमण किया, बनवाया गया था और 1886 में जनता के लिए खोला गया ।<br />
8. गवर्नमेण्ट सेन्ट्रल म्यूजियम में हाथीदांत कृतियों, वस्त्रों, आभूषणों, नक्काशीदार काष्ठ कृतियों, सूक्ष्म चित्रों संगमरमर प्रतिमाओं, शस्त्रों औऱ हथियारों का समृद्ध संग्रह है।<br />
9. सवाई जय सिंह II ने अपनी सिसोदिया रानी के लिए सिसोदिया रानी का बाग बनवाया।<br />
10. जलमहल शाही बतख शिकार गोष्ठियों के लिए बनाया गया एक सुंदर महल है।<br />
11. कनक वृंदावन जयपुर में एक लोकप्रिय विहार स्थल है।<br />
12. जयपुर में बाजार जीवंत होते हैं और दुकाने रंग बिरंगे सामानों से भरी है, जिसमें हथकरघा उत्पाद, बहुमूल्य पत्थर, वस्त्र, मीनाकारी सामान, आभूषण, राजस्थानी चित्र आदि शामिल हैं।<br />
13. जयपुर संगमरमर की प्रतिमाओं, ब्लू पॉटरी औऱ राजस्थानी जूतियों के लिए भी प्रसिद्ध है।<br />
14. जयपुर के प्रमुख बाजार, जहां से आप कुछ उपयोगी सामान खरीद सकते हैं, जौहरी बाजार, बापू बाजार, नेहरू बाजार, चौड़ा रास्ता, त्रिपोलिया बाजार और एम.आई. रोड़ के साथ साथ हैं।<br />
15. जयपुर शहर के भ्रमण का सर्वोत्तम समय अक्टूबर से मार्च के मध्य में है।<br />
16. राजस्थान राज्य परिवहन निगम (RSTC) की उत्तर भारत के सभी प्रसुख गंतव्यों के लिए बस सेवाएं हैं। 17. वज्रांग मंदिर : जयपुर से पहले विराटनगर (पुराना नाम बैराट) नामक एक क़स्बा आता है. यह वाही स्थान है जहाँ पांड्वो ने अग्यात्वास के दोरान अपना जीवन व्यतीत किया था. यहीं पञ्च खंड पर्वत पर भारत वर्ष का सबसे अनोखा और एकमात्र हनुमान मंदिर है जहाँ हनुमान जी की बिना बन्दर और पूछ वाली मूर्ति स्थापित है. इसका नाम वाज्रंग मंदिर है और इसकी स्थापना अमर हुतात्मा गोभक्त, महँ स्वतंत्रता सेनानी, यशश्वी लेखक, हिन्दू संत, हिन्दू नेता श्रीमान महात्मा रामचन्द्र वीर जी ने की थी.<br />
<h3><span class="mw-headline" id=".E0.A4.AD.E0.A4.B0.E0.A4.A4.E0.A4.AA.E0.A5.81.E0.A4.B0"><span style="color: #0645ad;">भरतपुर</span></span></h3>17. ‘पूर्वी राजस्थान का द्वार’ <b>भरतपुर</b>, भारत के पर्यटन मानचित्र में अपना महत्व रखता है।<br />
18. भारत के वर्तमान मानचित्र में एक प्रमुख पर्यटक गंतव्य, भरतपुर पांचवी सदी ईसा पूर्व से कई अवस्थाओं से गुजर चुका है।<br />
19. 18 वीं सदी का भरतपुर पक्षी अभ्यारण्य, जो केवलादेव घाना नेशनल पार्क के रूप में भी जाना जाता है।<br />
20. 18 वीं सदी का भरतपुर पक्षी अभ्यारण्य, जो केवलादेव घाना नेशनल पार्क के रूप में भी जाना जाता है,संसार का सबसे महत्पूर्ण पक्षी प्रजनन और पालन स्थान के रूप में प्रसिद्ध है।<br />
21. लौहागढ़ आयरन फोर्ट के रूप में भी जाना जाता है, लौहागढ़ भरतपुर के प्रमुख ऐतिहासिक आकर्षणों में से एक है।<br />
22. भरतपुर संग्रहालय स्थान के विगत शाही वैभव के साथ साक्षात्कार का एक प्रमुख स्त्रोत है।<br />
23. नेहरू पार्क, एक सुंदर बगीचा भरतपुर संग्रहालय के पास में है।<br />
24. नेहरू पार्क रंग बिरंगे फूलों और हरी घास के मैदान से भरा हुआ है, इसकी उत्कृष्ट सुंदरता से पर्यटकों को आकर्षित करता है।<br />
25. डीग पैलेस एक मजबूत औऱ बहुत बड़ा दुर्ग है, जो भरतपुर के शासकों के लिए ग्रीष्मकालीन आश्रय स्थल के रूप में कार्य करता है।<br />
26. भरतपुर के भ्रमण का सर्वोत्तम समय अक्टूबर, नवंबर, फरवरी, और मार्च के महीनों के दौरान हैं। 27. व्यक्ति भरतपुर में एक स्थान से दूसरे स्थान पर जाने के लिए परिवहन के कई साधनों जैसे टैक्सी साइकिल रिक्शा और ऑटो-रिक्शा ले सकता है।<br />
<h3><span class="mw-headline" id=".E0.A4.9C.E0.A5.8B.E0.A4.A7.E0.A4.AA.E0.A5.81.E0.A4.B0"><span style="color: #0645ad;">जोधपुर</span></span></h3>28. राजस्थान राज्य के पश्चिमी भाग में केन्द्र में स्थित, जोधपुर शहर राज्य का दूसरा सबसे बड़ा शहर है और दर्शनीय महलों, दुर्गों औऱ मंदिरों को प्रस्तुत करते हुए एक लोकप्रिय पर्यटक गंतव्य है।<br />
29. राजस्थान राज्य के पश्चिमी भाग केन्द्र में स्थित, जोधपुर शहर राज्य का दूसरा सबसे बड़ा शहर है और दर्शनीय महलों, दुर्गों औऱ मंदिरों को प्रस्तुत करते हुए एक लोकप्रिय पर्यटक गंतव्य है।<br />
30. शहर की अर्थव्यस्था हथकरघा, वस्त्रों और कुछ धातु आधारित उद्योगों को शामिल करते हुए कई उद्योगों पर निर्भर करती है।<br />
31. रेगिस्तान के हृदय में स्थित, राजस्थान का यह शहर राजस्थान के अनन्त मुकुट का एक भव्य रत्न है।<br />
32. राठौंड़ों के रूप में प्रसिद्ध एक वंश के प्रमुख, राव जोधा ने मृतकों की भूमि कहलाये गये, जोधपुर की 1459 में स्थापना की।<br />
33. मेहरानगढ़ दुर्ग, 125 मीटर की पर्वत चोटी पर स्थित औऱ 5 किमी के क्षेत्रफल में फैला हुआ, भारत के सबसे बड़े दुर्गों में से एक है।<br />
34. मेहरानगढ़ दुर्ग के अन्दर कई सुसज्जित महल जैसे मोती महल, फूल महल, शीश महल स्थित हैं।<br />
35. मेहरानगढ़ दुर्ग के अन्दर संग्रहालय में भी सूक्ष्म चित्रों, संगीत वाद्य यंत्रों, पोशाकों, शस्त्रागार आदि का एक समृद्ध संग्रह है।<br />
36. मेहरानगढ़ दुर्ग के सात दरवाजे हैं औऱ शहर का अद्भुत दृश्य प्रस्तुत करते हैं।<br />
37. उम्मेद भवन पैलेस लाल बलुआ पत्थर और संगमरमर से बना है और इसने महाराजा उम्मेद सिंह के पर्यवेक्षण में 1929 से 1943 तक लगभग 16वर्ष लिये।<br />
38. जसवंत ठाड़ा एक सफेद संगमरमर का स्मारक है, जो महाराजा जसवन्त सिंह II की याद में 1899 में बनवाया था।<br />
39. जोधपुर के शासकों के कुछ चित्र भी जसवन्त ठाड़ा पर प्रदर्शित किये गये हैं।<br />
40. गवर्नमेण्ट म्यूजियम उम्मेद बाग के मध्य में स्थित है और हथियारों, वस्त्रों, चित्रों, पाण्डुलिपियों, तस्वीरों, स्थानीय कला और शिल्पों का एक समृद्ध संग्रह रखता है।<br />
41. बालसमन्द झील और महल एक कृत्रिम झील है और एक शानदार विहार स्थल है और 1159 ईस्वीं में बनवाया गया था।<br />
42. मारवाड़ प्रमुख उत्सव है,जो अक्टूबर के महीने में मनाया जाता है।<br />
43. जोधपुर इसके काष्ट और लौह फर्नीचर, पारंपरिक जोधपुरी हस्तकला, रंगाई वस्त्रों, चमड़े के जूतों, पुरातन वस्तुओँ, कसीदा किये पायदानों, बंधाई और रंगाई की साड़ियों, चांदी के आभूषणों, स्थानीय हस्तकलाओं और वस्त्रों, लाख कार्य औऱ चूड़ियों के लिए जाना जाता है, कुछ सामान है जो आप जोधपुर से खरीद सकते हैं।<br />
44. सेन्ट्रल मार्केट, सोजती गेट, स्टेशन रोड़, सरदार मार्केट, त्रिपोलिया बाजार, मोची बाजार, लखेरा बाजार, जोधपुर में कुछ सबसे अच्छे खरीददारी स्थानों में हैं।<br />
45. अक्टूबर से मार्च जोधपुर शहर के भ्रमण का सर्वोत्तम समय है।<br />
46. बिना मीटर की टैक्सी, ऑटो रिक्शा, टेम्पो और साईकिल रिक्शा जोधपुर शहर के अन्दर यातायात के प्रमुख साधन है।<br />
47. जोधपुर का इसका अपना हवाई अड्डा है जो जयपुर, दिल्ली, उदयपुर, मुम्बई, और कुछ अन्य प्रमुख शहरों से जुड़ा हुआ है।<br />
48. जोधपुर शहर ब्रोड् गेज रेल्वे लाईनों से सीधे जुड़ा है, जो इसे राजस्थान के अन्दर और बाहर प्रमुख स्थानो से जोड़ता है।<br />
<h3><span class="mw-headline" id=".E0.A4.9C.E0.A5.88.E0.A4.B8.E0.A4.B2.E0.A4.AE.E0.A5.87.E0.A4.B0"><span style="color: #0645ad;">जैसलमेर</span></span></h3>49. जैसलमेर गर्म और झुलसाने वाली ग्रीष्म ओर ठंड़ी और जमाने वाली सर्दियों के साथ विशिष्ट रेगिस्तानी वर्ग की जलवायु के लिए जाना जाता है।<br />
50. अक्टूबर से फरवरी जैसलमेर भ्रमण का श्रेष्ठ समय माना जाता है।<br />
51. जैसलमेर से 16 किमी की दूरी पर स्थित, लोदुरवा जैसलमेर की प्राचीन राजधानी थी।<br />
52. जैसलमेर की बाहरी सीमा पर स्थित लोकप्रिय सैर स्थलों में से एक, लोदुर्वा लोकप्रिय जैन मंदिर के लिए जाना जाता है, जो वर्ष भर तीर्थयात्राओं की एक बड़ी संख्या को आकर्षित करता है।<br />
53. जैन मंदिर का मुख्य आर्षषण ‘कल्पतरू’ नामक एक दैवीय वृक्ष है और लोकप्रिय नक्काशियां और गुंबद मंदिर में अतिरिक्त आकर्षण को जोड़ते है।<br />
54. वुड़ फॉसिल पार्क जैसलमेर के आस पास में उपलब्ध उत्कृष्ट सैर स्थलों में से एक है।<br />
55. लाखों वर्ष पुराने जीवाश्मों के लिए प्रसिद्ध, वुड़ फॉसिल पार्क जैसलमेर में थार डेजर्ट का एक भूवैज्ञानिक चिन्ह है।<br />
56. थार डेजर्ट का सौन्दर्य, जैसलमेर से 42 किमी दूर स्थित, सम रेतीले टीलों द्वारा अच्छी तरह बताया गया है।<br />
57. सम रेत के टीले मानव को प्रकृति का सर्वोत्तम उपहार है।<br />
58. सैंकड़ों और हजारों पर्यटक साम रेतीले टीलों से प्रकृति के अद्भुत कलात्मक दृश्य को देखने राजस्थान आते हैं और यह स्थान ऊँट अभियान के द्वारा अच्छी तरह बताया जा सकता है।<br />
59. जैसलमेर के रेतीले शहर से 45 किमी दूर, डेजर्ट नेशनल पार्क रेतीले टीलों और झाड़ियों से ढकी पहाड़ियों के लिए जाना जाता है।<br />
60. सैर की श्रेष्ठ जगह, डेजर्ट नेशनल पार्क काले हिरण, चिन्कारा, रेगिस्तानी लेमड़ी और श्रेष्ठ भारतीय बस्टर्ड के लिए प्रसिद्ध है।<br />
61. जैसलमेर की सर्वश्रेष्ठ हवेलियों में से एक, अमर सागर नक्काशीदार स्तंभों और बड़े गलियारों और कमरों के लिए जानी जाती है।<br />
62. खण्ड़ों के नमूनों पर निर्मित, अमर सागर हवेली एक पांच मंजिल ऊँची, सुंदर भित्ती चित्रोंसे सुसज्जित हवेली है।<br />
<h3> <span class="mw-headline" id=".E0.A4.89.E0.A4.A6.E0.A4.AF.E0.A4.AA.E0.A5.81.E0.A4.B0"><a href="http://hi.wikipedia.org/wiki/उदयपà¥à¤°" title="उदयपुर"><span style="color: #0645ad;">उदयपुर</span></a></span></h3>63. उदयपुर मेवाड़ के प्राचीन राज्य की ऐतिहासिक राजधानी है औऱ वर्तमान में उदयपुर जिले का प्रशासनिक मुख्यालय है।<br />
64. झीलों और महलो का शहर, उदयपुर हरी भरी अरावली श्रेणी और स्फटिक स्वच्छ पानी की झील द्वारा घिरा हुआ है।<br />
65. रोमांच औऱ सौंदर्य का उत्तम संयोजन, उदयपुर, चित्रकारों, कवियों, औऱ लेखकों की कल्पना के लिए प्रथम चयन हो सकता है।<br />
66. उदयपुर राजस्थान के दक्षिणी भाग में स्थित है और अरावली श्रेणियों से घिरा हुआ है।<br />
67. उदयपुर इसकी सुंदर झीलों, सुनिर्मित महलों, हरे भरे बगीचों और मंदिरों के लिए जाना जाता है, लेकिन इस जगह के प्रमुख आकर्षण लेक पैलेस और सिटी पैलेस हैं।<br />
68. सिटी पैलेस पिछोला झील के किनारे पर स्थित है, यह शीशे और कांच के कार्य से निर्मित एक भव्य और प्रेरणादायी गढ़ है।<br />
69. कलाओं और परिकल्पनाओं का एक उत्तम संयोजन, सिटी पैलेस तकनीक और स्थापत्य में इसकी उन्नति के लिए जाना जाता है।<br />
70. सिटी पैलेस का एक भाग अब एक संग्रहालय में परिवर्तित कर दिया है, जो कला औऱ साहित्य के कुछ उत्तम रूपों को प्रदर्शित करता है।<br />
71. उदयपुर कई संयुक्त आर्कषणों और प्राकृतिक सौन्दर्य से धन्य है, राजस्थान का एक प्रसिद्ध शहर इसके उत्कृष्य स्थापत्य और हस्तशिल्प के लिए जाना जाता है।<br />
72. जग मंदिर, फतेह प्रकाश पैलेस, क्रिस्टल गैलरी, और शिल्पग्राम उदयपुर के आस पास में स्थित कुछ श्रेष्ठ स्मारक और स्थान हैं।<br />
73. जग मंदिर पिछोला लेक में स्थित एक द्वीप महल है जो महाराजा करन सिंह ने राजकुमार खुर्रम के शरण स्थल के लिए बनवाया था।<br />
74. जग मंदिर इसके सुंदर बगीचों, प्रांगण और स्लेटी और नीले पत्थर में प्रदर्शिरत नक्काशीदार “छत्री” के लिए भी जाना जाता है।<br />
75. फतेह प्रकाश पैलेस विलासिता और सौर्दर्य का एक उत्तम उदाहरण है जो उदयपुर को शाही आतिथ्य और संस्कृति के शहर के रूप में अभिव्यक्त करता है।<br />
76. शिल्पग्राम आधुनिक अवधारणा को कम प्रमुखता देते हुए, गांव की अवधारणा पर बनाया गया है।<br />
77. कलाओं, संस्कृति और शिल्प का एक उत्तम मिश्रण शिल्पग्राम में प्रदर्शित किया गया है और इसके मिट्टी के काम के लिए जाना जाता है, जो मुख्यतः गहरी भूरी और गहरी लाल मिट्टी में किया जाता है।<br />
78. मेवाड़ उत्सव उदयपुर के महत्वपूर्ण उत्सवों में से एक है और प्रतिवर्ष अप्रैल माह में मनाया जाता है।<br />
79. उदयपुर में खरीददारी हमेशा एक सुखदायी अनुभव है और यह स्थानीय व्यापारियों द्वारा विकसित उत्कृष्ट हस्तशिल्प और कार्यों को दिखाती है।<br />
80. उदयपुर के मुख्य बाजार पैलेस रोड़, हाथी पोल, बड़ा बाजार, बापू बाजार और चेतक सर्किल हैं। राजस्थली राजस्थान सरकार का स्वीकृति प्राप्त विक्रय केन्द्र है।<br />
81. सितंबर से मार्च उदयपुर भ्रमण का सबसे उत्तम मौसम है।<br />
<h3><span class="mw-headline" id=".E0.A4.AC.E0.A5.80.E0.A4.95.E0.A4.BE.E0.A4.A8.E0.A5.87.E0.A4.B0"><span style="color: #0645ad;">बीकानेर</span></span></h3>82. राजसी शहर बीकानेर का एक अद्वितिय कालजयी आकर्षण है।<br />
83. राजस्थान का यह रेगिस्तानी शहर इसके आकर्षणों के लिए प्रसिद्ध है, जिसमें दुर्ग, मंदिर, और कैमल फेस्टिवल शामिल हैं। ऊँटों के देश के रूप में प्रचलित बीकानेर नें औद्योगिक क्षेत्र में भी एक छाप बनाई है।<br />
84. इसकी बीकानेरी मिठाइयों औऱ नाश्ते के लिए संसार में सुप्रसिद्ध, बीकानेर का प्रगतिशील पर्यटन उद्योग भी राजस्थान की अर्थव्यवस्था में महत्वपूर्ण भूमिका निभाता है।<br />
85. एक रोमांचक ऊँट की सवारी की आशा करने वाले पर्यटकों के लिए बीकानेर एक प्रमुख केन्द्र भी है, जो सुदूर राजस्थान की उत्तम जीवन शैली में अन्तदृष्टी प्रदान करता है।<br />
86. जूनागढ़ दुर्ग के अन्दर एक संग्रहालय है, जिसमें बहुमूल्य पुरातन वस्तुओं का संग्रह है।<br />
87. लालगढ़ पैलेस महाराजा गंगा सिंह द्वारा बनवाया गया था और बीकानेर शहर से 3 किमी उत्तर में स्थित है।<br />
88. दि राजस्थान टूरिज्म डवलपमेन्ट कॉर्पोरेशन(आर.टी.डी.सी.) ने लालगढ़ पैलेस का एक भाग एक होटल में बदल दिया है।<br />
89. लालगढ़ पैलेस के अन्दर एक पुस्तकालय भी है, जिसमें ब़डी संख्या में संस्कृत पाण्डुलिपियां हैं।<br />
90. गजनेर वन्य जीव अभ्यारण्य बीकानेर शहर से 32 किमी दूर है औऱ जानवरों और पक्षियों की कई प्रजातियों का घर है।<br />
91. भाण्डेश्वर और साण्डेश्वर मंदिर दो भाईयों द्वारा बनवाये गये थे और जैन तीर्थंकर, पार्श्वनाथ जी को समर्पित हैं।<br />
92. कांच का कार्य और सोने के वर्क के चित्र भाण्डेश्वर औऱ साण्डेश्वर मंदिरों के प्रमुख आकर्षण हैं।<br />
93. दि गंगा गोल्डन जुबली म्यूजियम में मिट्टी के बर्तनों, चित्रों, कालीनों, सिक्कों और शस्त्रागारों का एक बड़ा संग्रह है।<br />
94. केमल फेस्टीवल प्रतिवर्ष जनवरी महीने में मनाया जाता है और राजस्थान के डिपार्टमेन्ट ऑफ टूरिज्म, आर्ट एण्ड कल्चर द्वारा आयोजित किया जाता है।<br />
95. प्रसिद्ध बीकानेरी भुजिया और मिठाईयां बीकानेर में खरीददारी के कुछ सबसे अच्छे सामान हैं।<br />
96. भ्रमण करने के श्रेष्ठ महीने अक्टूबर से मार्च शहर के भ्रमण का श्रेष्ठ समय है।<br />
<h3><span class="mw-headline" id=".E0.A4.AE.E0.A4.BE.E0.A4.89.E0.A4.A3.E0.A5.8D.E0.A4.9F_.E0.A4.86.E0.A4.AC.E0.A5.82"><span style="color: #0645ad;">माउण्ट आबू</span></span></h3>97.माउण्ट आबू, अरावली श्रेणी के दक्षिणी शिखर पर स्थित, राजस्थान का एकमात्र पर्वतीय स्थल है।<br />
98.ब्रिटिश शासन के दौरान माउण्ट आबू अंग्रेजों का मनपसंद ग्रीष्मकालीन गन्तव्य बन गया ।<br />
99. गौमुख मंदिर भगवान राम को समर्पित है, यह छोटा मंदिर माउण्ट आबू के 4 किमी दक्षिण मे स्थित है और इसका नाम एक संगमरमर का गाय के मुंह से बहते हुए एक प्राकृतिक झरने से लिया है।<br />
100. नक्की झील, एक कृत्रिम झील कस्बे के हृदय में स्थित है और सुदृश्य पहाड़ियों, सुंदर बगीचों से घिरा हुआ है और एक अवश्य दर्शनीय स्थान है।Vinod Bhanahttp://www.blogger.com/profile/08200806326936994849noreply@blogger.com0tag:blogger.com,1999:blog-836167197628339282.post-19425609652820025972010-10-14T07:36:00.000-07:002010-10-14T07:36:50.362-07:00राजस्थान क़ा भूगोल<span class="mw-headline" id=".E0.A4.AD.E0.A5.82.E0.A4.97.E0.A5.8B.E0.A4.B2"><span style="font-size: large;">राजस्थान क़ा भूगोल</span></span><br />
<span class="mw-headline">राजस्थान की आकृति पतन्गाकार है। राज्य २३ ३ से ३० १२अक्षांश और ६९ ३० से ७८ १७ देशान्तर के बीच स्थित है। इसके उत्तर में पाकिस्तान, पंजाब और हरियाणा, दक्षिण में मध्यप्रदेश और गुजरात, पूर्व में उत्तर प्रदेश और मध्यप्रदेश एवं पश्चिम में पाकिस्तान है।<br />
सिरोही से अलवर की ओर जाती हुई ४८० कि.मी. लम्बी अरावली पर्वत श्रृंखला प्राकृतिक दृष्टि से राज्य को दो भागों में विभाजित करती है। राजस्थान का पूर्वी सम्भाग शुरु से ही उपजाऊ रहा है। इस भाग में वर्षा का औसत ५० से.मी. से ९० से.मी. तक है। राजस्थान के निर्माण के पश्चात् चम्बल और माही नदी पर बड़े-बड़े बांध और विद्युत गृह बने हैं, जिनसे राजस्थान को सिंचाई और बिजली की सुविधाएं उपलब्ध हुई है। अन्य नदियों पर भी मध्यम श्रेणी के बांध बने हैं। जिनसे हजारों हैक्टर सिंचाई होती है। इस भाग में ताम्बा, जस्ता, अभ्रक, पन्ना, घीया पत्थर और अन्य खनिज पदार्थों के विशाल भण्डार पाये जाते हैं।<br />
राज्य का पश्चिमी संभाग देश के सबसे बड़े रेगिस्तान "थारपाकर' का भाग है। इस भाग में वर्षा का औसत १२ से.मी. से ३० से.मी. तक है। इस भाग में लूनी, बांड़ी आदि नदियां हैं, जो वर्षा के कुछ दिनों को छोड़कर प्राय: सूखी रहती हैं। देश की स्वतंत्रता से पूर्व बीकानेर राज्य गंगानहर द्वारा पंजाब की नदियों से पानी प्राप्त करता था। स्वतंत्रता के बाद राजस्थान इण्डस बेसिन से रावी और व्यास नदियों से ५२.६ प्रतिशत पानी का भागीदार बन गया। उक्त नदियों का पानी राजस्थान में लाने के लिए सन् १९५८ में राजस्थान नहर (अब इंदिरा गांधी नहर) की विशाल परियोजना शुरु की गई। जोधपुर, बीकानेर, चुरु एवं बाड़मेर जिलों के नगर और कई गांवों को नहर से विभिन्न "लिफ्ट परियोजनाओं' से पहुंचाये गये पीने का पानी उपलब्ध होगा। इस प्रकार राजस्थान के रेगिस्तान का एक बड़ा भाग शस्य श्यामला भूमि में बदल जायेगा। सूरतगढ़ में यह नजारा इस समय भी देखा जा सकता है।<br />
इण्डस बेसिन की नदियों पर बनाई जाने वाली जल-विद्युत योजनाओं में भी राजस्थान भागीदार है। इसे इस समय भाखरा-नांगल और अन्य योजनाओं के कृषि एवं औद्योगिक विकास में भरपूर सहायता मिलती है। राजस्थान नहर परियोजना के अलावा इस भाग में जवाई नदी पर निर्मित एक बांध है, जिससे न केवल विस्तृत क्षेत्र में सिंचाई होती है, वरन् जोधपुर नगर को पेय जल भी प्राप्त होता है। यह सम्भाग अभी तक औद्योगिक दृष्टि से पिछड़ा हुआ है। पर इस क्षेत्र में ज्यो-ज्यों बिजली और पानी की सुविधाएं बढ़ती जायेंगी औद्योगिक विकास भी गति पकड़ लेगा। इस बाग में लिग्नाइट, फुलर्सअर्थ, टंगस्टन, बैण्टोनाइट, जिप्सम, संगमरमर आदि खनिज पदार्थ प्रचुर मात्रा में पाये जाते हैं। जैसलमेर क्षेत्र में तेल मिलने की अच्छी सम्भावनाएं हैं। हाल ही की खुदाई से पता चला है कि इस क्षेत्र में उच्च कि की गैस प्रचुर मात्रा में उपलब्ध है। अब वह दिन दूर नहीं है जबकि राजस्थान का यह भाग भी समृद्धिशाली बन जाएगा।<br />
राज्य का क्षेत्रफल ३.४२ लाख वर्ग कि.मी. है जो भारत के क्षेत्रफल का १०.४० प्रतिशत है। यह भारत का सबसे बड़ा राज्य है। वर्ष १९९६-९७ में राज्य में गांवों की संख्या ३७८८९ और नगरों तथा कस्बों की संख्या २२२ थी। राज्य में ३३ जिला परिषदें, २३५ पंचायत समितियां और ९१२५ ग्राम पंचायतें हैं। नगर निगम २ और सभी श्रेणी की नगरपालिकाएं १८० हैं।<br />
सन् १९९१ की जनगणना के अनुसार राज्य की जनसंख्या ४.३९ करोड़ थी। जनसंखाय घनत्व प्रति वर्ग कि.मी. १२६ है। इसमें पुरुषों की संख्या २.३० करोड़ और महिलाओं की संख्या २.०९ करोड़ थी। राज्य में दशक वृद्धि दर २८.४४ प्रतिशत थी, जबकि भारत में यह दर २३.५६ प्रतिशत थी। राज्य में साक्षरता ३८.८१ प्रतिशत थी. जबकि भारत की साक्षरता तो केवल २०.८ प्रतिशत थी जो देश के अन्य राज्यों में सबसे कम थी। राज्य में अनुसूचित जाति एवं अनुसूचित जनजाति राज्य की कुल जनसंख्या का क्रमश: १७.२९ प्रतिशत और १२.४४ प्रतिशत है।</span>Vinod Bhanahttp://www.blogger.com/profile/08200806326936994849noreply@blogger.com0tag:blogger.com,1999:blog-836167197628339282.post-13578802827465645252010-10-14T07:35:00.000-07:002010-10-14T07:35:38.047-07:00राजस्थान का एकीकरण<span class="mw-headline" id=".E0.A4.B0.E0.A4.BE.E0.A4.9C.E0.A4.B8.E0.A5.8D.E0.A4.A5.E0.A4.BE.E0.A4.A8_.E0.A4.95.E0.A4.BE_.E0.A4.8F.E0.A4.95.E0.A5.80.E0.A4.95.E0.A4.B0.E0.A4.A3"><span style="font-size: large;">राजस्थान का एकीकरण</span></span><br />
<span class="mw-headline">राजस्थान भारत का एक महत्ती प्रांत है। यह तीस मार्च 1949 को भारत का एक ऐसा प्रांत बना जिसमें तत्कालीन राजपूताना की ताकतवर रियासतों ने विलय किया। इसी कारण इसका नाम राजस्थान बना। राजस्थान यानि राजपूतो का स्थान,इसका नाम राजस्थान होने के पीछे यही एकमात्र मजबूत तर्क है। अगर राजपूताना की देशी रियासतों के विलय के बाद बने इस राज्य की कहानी देखे तो यह प्रासंगिक भी लगता है।<br />
भारत के संवैधानिक इतिहास में राजस्थान का निर्माण एक महत्वपूर्ण उपलब्धि थी । ब्रिटिश शासको द्वारा भारत को आजाद करने की घोषणा करने के बाद जब सत्ता हस्तांतरण की कार्यवाही शुरू की तभी लग गया था कि आजाद भारत का राजस्थान प्रांत बनना और राजपूताना के तत्कालीन हिस्से का भारत में विलय एक दूभर कार्य साबित हो सकता है। आजादी की घोषणा के साथ ही राजपूताना के देशी रियासतों के मुखियाओं में स्वतंत्र राज्य में भी अपनी सत्ता बरकरार रखने की होड सी मच गयी थी , उस समय वर्तमान राजस्थान की भौगालिक स्थिति के नजरिये से देखे तो राजपूताना के इस भूभाग में कुल बाइस देशी रियासते थी। इनमें एक रियासत अजमेर मेरवाडा प्रांत को छोड शेष देशी रियासतों पर देशी राजा महाराजाओं का ही राज था। अजमेर-मेरवाडा प्रांत पर ब्रिटिश शासको का कब्जा था इस कारण यह तो सीघे ही स्वतंत्र भारत में आ जाती, मगर शेष इक्कीस रियासतो का विलय होना यानि एकीकरण कर राजस्थान नामक प्रांत बनाना था। सत्ता की होड के चलते यह बडा ही दूभर लग रहा था क्योंकि इन देशी रियासतों के शासक अपनी रियासतों का स्वतंत्र भारत में विलय को दूसरी प्राथमिकता के रूप में देख रहे थे। उनकी मांग थी कि वे सालों से शासन चलाते आ रहे है। उन्हें शासन करने का अनुभव है । इस कारण उनकी रियासत को स्वतंत्र राज्य का दर्जा दे दिया जाए । करीब एक दशक की उहापोह के बीच 18 मार्च 1948 को शुरू हुयी राजस्थान के एकीकरण की प्रक्रिया। कुल सात चरण में एक नवंबर 1956 को पूरी हुयी । इसमें भारत सरकार के तत्कालीन देशी रियासती मंत्री सरदार वल्लभ भाई पटेल और उनके सचिव वी पी मेनन की भूमिका महत्ती साबित हुयी । इनकी सूझबूझ से ही राजस्थान का निर्माण हो सका।<br />
<br />
<strong><span style="font-size: large;">पहला चरण- 18 मार्च 1948</span></strong><br />
सबसे पहले अलवर , भरतपुर, धौलपुर, व करौली नामक देशी रियासतो का विलय कर तत्कालीन भारत सरकार ने फरवरी 1948 मे अपने विशेषाधिकार का इस्तेमाल कर मत्स्य यूनियन के नाम से पहला संध बनाया। यह राजस्थान के निर्माण की दिशा में पहला कदम था। इनमें अलवर व भरतपुर पर आरोप था कि उनके शासक राष्टृविरोधी गतिविधियों में लिप्त थे। इस कारण सबसे पहले उनके राज करने के अधिकार छीन लिए गए व उनकी रियासत का कामकाज देखने के लिए प्रशासक नियुक्त कर दिया गया। इसी की वजह से राजस्थान के एकीकरण की दिशा में पहला संघ बन पाया । यदि प्रशासक न होते और राजकाज का काम पहले की तरह राजा ही देखते तो इनका विलय असंभव था क्योंकि इन राज्यों के राजा विलय का विरोध कर रहे थे।18 मार्च 1948 को मत्स्य संघ का उद़घाटन हुआ और धौलपुर के तत्कालीन महाराजा उदय सिंह को इसका राजप्रमुख मनाया गया। इसकी राजधानी अलवर रखी गयी थी। मत्स्य संध नामक इस नए राज्य का क्षेत्रफल करीब तीस हजार किलोमीटर था। जनसंख्या लगभग 19 लाख और आय एक करोड 83 लाख रूपए सालाना थी। जब मत्स्य संघ बनाया गया तभी विलय पत्र में लिख दिया गया कि बाद में इस संघ का राजस्थान में विलय कर दिया जाएगा।<br />
<br />
<strong><span style="font-size: large;">दूसरा चरण 25 मार्च 1948</span></strong><br />
राजस्थान के एकीकरण का दूसरा चरण पच्चीस मार्च 1948 को स्वतंत्र देशी रियासतों कोटा, बूंदी, झालावाड, टौंक, डूंगरपुर, बांसवाडा, प्रतापगढ , किशनगढ और शाहपुरा को मिलाकर बने राजस्थान संघ के बाद पूरा हुआ। राजस्थान संध में विलय हुई रियासतों में कोटा बडी रियासत थी इस कारण इसके तत्कालीन महाराजा महाराव भीमसिंह को राजप्रमुख बनाया गया। के तत्कालीन महाराव बहादुर सिंह राजस्थान संघ के राजप्रमुख भीमसिंह के बडे भाई थें इस कारण उन्हे यह बात अखरी की कि छोटे भाई की राजप्रमुखता में वे काम कर रहे है। इस ईर्ष्या की परिणति तीसरे चरण के रूप में सामने आयी।<br />
<br />
<strong><span style="font-size: large;">तीसरा चरण 18 अप्रैल 1948</span></strong><br />
बूंदी के महाराव बहादुर सिंह नहीं चाहते थें कि उन्हें अपने छोटे भाई महाराव भीमसिंह की राजप्रमुखता में काम करना पडें, मगर बडे राज्य की वजह से भीमसिंह को राजप्रमुख बनाना तत्कालीन भारत सरकार की मजबूरी थी। जब बात नहीं बनी तो बूंदी के महाराव बहादुर सिंह ने उदयपुर रियासत को पटाया और राजस्थान संघ में विलय के लिए राजी कर लिया। इसके पीछे मंशा यह थी कि बडी रियासत होने के कारण उदयपुर के महाराणा को राजप्रमुख बनाया जाएगा और बूंदी के महाराव बहादुर सिंह अपने छोटे भाई महाराव भीम सिंह के अधीन रहने की मजबूरी से बच जाएगे और इतिहास के पन्नों में यह दर्ज होने से बच जाएगा कि छोटे भाई के राज में बडे भाई ने काम किया। अठारह अप्रेल 1948 को राजस्थान के एकीकरण के तीसरे चरण में उदयपुर रियासत का राजस्थान संध में विलय हुआ और इसका नया नाम हुआ संयुक्त राजस्थान संघ। माणिक्य लाल वर्मा के नेतृत्व में बने इसके मंत्रिमंडल में उदयपुर के महाराणा भूपाल सिंह को राजप्रमुख बनाया गया कोटा के महाराव भीमसिंह को वरिष्ठ उपराजप्रमुख बनाया गया। इसीके साथ बूंदी के महाराजा की चाल भी सफल हो गयी।<br />
<br />
<strong><span style="font-size: large;">चौथा चरण तीस मार्च 1949</span></strong><br />
इससे पहले बने संयुक्त राजस्थान संघ के निर्माण के बाद तत्कालीन भारत सरकार ने अपना ध्यान देशी रियासतों जोधपुर , जयपुर, जैसलमेर और बीकानेर पर केन्द्रित किया और इसमें सफलता भी हाथ लगी और इन चारों रियासतो का विलय करवाकर तत्कालीन भारत सरकार ने तीस मार्च 1949 को ग्रेटर राजस्थान संघ का निर्माण किया, जिसका उदघाटन भारत सरकार के तत्कालीन रियासती मंत्री सरदार वल्लभ भाई पटेल ने किया। यहीं आज के राजस्थान की स्थापना का दिन माना जाता है। इस कारण इस दिन को हर साल राजस्थान दिवस के रूप में मनाया जाता है। हांलांकि अभी तक चार देशी रियासतो का विलय होना बाकी था, मगर इस विलय को इतना महत्व नहीं दिया जाता है , क्योंकि जो रियासते बची थी वे पहले चरण में ही मत्स्य संघ के नाम से स्वतंत्र भारत में विलय हो चुकी थी। अलवर , भतरपुर, धौलपुर व करौली नामक इन रियासतो पर भारत सरकार का ही आधिपत्य था इस कारण इनके राजस्थान में विलय की तो मात्र औपचारिकता ही होनी थी।<br />
<br />
<strong><span style="font-size: large;">पांचवा चरण 15 अप्रेल 1949</span></strong><br />
पन्द्रह अप्रेल 1949 को मत्स्य संध का विलय ग्रेटर राजस्थान में करने की औपचारिकता भी भारत सरकार ने निभा दी। भारत सरकार ने 18 मार्च 1948 को जब मत्स्य संघ बनाया था तभी विलय पत्र में लिख दिया गया था कि बाद में इस संघ का राजस्थान में विलय कर दिया जाएगा। इस कारण भी यह चरण औपचारिकता मात्र माना गया।<br />
<br />
<strong><span style="font-size: large;">छठा चरण 26 जनवरी 1950</span></strong><br />
भारत का संविधान लागू होने के दिन 26 जनवरी 1950 को सिरोही रियासत का भी विलय ग्रेटर राजस्थान में कर दिया गया। इस विलय को भी औपचारिकता माना जाता है क्योंकि यहां भी भारत सरकार का नियंत्रण पहले से ही था। दरअसल जब राजस्थान के एकीकरण की प्रक्रिया चल रही थी, तब सिरोही रियासत के शासक नाबालिग थे। इस कारण सिरोही रियासत का कामकाज दोवागढ की महारानी की अध्यक्षता में एजेंसी कौंसिल ही देख रही थी जिसका गठन भारत की सत्ता हस्तांतरण के लिए किया गया था। सिरोही रियासत के एक हिस्से आबू देलवाडा को लेकर विवाद के कारण इस चरण में आबू देलवाडा तहसील को बंबई और शेष रियासत विलय राजस्थान में किया गया।<br />
<br />
<b><span style="font-size: large;">सांतवा चरण एक नवंबर 1956</span></b><br />
अब तक अलग चल रहे आबू देलवाडा तहसील को राजस्थान के लोग खोना नही चाहते थे, क्योंकि इसी तहसील में राजस्थान का कश्मीर कहा जाने वाला आबूपर्वत भी आता था , दूसरे राजस्थानी, बच चुके सिरोही वासियों के रिश्तेदार और कईयों की तो जमीन भी दूसरे राज्य में जा चुकी थी। आंदोलन हो रहे थे, आंदोलन कारियों के जायज कारण को भारत सरकार को मानना पडा और आबू देलवाडा तहसील का भी राजस्थान में विलय कर दिया गया। इस चरण में कुछ भाग इधर उधर कर भौगोलिक और सामाजिक त्रुटि भी सुधारी गया। इसके तहत मध्यप्रदेश में शामिल हो चुके सुनेल थापा क्षेत्र को राजस्थान में मिलाया गया और झालावाड जिले के उप जिला सिरनौज को मध्यप्रदेश को दे दिया गया। इसी के साथ आज से राजस्थान का निर्माण या एकीकरण पूरा हुआ। जो राजस्थान के इतिहास का एक अति महत्ती कार्य था<br />
<br />
</span>Vinod Bhanahttp://www.blogger.com/profile/08200806326936994849noreply@blogger.com0tag:blogger.com,1999:blog-836167197628339282.post-54886747818812212462010-10-14T07:28:00.000-07:002010-10-14T07:28:34.917-07:00प्राचीन काल में राजस्थान<span style="font-size: large;">प्राचीन काल में राजस्थान</span><br />
राजस्थान भारत वर्ष के पश्चिम भाग में अवस्थित है जो प्राचीन काल से विख्यात रहा है। तब इस प्रदेश में कई इकाईयाँ सम्मिलित थी जो अलग-अलग नाम से सम्बोधित की जाती थी। उदाहरण के लिए जयपुर राज्य का उत्तरी भाग <a href="http://hi.wikipedia.org/wiki/मधà¥à¤¯à¤¦à¥à¤¶" title="मध्यदेश"><span style="color: #0645ad;">मध्यदेश</span></a> का हिस्सा था तो दक्षिणी भाग <a href="http://hi.wikipedia.org/wiki/सपालदà¤à¥à¤·" title="सपालदक्ष"><span style="color: #0645ad;">सपालदक्ष</span></a> कहलाता था। अलवर राज्य का उत्तरी भाग <a class="new" href="http://hi.wikipedia.org/w/index.php?title=%E0%A4%95%E0%A5%81%E0%A4%B0%E0%A5%81%E0%A4%A6%E0%A5%87%E0%A4%B6&action=edit&redlink=1" title="कुरुदेश (पृष्ठ मौजूद नहीं है)"><span style="color: #ba0000;">कुरुदेश</span></a> का हिस्सा था तो <a href="http://hi.wikipedia.org/wiki/à¤à¤°à¤¤à¤ªà¥à¤°" title="भरतपुर"><span style="color: #0645ad;">भरतपुर</span></a>, <a href="http://hi.wikipedia.org/wiki/धà¥à¤²à¤ªà¥à¤°" title="धोलपुर"><span style="color: #0645ad;">धोलपुर</span></a>, <a href="http://hi.wikipedia.org/wiki/à¤à¤°à¥à¤²à¥" title="करौली"><span style="color: #0645ad;">करौली</span></a> राज्य <a href="http://hi.wikipedia.org/wiki/शà¥à¤°à¤¸à¥à¤¨_दà¥à¤¶" title="शूरसेन देश"><span style="color: #0645ad;">शूरसेन देश</span></a> में सम्मिलित थे। मेवाड़ जहाँ <a href="http://hi.wikipedia.org/wiki/शिवि" title="शिवि"><span style="color: #0645ad;">शिवि</span></a> जनपद का हिस्सा था वहाँ डूंगरपुर-बांसवाड़ा वार्गट (वागड़) के नाम से जाने जाते थे। इसी प्रकार <a href="http://hi.wikipedia.org/wiki/à¤à¥à¤¸à¤²à¤®à¥à¤°" title="जैसलमेर"><span style="color: #0645ad;">जैसलमेर</span></a> राज्य के अधिकांश भाग <a class="new" href="http://hi.wikipedia.org/w/index.php?title=%E0%A4%B5%E0%A4%B2%E0%A5%8D%E0%A4%B2%E0%A4%A6%E0%A5%87%E0%A4%B6&action=edit&redlink=1" title="वल्लदेश (पृष्ठ मौजूद नहीं है)"><span style="color: #ba0000;">वल्लदेश</span></a> में सम्मिलित थे तो जोधपुर <a class="new" href="http://hi.wikipedia.org/w/index.php?title=%E0%A4%AE%E0%A4%B0%E0%A5%81%E0%A4%A6%E0%A5%87%E0%A4%B6&action=edit&redlink=1" title="मरुदेश (पृष्ठ मौजूद नहीं है)"><span style="color: #ba0000;">मरुदेश</span></a> के नाम से जाना जाता था। <a href="http://hi.wikipedia.org/wiki/बà¥à¤à¤¾à¤¨à¥à¤°" title="बीकानेर"><span style="color: #0645ad;">बीकानेर</span></a> राज्य तथा जोधपुर का उत्तरी भाग <a href="http://hi.wikipedia.org/wiki/à¤à¤¾à¤à¤à¤²_दà¥à¤¶" title="जांगल देश"><span style="color: #0645ad;">जांगल देश</span></a> कहलाता था तो दक्षिणी बाग गुर्जरत्रा (गुजरात) के नाम से पुकारा जाता था। इसी प्रकार प्रतापगढ़, झालावाड़ तथा टोंक का अधिकांस भाग <a class="new" href="http://hi.wikipedia.org/w/index.php?title=%E0%A4%AE%E0%A4%BE%E0%A4%B2%E0%A4%B5%E0%A4%BE%E0%A4%A6%E0%A5%87%E0%A4%B6&action=edit&redlink=1" title="मालवादेश (पृष्ठ मौजूद नहीं है)"><span style="color: #ba0000;">मालवादेश</span></a> के अधीन था। बाद में जब राजपूत जाति के वीरों ने इस राज्य के विविध भागों पर अपना आधिपत्य जमा लिया तो उन भागों का नामकरण अपने-अपने वंश अथवा स्थान के अनुरुप कर दिया। ये राज्य <a href="http://hi.wikipedia.org/wiki/à¤à¤¦à¤¯à¤ªà¥à¤°" title="उदयपुर"><span style="color: #0645ad;">उदयपुर</span></a>, <a href="http://hi.wikipedia.org/wiki/डà¥à¤à¤à¤°à¤ªà¥à¤°" title="डूंगरपुर"><span style="color: #0645ad;">डूंगरपुर</span></a>, <a href="http://hi.wikipedia.org/wiki/बाà¤à¤¸à¤µà¤¾à¤¡à¤¼" title="बांसवाड़"><span style="color: #0645ad;">बांसवाड़</span></a>, <a class="mw-redirect" href="http://hi.wikipedia.org/wiki/पà¥à¤°à¤¤à¤¾à¤ªà¤à¤¢à¤¼" title="प्रतापगढ़"><span style="color: #0645ad;">प्रतापगढ़</span></a>, <a href="http://hi.wikipedia.org/wiki/à¤à¥à¤§à¤ªà¥à¤°" title="जोधपुर"><span style="color: #0645ad;">जोधपुर</span></a>, <a href="http://hi.wikipedia.org/wiki/बà¥à¤à¤¾à¤¨à¥à¤°" title="बीकानेर"><span style="color: #0645ad;">बीकानेर</span></a>, <a href="http://hi.wikipedia.org/wiki/à¤à¤¿à¤¶à¤¨à¤à¤¢à¤¼" title="किशनगढ़"><span style="color: #0645ad;">किशनगढ़</span></a>,( जालोर ) <a href="http://hi.wikipedia.org/wiki/सिरà¥à¤¹à¥" title="सिरोही"><span style="color: #0645ad;">सिरोही</span></a>, <a class="mw-redirect" href="http://hi.wikipedia.org/wiki/à¤à¥à¤à¤¾" title="कोटा"><span style="color: #0645ad;">कोटा</span></a>, <a class="mw-redirect" href="http://hi.wikipedia.org/wiki/बà¥à¤à¤¦à¥" title="बूंदी"><span style="color: #0645ad;">बूंदी</span></a>, <a href="http://hi.wikipedia.org/wiki/à¤à¤¯à¤ªà¥à¤°" title="जयपुर"><span style="color: #0645ad;">जयपुर</span></a>, <a href="http://hi.wikipedia.org/wiki/à¤
लवर" title="अलवर"><span style="color: #0645ad;">अलवर</span></a>, <a href="http://hi.wikipedia.org/wiki/à¤à¤°à¤¤à¤ªà¥à¤°" title="भरतपुर"><span style="color: #0645ad;">भरतपुर</span></a>, <a href="http://hi.wikipedia.org/wiki/à¤à¤°à¥à¤²à¥" title="करौली"><span style="color: #0645ad;">करौली</span></a>, <a href="http://hi.wikipedia.org/wiki/à¤à¤¾à¤²à¤¾à¤µà¤¾à¤¡à¤¼" title="झालावाड़"><span style="color: #0645ad;">झालावाड़</span></a>, और <a href="http://hi.wikipedia.org/wiki/à¤à¥à¤à¤" title="टोंक"><span style="color: #0645ad;">टोंक</span></a> थे। इन राज्यों के नामों के साथ-साथ इनके कुछ भू-भागों को स्थानीय एवं भौगोलिक विशेषताओं के परिचायक नामों से भी पुकारा जाता है। ढ़ूंढ़ नदी के निकटवर्ती भू-भाग को <a href="http://hi.wikipedia.org/wiki/ढ़à¥à¤à¤¢à¤¼à¤¾à¤¡à¤¼" title="ढ़ूंढ़ाड़"><span style="color: #0645ad;">ढ़ूंढ़ाड़</span></a> (जयपुर) कहते हैं। मेव तथा मेद जातियों के नाम से अलवर को मेवात तथा उदयपुर को <a href="http://hi.wikipedia.org/wiki/मà¥à¤µà¤¾à¤¡à¤¼" title="मेवाड़"><span style="color: #0645ad;">मेवाड़</span></a> कहा जाता है। मरु भाग के अन्तर्गत रेगिस्तानी भाग को <a href="http://hi.wikipedia.org/wiki/मारवाड़" title="मारवाड़"><span style="color: #0645ad;">मारवाड़</span></a> भी कहते हैं। डूंगरपुर तथा उदयपुर के दक्षिणी भाग में प्राचीन ५६ गांवों के समूह को ""छप्पन नाम से जानते हैं। <a href="http://hi.wikipedia.org/wiki/माहà¥_नदà¥" title="माही नदी"><span style="color: #0645ad;">माही नदी</span></a> के तटीय भू-भाग को कोयल तथा अजमेर के पास वाले कुछ पठारी भाग को ऊपरमाल की संज्ञा दी गई है।Vinod Bhanahttp://www.blogger.com/profile/08200806326936994849noreply@blogger.com0tag:blogger.com,1999:blog-836167197628339282.post-65717448154720060902010-10-14T07:26:00.001-07:002010-10-14T07:26:52.269-07:00राजस्थान<h1 class="firstHeading" id="firstHeading">राजस्थान</h1><div class="firstHeading"><strong>राजस्थान</strong> <a href="http://hi.wikipedia.org/wiki/à¤à¤¾à¤°à¤¤" title="भारत"><span style="color: #0645ad;">भारत</span></a> का एक <a class="mw-redirect" href="http://hi.wikipedia.org/wiki/पà¥à¤°à¤¾à¤¨à¥à¤¤" title="प्रान्त"><span style="color: #0645ad;">प्रान्त</span></a> है । यहाँ की राजधानी <a href="http://hi.wikipedia.org/wiki/à¤à¤¯à¤ªà¥à¤°" title="जयपुर"><span style="color: #0645ad;">जयपुर</span></a> है।</div>राजस्थान <a href="http://hi.wikipedia.org/wiki/à¤à¤¾à¤°à¤¤" title="भारत"><span style="color: #0645ad;">भारत</span></a> गणराज्य का <a href="http://hi.wikipedia.org/wiki/à¤à¥à¤·à¥à¤¤à¥à¤°à¤«à¤²" title="क्षेत्रफल"><span style="color: #0645ad;">क्षेत्रफल</span></a> के आधार पर सबसे बड़ा <a href="http://hi.wikipedia.org/wiki/राà¤à¥à¤¯" title="राज्य"><span style="color: #0645ad;">राज्य</span></a> है। इसके पश्चिम में <a href="http://hi.wikipedia.org/wiki/पाà¤à¤¿à¤¸à¥à¤¤à¤¾à¤¨" title="पाकिस्तान"><span style="color: #0645ad;">पाकिस्तान</span></a>, दक्षिण-पश्चिम में <a href="http://hi.wikipedia.org/wiki/à¤à¥à¤à¤°à¤¾à¤¤" title="गुजरात"><span style="color: #0645ad;">गुजरात</span></a>, दक्षिण-पूर्व में <a class="mw-redirect" href="http://hi.wikipedia.org/wiki/मधà¥à¤¯à¤ªà¥à¤°à¤¦à¥à¤¶" title="मध्यप्रदेश"><span style="color: #0645ad;">मध्यप्रदेश</span></a>, उत्तर में <a href="http://hi.wikipedia.org/wiki/पà¤à¤à¤¾à¤¬" title="पंजाब"><span style="color: #0645ad;">पंजाब</span></a>, उत्तर-पूर्व में <a class="mw-redirect" href="http://hi.wikipedia.org/wiki/à¤à¤¤à¥à¤¤à¤°à¤ªà¥à¤°à¤¦à¥à¤¶" title="उत्तरप्रदेश"><span style="color: #0645ad;">उत्तरप्रदेश</span></a> और <a href="http://hi.wikipedia.org/wiki/हरियाणा" title="हरियाणा"><span style="color: #0645ad;">हरियाणा</span></a> है। राज्य का क्षेत्रफल 3,42,239 वर्ग कि.मी. (1,32,139 वर्ग मील) है।<br />
<a href="http://hi.wikipedia.org/wiki/à¤à¤¯à¤ªà¥à¤°" title="जयपुर"><span style="color: #0645ad;">जयपुर</span></a> राज्य की <a href="http://hi.wikipedia.org/wiki/राà¤à¤§à¤¾à¤¨à¥" title="राजधानी"><span style="color: #0645ad;">राजधानी</span></a> है। भौगोलिक विशेषताओं में पश्चिम में <a class="mw-redirect" href="http://hi.wikipedia.org/wiki/थार" title="थार"><span style="color: #0645ad;">थार</span></a> मरूस्थल और <a class="mw-redirect" href="http://hi.wikipedia.org/wiki/à¤à¤à¥à¤à¤°" title="घग्गर"><span style="color: #0645ad;">घग्गर</span></a> नदी का अंतिम छोर है। विश्व की पुरातन श्रेणियों में प्रमुख अरावली श्रेणी राजस्थान का एकमात्र पहाडी, जो कि पर्यटन का केन्द्र है, <a href="http://hi.wikipedia.org/wiki/माà¤à¤à¤_à¤à¤¬à¥" title="माउंट आबू"><span style="color: #0645ad;">माउंट आबू</span></a> और विश्वविख्यात <a class="mw-redirect" href="http://hi.wikipedia.org/wiki/दिलवाड़ा_मà¤à¤¦à¤¿à¤°" title="दिलवाड़ा मंदिर"><span style="color: #0645ad;">दिलवाड़ा मंदिर</span></a> सम्मिलित करती है। पूर्वी राजस्थान में दो बाघ अभयारण्य, <a href="http://hi.wikipedia.org/wiki/रणथमà¥à¤à¥à¤°_राषà¥à¤à¥à¤°à¥à¤¯_à¤
à¤à¥à¤¯à¤¾à¤°à¤£à¥à¤¯" title="रणथम्भौर राष्ट्रीय अभ्यारण्य"><span style="color: #0645ad;">रणथम्भौर</span></a> एवं <a href="http://hi.wikipedia.org/wiki/सरिसà¥à¤à¤¾_राषà¥à¤à¥à¤°à¥à¤¯_à¤à¤¦à¥à¤¯à¤¾à¤¨" title="सरिस्का राष्ट्रीय उद्यान"><span style="color: #0645ad;">सरिस्का</span></a> हैं और <a href="http://hi.wikipedia.org/wiki/à¤à¤°à¤¤à¤ªà¥à¤°" title="भरतपुर"><span style="color: #0645ad;">भरतपुर</span></a> के समीप <a class="mw-redirect" href="http://hi.wikipedia.org/wiki/à¤à¥à¤µà¤²à¤¾à¤¦à¥à¤µ_राषà¥à¤à¥à¤°à¥à¤¯_à¤à¤§à¥à¤¯à¤¾à¤¨" title="केवलादेव राष्ट्रीय उध्यान"><span style="color: #0645ad;">केवलादेव राष्ट्रीय उध्यान</span></a> है, जो पक्षियों की रक्षार्थ निर्मित किया गया है।Vinod Bhanahttp://www.blogger.com/profile/08200806326936994849noreply@blogger.com0tag:blogger.com,1999:blog-836167197628339282.post-11433377478050283332010-10-14T07:13:00.000-07:002010-10-14T07:13:22.808-07:00Current Affairs समसामयकी September<span style="font-size: large;">जेलर भारत भूषण भट्ट</span> <br />
<span style="font-size: small;">जेलर भारत भूषण भट्ट ने 38 फिल्मों मे भूमिका निभाई थी जिनकी जोधपुर जेल मे जय बंद करवाने के दोरान हत्या कर दि गई यह मूल रूप से अजमेर के किशन गड़ के रहने वाले थे, हाल ही मे इनकी जयपुर बोम ब्लास्ट पर आधारित फिल्म "13 मई गुलाबी नगर " प्रदर्शित हुई थी |</span><br />
<span style="font-size: large;">इटली मे बुर्के के खिलाफ बिल पेश -</span><br />
<span style="font-size: small;">इस बिल के मुताबिक बुरका पहनने पर एक वर्ष की जेल हो सकती है | इटली मे नोर्थ लीग पार्टी ने बुर्के पर प्रतिबन्ध लगाने सम्बन्धी बिल संसद के निचले सदन मे पेश किया है | इससे पहले फ़्रांसिसी संसद के उच्च सदन ने एसा ही कानून पास किया था |</span>Vinod Bhanahttp://www.blogger.com/profile/08200806326936994849noreply@blogger.com0tag:blogger.com,1999:blog-836167197628339282.post-9205972093933737032010-10-12T03:23:00.000-07:002010-10-12T03:23:19.308-07:00भारत का संक्षिप्त इतिहास (स्वतंत्रता-पूर्व)भारत का संक्षिप्त इतिहास (स्वतंत्रता-पूर्व)<br />
<span class="mw-headline" id=".E0.A4.88.E0.A4.B8.E0.A4.BE_.E0.A4.AA.E0.A5.82.E0.A4.B0.E0.A5.8D.E0.A4.B5">ईसा पूर्व</span><br />
<span class="mw-headline"><a href="http://rpscportal2010.blogspot.com/">3000-1500 सिंधु घाटी सभ्यता</a><br />
576 <a href="http://rpscportal2010.blogspot.com/">गौतम बुद्ध का जन्म</a><br />
527 <a href="http://rpscportal2010.blogspot.com/">महावीर का जन्म</a><br />
327-326 <a href="http://rpscportal2010.blogspot.com/">भारत पर एलेक्जेंडर का हमला। इसने भारत और यूरोप के बीच एक भू-मार्ग खोल दिया</a><br />
313 <a href="http://rpscportal2010.blogspot.com/">जैन परंपरा के अनुसार चंद्रगुप्त का राज्याभिषेक</a><br />
305 <a href="http://rpscportal2010.blogspot.com/">चंद्रगुप्त मौर्य के हाथों सेल्युकस की पराजय</a><br />
273-232 <a href="http://rpscportal2010.blogspot.com/">अशोक का शासन</a><br />
261 <a href="http://rpscportal2010.blogspot.com/">कलिंग की विजय</a><br />
145-101 <a href="http://rpscportal2010.blogspot.com/">एलारा का क्षेत्र, श्रीलंका के चोल राजा</a><br />
58 <a href="http://rpscportal2010.blogspot.com/">विक्रम संवत् का आरम्भ</a><br />
<br />
<span class="mw-headline" id=".E0.A4.88.E0.A4.B8.E0.A4.B5.E0.A5.80">ईसवी</span><br />
<span class="mw-headline">78 <a class="new" href="http://www.blogger.com/w/index.php?title=%E0%A4%B6%E0%A4%95_%E0%A4%B8%E0%A4%82%E0%A4%B5%E0%A4%A4%E0%A5%8D&action=edit&redlink=1" title="शक संवत् (पृष्ठ मौजूद नहीं है)"><span style="color: #ba0000;">शक संवत्</span></a> का आरम्भ<br />
120 <a class="new" href="http://www.blogger.com/w/index.php?title=%E0%A4%95%E0%A4%A8%E0%A4%BF%E0%A4%B7%E0%A5%8D%E2%80%8D%E0%A4%95&action=edit&redlink=1" title="कनिष्क (पृष्ठ मौजूद नहीं है)"><span style="color: #ba0000;">कनिष्क</span></a> का राज्याभिषेक<br />
320 <a class="new" href="http://www.blogger.com/w/index.php?title=%E0%A4%97%E0%A5%81%E0%A4%AA%E0%A5%8D%E2%80%8D%E0%A4%A4_%E0%A4%AF%E0%A5%81%E0%A4%97&action=edit&redlink=1" title="गुप्त युग (पृष्ठ मौजूद नहीं है)"><span style="color: #ba0000;">गुप्त युग</span></a> का आरम्भ, भारत का स्वर्णिम काल<br />
380 <a class="new" href="http://www.blogger.com/w/index.php?title=%E0%A4%B5%E0%A4%BF%E0%A4%95%E0%A5%8D%E0%A4%B0%E0%A4%AE%E0%A4%BE%E0%A4%A6%E0%A4%BF%E0%A4%A4%E0%A5%8D%E2%80%8D%E0%A4%AF&action=edit&redlink=1" title="विक्रमादित्य (पृष्ठ मौजूद नहीं है)"><span style="color: #ba0000;">विक्रमादित्य</span></a> का राज्याभिषेक<br />
405-411 चीनी यात्री <a class="new" href="http://www.blogger.com/w/index.php?title=%E0%A4%AB%E0%A4%BE%E0%A4%B9%E0%A4%AF%E0%A4%BE%E0%A4%A8&action=edit&redlink=1" title="फाहयान (पृष्ठ मौजूद नहीं है)"><span style="color: #ba0000;">फाहयान</span></a> की यात्रा<br />
415 कुमार गुप्त-1 का राज्याभिषेक<br />
455 स्कंदगुप्त का राज्याभिषेक<br />
606-647 हर्षवर्धन का शासन<br />
712 सिंध पर पहला अरब आक्रमण<br />
836 कन्नौज के भोज राजा का राज्याभिषेक<br />
985 चोल शासक राजाराज का राज्याभिषेक<br />
998 सुल्तान महमूद का राज्याभिषेक</span></span>Vinod Bhanahttp://www.blogger.com/profile/08200806326936994849noreply@blogger.com0tag:blogger.com,1999:blog-836167197628339282.post-3138813193976183072010-10-12T03:10:00.000-07:002010-10-12T03:10:32.147-07:00स्वतन्त्रता के बाद भारत का संक्षिप्त इतिहास 1947 - 2000<span class="mw-headline" id=".E0.A4.B8.E0.A5.8D.E0.A4.B5.E0.A4.A4.E0.A4.A8.E0.A5.8D.E0.A4.A4.E0.A5.8D.E0.A4.B0.E0.A4.A4.E0.A4.BE_.E0.A4.95.E0.A5.87_.E0.A4.AC.E0.A4.BE.E0.A4.A6_.E0.A4.AD.E0.A4.BE.E0.A4.B0.E0.A4.A4_.E0.A4.95.E0.A4.BE_.E0.A4.B8.E0.A4.82.E0.A4.95.E0.A5.8D.E0.A4.B7.E0.A4.BF.E0.A4.AA.E0.A5.8D.E0.A4.A4_.E0.A4.87.E0.A4.A4.E0.A4.BF.E0.A4.B9.E0.A4.BE.E0.A4.B8"><span style="color: blue; font-size: large;">स्वतन्त्रता के बाद भारत का संक्षिप्त इतिहास</span></span><br />
<span class="mw-headline"><span style="color: red; font-size: large;">1947 - 1950</span> </span><br />
<span class="mw-headline">भारत के संविधान पर हस्ताक्षर करते पंडित नेहरुदेश आजाद: १४ अगस्त १९४७ को जैसे ही घड़ी की सुई मे रात के १२ बजे, प्रथम प्रधानमंत्री श्री जवाहर लाल नेहरू ने देश के स्वतंत्र होने की घोषणा की। शोक की लहर: ३० जनवरी १९४८ को उस समय सारे देश में शोक की लहर दौड़ गई, जब नाथूराम गोड्से ने महात्मा गांधी की हत्या कर दी। भारत-पाकिस्तान के बीच प्रथम युद्ध: देश विभाजन के बाद नए पड़ोसी बने पाकिस्तान ने भारत पर हमला कर दिया। यह लड़ाई ३१ दिसम्बर, १९४८ को समाप्त हुई और इसमें दोनों देशों के लगभग १५००-१५०० सैनिक मारे गए तथा पाकिस्तान ने कश्मीर के एक भूभाग पर अधिकार कर लिया। भारत बना गणतंत्र: संविधान सभा द्वारा १९४९ में पारित किए जाने के बाद २६ जनवरी, १९५० को पहली बार देश का संविधान स्वीकार किया गया। जेल की बैरक में आईआईटी की स्थापना: सन् १९५० में पश्चिम बंगाल के खड़गपुर के निकट हुबली जेल के परिव्यक्त बैरक में भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थान (आईआईटी) के रूप में देश के पहले तकनीकी उच्च शिक्षा संस्थान की नींव डाली गई।</span><br />
<br />
<span class="mw-headline"><span style="color: red; font-size: large;">1950 - 1970</span></span><br />
<table cellpadding="0" cellspacing="0" class="tr-caption-container" style="float: left; margin-right: 1em; text-align: left;"><tbody>
<tr><td style="text-align: center;"><a href="https://blogger.googleusercontent.com/img/b/R29vZ2xl/AVvXsEhJQZYXd-mnHRxC7iPJyL3cF8VKhsSzF2t5GPoMnOeY846yQ5DXtddLMxE7Dud8zRgkc8MpO8yu2EW1FeaMwRFonoUhqGt7nGLZTJBm9nCC_n5vGiYRzezSBcmj6ORdml5oCi2A2_3QV-9G/s1600/pm+lal+bahadur.jpg" imageanchor="1" style="clear: left; cssfloat: left; margin-bottom: 1em; margin-left: auto; margin-right: auto;"><img border="0" ex="true" height="200" src="https://blogger.googleusercontent.com/img/b/R29vZ2xl/AVvXsEhJQZYXd-mnHRxC7iPJyL3cF8VKhsSzF2t5GPoMnOeY846yQ5DXtddLMxE7Dud8zRgkc8MpO8yu2EW1FeaMwRFonoUhqGt7nGLZTJBm9nCC_n5vGiYRzezSBcmj6ORdml5oCi2A2_3QV-9G/s200/pm+lal+bahadur.jpg" width="161" /></a></td></tr>
<tr><td class="tr-caption" style="text-align: center;">PM Lal Bahadur Shastri </td></tr>
</tbody></table><span class="mw-headline">भारत के द्वितीय प्रधान मंत्री श्री लाल बहादुर शास्त्री।भाषाई आधार पर राज्यों का गठन: अलग तेलुगू राज्य की मांग को लेकर हुए हिंसक प्रदर्शनों के बाद १९५३ में पहली बार भाषाई आधार पर आंध्रप्रदेश राज्य का गठन किया गया। वामपंथ का उदय: सन् १९५४ में शीत युद्ध के दौर से गुजर रहे विश्व के समक्ष पंडित जवाहरलाल नेहरू ने गुटनिरपेक्षता का सिद्धांत प्रस्तुत किया, जिसे बाद में यूगोस्लाविया के मार्शल टीटो, इंडोनेशिया के सुकर्णो और मिस्त्र के गमाल अब्दुल नासिर ने अंगीकार करते हुए गुटनिरपेक्ष आंदोलन को जन्म दिया। भारत-चीन युद्ध: २० अक्टूबर, १९६२ को पड़ोसी चीन ने विश्वासघात करते हुए अरुणाचल प्रदेश और लद्दाख की सीमा पर धावा बोल दिया। इस युद्ध में भारत की शर्मनाक हार हुई, और चीन ने अक्साई चिन पर अधिकार कर लिया। पंडित नेहरू का देहांत: पक्षाघात का शिकार होने के बाद सन् १९६४ में पंडित नेहरू का निधन हो गया और प्रधानमंत्री की कुर्सी उनकी पुत्री इंदिरा गांधी के स्थान पर लाल बहादुर शास्त्री को प्राप्त हुई। इंदिरा बनीं प्रधानमंत्री: ११ जनवरी १९६६ को ताशकंद में लाल बहादुर शास्त्री की मृत्यु के बाद इंदिरा गांधी भारत की प्रथम महिला प्रधानमन्त्री बनीं। हरित क्रांति का जन्म: सन् १९६७ से लेकर १९७८ तक चली हरित क्रांति ने भारत को खाद्यान्न के मामले में आत्मनिर्भर बना दिया। आईटी क्रांति: १९६८ में टाटा कन्सल्टन्सी सर्विसिज़ की स्थापना से भारत नई ऊँचाई पर पहुंचा दिया। बैंकों का राष्ट्रीयकरण और प्रिवी पर्स का उन्नमूलन: १९ जुलाई, १९६९ को तत्कालीन प्रधानमंत्री इंदिरा गांधी ने बैंकों का राष्ट्रीयकरण कर दिया, और साथ ही, उन्होंने लगभग ४०० रजवाड़ों को आजादी के समय से ही मिल रहे खैरात (प्रिवी पर्स) को बंद कर दिया।</span><br />
<br />
<span class="mw-headline"><span style="color: red; font-size: large;">1970 - 1980</span></span><br />
<span class="mw-headline">भारत के प्रथम परमाणु परीक्षण के बाद पोखरण का एक दृश्य।भारत-पाक के मध्य तीसरा युद्ध: सन् १९७१ में एक बार फिर भारत और पाकिस्तान आपस में भिड़ गए। परिणामस्वरूप एक नए देश बांग्लादेश(२५ दिसम्बर, १९७१) का जन्म हुआ। शिमला समझौते के अंतर्गत दोनों देशों के बीच शांति स्थापित हुई। चिपको आन्दोलन का जन्म: सन् १९७३ में उत्तराखंड राज्य के कुछ ग्राम वासियों ने वनों को काटने से बचाने के लिए एक अनोखे आंदोलन आरंभ किया, जिसमें वे पेड़ से चिपक जाते थे। पहला परमाणु परीक्षण: १८ मई, १९७४ को राजस्थान के पोखरण में भारत ने पहली बार सफल परमाणु परीक्षा किया. इस मिशन का नाम बुद्धा स्माइल्स रखा गया। शोले की रिकार्ड तोड़ सफलता: १९७५ में रमेश सिप्पी द्वारा निर्देशित चलचित्र शोले ने बालीवुड नया कीर्तिमान रचा और उस समय तक का यह सर्वश्रेष्ठ चलचित्र घोषित किया गया। अन्तरिक्ष में भारत: १९ अप्रैल १९७५ को पहले भारतीय उपग्रह आर्यभट्ट का सफल प्रक्षेपण । आपातकाल की घोषणा: जून १९७५ में इंदिरा गांधी ने आपातकाल की घोषणा की। टीकाकरण अभियान की शुभारंभ: १९७८ में सभी शिशुओं और गर्भवती महिलाओं को डिप्थीरिया, पोलियो, टिटनेस और कुकुरखांसी से बचाने के लिए टीकाकरण का सघन अभियान छेड़ा गया। मदर टेरेसा को नोबेल पुरस्कार: अपने जीवन का अधिकांश भाग कलकत्ता की मलिन बस्तियों में रहने वाले गरीबों की सेवा में गुजार देने वाली मदर टेरेसा को सन् १९७९ में शांति के लिए नोबेल पुरस्कार प्रदान किया गया।</span><br />
<br />
<span class="mw-headline"><span style="color: red; font-size: large;">1980 - 1990</span></span><br />
<span class="mw-headline">एशियाई खेलों का सफल आयोजन: सन् १९८२ में भारत में दूसरी बार एशियाई खेलों का सफल आयोजन किया गया, जो कि पिछली बार की अपेक्षा कहीं बड़े पैमाने पर रहा और साथ ही इसी वर्ष रंगीन टीवी भी भारत आया। भारत बना क्रिकेट विश्व चैंपियन: १९८३ में खेलों की दुनिया में सबसे बड़ी जीत दर्ज करते हुए भारत ने कपिल देव की कप्तानी मे वेस्ट इंडीज को हराकर क्रिकेट विश्व कप अपने नाम कर लिया। ऑपरेशन ब्लूस्टार: जून १९८४ में प्रधानमंत्री इंदिरा गांधी के निर्देश पर अमृतसर के स्वर्ण मंदिर में जरनैल सिंह भिंडरावाले के नेतृत्व में घुसे खालिस्तानी आतंकवादियों को निकाल बाहर करने के लिए सेना ने ऑपरेशन ब्लू स्टार चलाया। अंतरिक्ष में प्रथम भारतीय: अप्रैल १९८४ में भारत ने अंतरिक्ष विज्ञान के क्षेत्र में एक और सफलता प्राप्त की, जब पहला भारतीय अंतरिक्ष यात्री राकेश शर्मा, जो भारतीय वायुसेना के एक पायलट थे, अंतरिक्ष पहुंचे।</span><br />
<span class="mw-headline">पहला भारतीय अंतरिक्ष यात्री, राकेश शर्मा।इंदिरा गांधी की हत्या: ३१ अक्टूबर, १९८४ को तत्कालीन प्रधानमंत्री इंदिरा गांधी की उनके ही सिख अंगरक्षकों ने गोली मारकर हत्या कर दी। इस हत्या को ऑपरेशन ब्लू स्टार के प्रतिकार के रूप में देखा गया। (यह केवल कुछ इतिहासकारो की राय है)। इंदिरा गांधी की हत्या के हुए सिक्ख विरोधी दंगों में २,००० से अधिक लोग मारे गए। एवरेस्ट विजय: २३ मई १९८४ को बचेंद्री पाल विश्व की सबसे ऊंची चोटी माउंट एवरेस्ट पर चढ़ाई करने वाली भारत की पहली और विश्व की पांचवीं महिला बनीं। भोपाल गैस त्रासदी: ३ दिसम्बर, १९८४ को विश्व का सर्वाधिक भीषण औद्योगिक दुर्घटना सामने आई, जब मध्यप्रदेश की राजधानी भोपाल में यूनियन कार्बाइड के कारखाने में गैस का रिसाब होने से लगभग ३,००० लोग अकाल मृत्यु का शिकार बने।</span><br />
<span class="mw-headline">भोपाल गैस कांड स्मारक।सड़क पर उतरी मारुति: १९८४ में ८०० सीसी की मारुति कार लांच हुई, जिसने देश में वाहन क्रांति का मार्ग प्रशस्त किया। शाह बानो मामला: इस विवादास्पद मामले में उच्चतम न्यायालय ने मुस्लिम बोर्ड के निर्णय को पलटते हुए शाह बानो को गुजारा भत्ता देने को कहा लेकिन कट्टरपंथी मुस्लिम कार्यकर्ताओं के दबाव के आगे राजीव गांधी सरकार ने उच्चतम न्यायालय के निर्णय को प्रभावहीन बनाया। कनिष्क बमकांड: २३ जून, १९८५ को बब्बर खालसा के आतंकवादियों ने आयरलैंड से टोरंटो आ रहे एयर इंडिया के विमान को बम से उड़ा दिया, जिसमें सवार सभी ३२९ यात्री मारे गए। असम समझौता: १९८५ में राजीव गांधी सरकार और असम के चरमपंथी गुटों में ऐतिहासिक समझौते से यह आस बंधी थी कि इस राज्य में शांति हो जाएगी, लेकिन ऐसा पूरी तरह संभव नहीं हो सका। भारत-श्रीलंका शांति समझौता: भारतीय प्रधानमंत्री राजीव गांधी और श्रीलंका के राष्ट्रपति जेआर ने १९८७ में इस समझौते पर हस्ताक्षर किए। यह समझौता एक भूल साबित हुआ और इसके चलते श्रीलंका में हिंसक आंदोलन जोर पकड़ने लगा। मताधिकार की आयु सीमा घटी: १९८८ में राजीव गांधी सरकार ने मतदान के लिए न्यूनतम आयु सीमा २१ वर्ष से घटाकर १८ वर्ष कर दी। पृथ्वी प्रक्षेपास्त्र का सफल परीक्षण: भारत ने पूर्णतया स्वदेशी तकनीक पर आधारित बैलिस्टिक प्रक्षेपास्त्र का १९८८ में सफल परीक्षण किया। आरक्षण का पेंच: अगस्त १९९० में तत्कालीन प्रधानमंत्री विश्वनाथ प्रताप सिंह ने मंडल आयोग की सिफारिशों को स्वीकार करते हुए सरकारी नौकरियों में अन्य पिछड़ा वर्गों के लिए २७ प्रतिशत आरक्षण का प्रावधान लागू कर दिया। [संपादित करें] १९९० से २००० राजीव गांधी की हत्या: २१ मई, १९९१ को तमिलनाडु के श्रीपेराम्बदुर में लिट्टे की आत्मघाती हमलावर धनु ने राजीव गांधी की हत्या कर दी। आर्थिक उदारीकरण: १९९२ में तत्कालीन प्रधानमंत्री नरसिंह राव और वित्त मंत्री डॉ. मनमोहन सिंह ने देश में आर्थिक सुधारों का नया दौर आरंभ किया। सत्यजीत राय को ऑस्कर अवार्ड: विश्व सिनेमा को यादगार फिल्में देने वाले निर्माता-निर्देशक सत्यजीत राय को १९९२ में ऑस्कर का लाइफटाइम एचीवमेंट अवार्ड प्रदान किया गया। प्रतिभूति घोटाला: शेयर बाजारों में नियोजित तरीके से तेजी लाकर शेयरधारकों के करोड़ों रुपए का वारा-न्यारा करने का खेल पहली बार जगजाहिर हुआ। इस पूरे प्रकरण में हर्षद मेहता नामक व्यक्ति की सबसे बड़ी भूमिका थी। बाबरी विध्वंस: ६ दिसंबर १९९२ को अयोध्या में विवादास्पद बाबरी ढांचे को कट्टरपंथी हिंदुओं की भीड़ ने ढहा दिया। जिसकी प्रतिक्रिया में देश सांप्रदायिक दंगों की आग धधकने लगा था। मुंबई बमकांड: बाबरी मस्जिद ढहाए जाने की घटना के बाद मुंबई(१९९३) में श्रृंखलाबद्ध बम विस्फोट हुए, जिसमें लगभग २५० लोग मारे गए। सुष्मिता को ब्रह्मांड सुंदरी का ताज: सुष्मिता सेन ब्रह्मांड सुंदरी का ताज पहनने वाली भारत की पहली महिला बनीं। सेलफोन की शुरूआत: १९९५ में पश्चिम बंगाल के मुख्यमंत्री ज्योति बसु और केंद्रीय संचार मंत्री सुखराम ने सेलफोन पर पहली बार बात करते हुए देश में मोबाइल सेवा की शुरूआत की। इंटरनेट युग का आरंभ: १९९५ में विदेश संचार निगम लिमिटेड (वीएसएनएल) ने देश के छह नगरों में इंटरनेट सेवा का शुभारंभ किया। पोखरण-2: अटल बिहारी वाजपेयी सरकार के शासनकाल में भारतीय वैज्ञानिकों ने ११-१३ मई, १९९८ में पोखरण में पांच परमाणु परीक्षण किए। पाकिस्तान ने भी प्रतिकार स्वरूप २८ मई, १९९८ में छह परमाणु परीक्षण कर डाले। अमर्त्य सेन को नोबेल पुरस्कार: १९९८ में अमर्त्य सेन को अर्थशास्त्र का नोबेल पुरस्कार प्रदान किया गया। भारत-पाक बस सेवा: १९९९ में तत्कालीन प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी ने भारत-पाकिस्तान के बीच बस सेवा आरंभ की। कारगिल की लड़ाई: जुलाई, १९९९ में भीरतीय सेना को कारगिल में पाकिस्तानी सेना की घुसपैठ की जानकारी मिली। जिसके बाद भारतीय सेना ने घुसपैठियों के विरुद्ध कार्रवाई आरंभ कर दी। इस कार्रवाई के परिणामस्वरूप पाकिस्तानी सेना और घुसपैठिये पीछे हटे। मैच फिक्सिन्ग: अप्रैल, २००० में क्रिकेट में मैच फिक्सिन्ग् उजागर होने से क्रिकेट की दुनिया में तहलका मचा। दिल्ली पुलिस ने दक्षिण अफ्रीका के कप्तान हेन्स क्रोनिये के विरुद्ध इस संबंध में मामला दर्ज किया। [संपादित करें] २००० से वर्तमान भारतीय संसद भवन पर हमला: १३ दिसंबर, २००१ को आतंकवादियों ने संसद भवन पर हमला किया, लेकिन देश के बहादुर सिपाहियों ने अपनी प्राणों की आहुति देकर भी आतंकवादियों के इरादों को विफल कर दिया। तहलका कांड: तहलका डॉटकॉम ने स्टिंग ऑपरेशन के द्वारा रक्षा सौदों के लिए सांसदों और सैन्य अधिकारियों को घूस लेते हुए उजागर किया। गोधरा जनसंहार: गुजरात के गोधरा में २७ फरवरी, २००२ को हिंदू तीर्थयात्रियों से भरी एक ट्रेन की बोगी को कुछ असामाजिक तत्वों ने जला डाला और जिसकी प्रतिक्रिया स्वरूप अगले ही दिन पूरे राज्य में दंगे भड़क उठे। कल्पना चावला का दुखद अंत: अंतरिक्ष पर पहुंचने वाली पहली भारतीय महिला कल्पना चावला की दूसरी अंतरिक्ष यात्रा ही उनकी अंतिम यात्रा साबित हुई। ३ फरवरी, २००३ के दिन पृथ्वी की कक्षा में प्रवेश करते समय कोलंबिया शटल यान दुर्घटनाग्रस्त हो गया और कल्पना सहित इसमें सवार सातों अंतरिक्ष यात्री मारे गए। सहवाग बनें `मुल्तान का सुल्तान´: २००४ में पाकिस्तान के विरुद्ध मुल्तान टेस्ट में सहवाग शानदार तिहरा शतक जमाने वाले पहले क्रिकेटर बने। भारत-अमेरिका परमाणु समझौता: २००५ में भारतीय प्रधानमंत्री डॉ. मनमोहन सिंह और अमेरिकी राष्ट्रपति जॉर्ज बुश ने ऐतिहासिक असैन्य परमाणु सहयोग संधि पर हस्ताक्षर किए। सूचना का अधिकार: २००५ के सूचना के अधिकार कानून ने सरकारी बाबुओं को जवाबदेह बनाया। ११/७, मुंबई की उपनगरीय रेलों में श्रृंखलाबद्ध बम विस्फ़ोट: ११ जुलाई, २००६ को एक बार फिर मुंबई आतंकवादियो के निशाने पर आ गई। शाम के समय अपने घरों को लौट रहे लोकल ट्रेन के खचाखच भरे डिब्बों में २० मिनट के अंतराल पर हुए सात बम धमाको में २५० लोग मारे गए। टाटा ने कोरस को खरीदा: २००७ में किसी भारतीय कंपनी द्वारा अब तक के सबसे बड़े अधिग्रहण के रूप में टाटा स्टील ने एंग्लो-डच कंपनी कोरस को खरीद लिया। पहली महिला राष्ट्रपति: महाराष्ट्र की पहली महिला राज्यपाल बनने वाली प्रतिभा पाटील ने २५ जुलाई २००७ को देश की पहली महिला राष्ट्रपति के रूप में शपथ ग्रहण की। मुंबई २६/११: एक बार फिर राष्ट्र की वित्तीय राजधानी पर आतंकवादियों का हमला। बुधवार, २६ नवंबर, २००८ की रात लगभग १० पाकिस्तानी आतंकवादी आधुनिक हथियारों से युक्त होकर चर्चगेट स्टेशन, कामा अस्पताल, और ताज और ओबेरॉय-ट्रायडैन्ट में घुसे। ३ दिन तक चले कमांडो ऑपरेशन में २०० से अधिक लोग मारे गए, और १० में से नौ आतंकवादी भी। एक आतंकवादी, अजमल कसाब को जीवित पकड़ लिया गया। </span>Vinod Bhanahttp://www.blogger.com/profile/08200806326936994849noreply@blogger.com0tag:blogger.com,1999:blog-836167197628339282.post-66863229786936118052010-10-12T02:41:00.000-07:002010-10-12T02:52:06.067-07:00भारतीय इतिहास<span style="font-family: KrutiDev010;"><span style="font-family: KrutiDev010;"><span style="font-family: KrutiDev010;"><span style="font-family: KrutiDev010;"><span style="font-family: KrutiDev010;"><span style="background-color: orange; font-family: KrutiDev010; font-size: large;">भारतीय इतिहास</span></span></span></span></span></span><br />
<span style="font-family: KrutiDev010;"><span style="font-family: KrutiDev010;"><span style="font-family: KrutiDev010;"><span style="font-family: KrutiDev010;"><span style="font-family: KrutiDev010;"><span style="font-family: KrutiDev010;">भारत का इतिहास लगभग ५००० साल पुराना माना जाता है। <a class="mw-redirect" href="http://www.blogger.com/wiki/%E0%A4%B8%E0%A4%BF%E0%A4%A8%E0%A5%8D%E0%A4%A7%E0%A5%81_%E0%A4%98%E0%A4%BE%E0%A4%9F%E0%A5%80_%E0%A4%B8%E0%A4%AD%E0%A5%8D%E0%A4%AF%E0%A4%A4%E0%A4%BE" title="सिन्धु घाटी सभ्यता"><span style="color: #0645ad;">सिन्धु घाटी सभ्यता</span></a>, जिसका आरंभ काल लगभग ३३०० ईसापूर्व से माना जाता है। इस सभ्यता की लिपि अब तक सफलता पूर्वक पढ़ी नहीं जा सकी है। सिंधु घाटी सभ्यता पाकिस्तान और उससे सटे भारतीय प्रदेशों में फैली थी। पुरातत्त्व प्रमाणों के आधार पर १९०० ईसापूर्व के आसपास इस सभ्यता का अक्स्मात पतन हो गया। १९वी शताब्दी के पाश्चात्य विद्वानों के प्रचलित दृष्टिकोणों के अनुसार आर्यों का एक वर्ग भारतीय उप महाद्वीप की सीमाओं पर २००० ईसा पूर्व के आसपास पहुंचा और पहले पंजाब में बस गया, और यही ऋग्वेद की ऋचाओं की रचना की गई। आर्यों द्वारा उत्तर तथा मध्य भारत में एक विकसित सभ्यता का निर्माण किया गया, जिसे <a href="http://www.blogger.com/wiki/%E0%A4%B5%E0%A5%88%E0%A4%A6%E0%A4%BF%E0%A4%95_%E0%A4%B8%E0%A4%AD%E0%A5%8D%E0%A4%AF%E0%A4%A4%E0%A4%BE" title="वैदिक सभ्यता"><span style="color: #0645ad;">वैदिक सभ्यता</span></a> भी कहते हैं। प्राचीन भारत के इतिहास में वैदिक सभ्यता सबसे प्रारंभिक सभ्यता है जिसका संबंध आर्यों के आगमन से है। इसका नामकरण आर्यों के प्रारम्भिक साहित्य <a href="http://www.blogger.com/wiki/%E0%A4%B5%E0%A5%87%E0%A4%A6" title="वेद"><span style="color: #0645ad;">वेदों</span></a> के नाम पर किया गया है। आर्यों की भाषा <a class="mw-redirect" href="http://www.blogger.com/wiki/%E0%A4%B8%E0%A4%82%E0%A4%B8%E0%A5%8D%E0%A4%95%E0%A5%83%E0%A4%A4" title="संस्कृत"><span style="color: #0645ad;">संस्कृत</span></a> थी और धर्म "वैदिक धर्म" या "सनातन धर्म" के नाम से प्रसिद्ध था, बाद में विदेशी आक्रांताओं द्वारा इस धर्म का नाम <a class="mw-redirect" href="http://www.blogger.com/wiki/%E0%A4%B9%E0%A4%BF%E0%A4%A8%E0%A5%8D%E0%A4%A6%E0%A5%82" title="हिन्दू"><span style="color: #0645ad;">हिन्दू</span></a> पड़ा।</span></span></span></span></span></span><br />
<a href="http://www.blogger.com/wiki/%E0%A4%B5%E0%A5%88%E0%A4%A6%E0%A4%BF%E0%A4%95_%E0%A4%B8%E0%A4%AD%E0%A5%8D%E0%A4%AF%E0%A4%A4%E0%A4%BE" title="वैदिक सभ्यता"><strong><span style="color: #0645ad;">वैदिक सभ्यता</span></strong></a> <a href="http://www.blogger.com/wiki/%E0%A4%B8%E0%A4%B0%E0%A4%B8%E0%A5%8D%E0%A4%B5%E0%A4%A4%E0%A5%80_%E0%A4%A8%E0%A4%A6%E0%A5%80" title="सरस्वती नदी"><span style="color: #0645ad;">सरस्वती नदी</span></a> के तटीय क्षेत्र जिसमें आधुनिक <a href="http://www.blogger.com/wiki/%E0%A4%AD%E0%A4%BE%E0%A4%B0%E0%A4%A4" title="भारत"><span style="color: #0645ad;">भारत</span></a> के <a href="http://www.blogger.com/wiki/%E0%A4%AA%E0%A4%82%E0%A4%9C%E0%A4%BE%E0%A4%AC" title="पंजाब"><span style="color: #0645ad;">पंजाब</span></a> और <a href="http://www.blogger.com/wiki/%E0%A4%B9%E0%A4%B0%E0%A4%BF%E0%A4%AF%E0%A4%BE%E0%A4%A3%E0%A4%BE" title="हरियाणा"><span style="color: #0645ad;">हरियाणा</span></a> राज्य आते हैं, में विकसित हुई। आम तौर पर अधिकतर विद्वान <a href="http://www.blogger.com/wiki/%E0%A4%B5%E0%A5%88%E0%A4%A6%E0%A4%BF%E0%A4%95_%E0%A4%B8%E0%A4%AD%E0%A5%8D%E0%A4%AF%E0%A4%A4%E0%A4%BE" title="वैदिक सभ्यता"><span style="color: #0645ad;">वैदिक सभ्यता</span></a> का काल २००० ईसा पूर्व से ६०० ईसा पूर्व के बीच में मानते है, परन्तु नए पुरातत्त्व उत्खननों से मिले अवशेषों में <a href="http://www.blogger.com/wiki/%E0%A4%B5%E0%A5%88%E0%A4%A6%E0%A4%BF%E0%A4%95_%E0%A4%B8%E0%A4%AD%E0%A5%8D%E0%A4%AF%E0%A4%A4%E0%A4%BE" title="वैदिक सभ्यता"><span style="color: #0645ad;">वैदिक सभ्यता</span></a> से संबंधित कई अवशेष मिले है जिससे कुछ आधुनिक विद्वान यह मानने लगे है कि वैदिक सभ्यता भारत में ही शुरु हुई थी, आर्य भारतीय मूल के ही थे और ऋग्वेद का रचना काल ३००० ईसा पूर्व रहा होगा, क्योंकि आर्यो के भारत में आने का न तो कोई पुरातत्त्व उत्खननों पर अधारित प्रमाण मिला है और न ही डी एन ए अनुसन्धानों से कोई प्रमाण मिला है। हाल ही में भारतीय पुरातत्व परिषद् द्वारा की गयी <a href="http://www.blogger.com/wiki/%E0%A4%B8%E0%A4%B0%E0%A4%B8%E0%A5%8D%E0%A4%B5%E0%A4%A4%E0%A5%80_%E0%A4%A8%E0%A4%A6%E0%A5%80" title="सरस्वती नदी"><span style="color: #0645ad;">सरस्वती नदी</span></a> की खोज से <a href="http://www.blogger.com/wiki/%E0%A4%B5%E0%A5%88%E0%A4%A6%E0%A4%BF%E0%A4%95_%E0%A4%B8%E0%A4%AD%E0%A5%8D%E0%A4%AF%E0%A4%A4%E0%A4%BE" title="वैदिक सभ्यता"><span style="color: #0645ad;">वैदिक सभ्यता</span></a>, हड़प्पा सभ्यता और आर्यों के बारे में एक नया दृष्टिकोण सामने आया है। हड़प्पा सभ्यता को सिन्धु-सरस्वती सभ्यता नाम दिया है, क्योंकि हड़प्पा सभ्यता की २६०० बस्तियों मे से वर्तमान पाकिस्तान में सिन्धु तट पर मात्र २६५ बस्तियां थीं, जबकि शेष अधिकांश बस्तियां सरस्वती नदी के तट पर मिलती हैं, सरस्वती एक विशाल नदी थी। पहाड़ों को तोड़ती हुई निकलती थी और मैदानों से होती हुई समुद्र में जाकर विलीन हो जाती थी। इसका वर्णन ऋग्वेद में बार-बार आता है, यह आज से ४००० साल पूर्व भूगर्भी बदलाव की वजह से सूख गयी थी।<br />
ईसा पूर्व ७ वीं और शुरूआती ६ वीं शताब्दि सदी में <a class="mw-redirect" href="http://www.blogger.com/wiki/%E0%A4%9C%E0%A5%88%E0%A4%A8" title="जैन"><span style="color: #0645ad;">जैन</span></a> और <a class="mw-redirect" href="http://www.blogger.com/wiki/%E0%A4%AC%E0%A5%8C%E0%A4%A6%E0%A5%8D%E0%A4%A7" title="बौद्ध"><span style="color: #0645ad;">बौद्ध</span></a> धर्म सम्प्रदाय लोकप्रिय हुए । <a href="http://www.blogger.com/wiki/%E0%A4%85%E0%A4%B6%E0%A5%8B%E0%A4%95" title="अशोक"><span style="color: #0645ad;">अशोक</span></a> (ईसापूर्व २६५-२४१) इस काल का एक महत्वपूर्ण राजा था जिसका साम्राज्य <a class="mw-redirect" href="http://www.blogger.com/wiki/%E0%A4%85%E0%A4%AB%E0%A4%97%E0%A4%BE%E0%A4%A8%E0%A4%BF%E0%A4%B8%E0%A5%8D%E0%A4%A4%E0%A4%BE%E0%A4%A8" title="अफगानिस्तान"><span style="color: #0645ad;">अफगानिस्तान</span></a> से <a href="http://www.blogger.com/wiki/%E0%A4%AE%E0%A4%A3%E0%A4%BF%E0%A4%AA%E0%A5%81%E0%A4%B0" title="मणिपुर"><span style="color: #0645ad;">मणिपुर</span></a> तक और <a href="http://www.blogger.com/wiki/%E0%A4%A4%E0%A4%95%E0%A5%8D%E0%A4%B7%E0%A4%B6%E0%A4%BF%E0%A4%B2%E0%A4%BE" title="तक्षशिला"><span style="color: #0645ad;">तक्षशिला</span></a> से <a href="http://www.blogger.com/wiki/%E0%A4%95%E0%A4%B0%E0%A5%8D%E0%A4%A8%E0%A4%BE%E0%A4%9F%E0%A4%95" title="कर्नाटक"><span style="color: #0645ad;">कर्नाटक</span></a> तक फैल गया था । पर वो सम्पूर्ण दक्षिण तक नहीं जा सका । दक्षिण में <a class="mw-redirect" href="http://www.blogger.com/wiki/%E0%A4%9A%E0%A5%8B%E0%A4%B2" title="चोल"><span style="color: #0645ad;">चोल</span></a> सबसे शक्तिशाली निकले । संगम साहित्य की शुरुआत भी दक्षिण में इसी समय हुई । भगवान गौतम बुद्ध के जीवनकाल में, ईसा पूर्व ७ वीं और शुरूआती ६ वीं शताब्दि के दौरान सोलह बड़ी शक्तियां (महाजनपद) विद्यमान थे। अति महत्वपूर्ण गणराज्यों में कपिलवस्तु के शाक्य और वैशाली के लिच्छवी गणराज्य थे। गणराज्यों के अलावा राजतंत्रीय राज्य भी थे, जिनमें से कौशाम्बी (वत्स), मगध, कोशल, कुरु, पान्चाल, चेदि और अवन्ति महत्वपूर्ण थे। इन राज्यों का शासन ऐसे शक्तिशाली व्यक्तियों के पास था, जिन्होंने राज्य विस्तार और पड़ोसी राज्यों को अपने में मिलाने की नीति अपना रखी थी। तथापि गणराज्यात्मक राज्यों के तब भी स्पष्ट संकेत थे जब राजाओं के अधीन राज्यों का विस्तार हो रहा था। इसके बाद भारत छोटे-छोटे साम्राज्यों में बंट गया । आठवीं सदी में सिन्ध पर अरबी अधिकार हो गाय। यह इस्लाम का प्रवेश माना जाता है। बारहवीं सदी के अन्त तक दिल्ली की गद्दी पर तुर्क दासों का शासन आ गया जिन्होंने अगले कई सालों तक राज किया। दक्षिण में हिन्दू विजयनगर और गोलकुंडा के राज्य थे। १५५६ में विजय नगर का पतन हो गया। सन् १५२६ में मध्य एशिया से निर्वासित राजकुमार <a href="http://www.blogger.com/wiki/%E0%A4%AC%E0%A4%BE%E0%A4%AC%E0%A4%B0" title="बाबर"><span style="color: #0645ad;">बाबर</span></a> ने <a href="http://www.blogger.com/wiki/%E0%A4%95%E0%A4%BE%E0%A4%AC%E0%A5%81%E0%A4%B2" title="काबुल"><span style="color: #0645ad;">काबुल</span></a> में पनाह ली और भारत पर आक्रमण किया। उसने <a class="mw-redirect" href="http://www.blogger.com/wiki/%E0%A4%AE%E0%A5%81%E0%A4%97%E0%A4%BC%E0%A4%B2" title="मुग़ल"><span style="color: #0645ad;">मुग़ल</span></a> वंश की स्थापना की जो अगले ३०० सालों तक चला। इसी समय दक्षिण-पूर्वी तट से <a href="http://www.blogger.com/wiki/%E0%A4%AA%E0%A5%81%E0%A4%B0%E0%A5%8D%E0%A4%A4%E0%A4%97%E0%A4%BE%E0%A4%B2" title="पुर्तगाल"><span style="color: #0645ad;">पुर्तगाल</span></a> का समुद्री व्यापार शुरु हो गया था। बाबर का पोता अकबर धार्मिक सहिष्णुता के लिए विख्यात हुआ। उसने हिन्दुओं पर से जज़िया कर हटा लिया। १६५९ में <a href="http://www.blogger.com/wiki/%E0%A4%94%E0%A4%B0%E0%A4%82%E0%A4%97%E0%A4%BC%E0%A4%9C%E0%A4%BC%E0%A5%87%E0%A4%AC" title="औरंग़ज़ेब"><span style="color: #0645ad;">औरंग़ज़ेब</span></a> ने इसे फ़िर से लागू कर दिया। औरंग़ज़ेब ने <a href="http://www.blogger.com/wiki/%E0%A4%95%E0%A4%B6%E0%A5%8D%E0%A4%AE%E0%A5%80%E0%A4%B0" title="कश्मीर"><span style="color: #0645ad;">कश्मीर</span></a> में तथा अन्य स्थानों पर हिन्दुओं को बलात मुसलमान बनवाया। उसी समय केन्द्रीय और दक्षिण भारत में <a class="mw-redirect" href="http://www.blogger.com/wiki/%E0%A4%B6%E0%A4%BF%E0%A4%B5%E0%A4%BE%E0%A4%9C%E0%A5%80" title="शिवाजी"><span style="color: #0645ad;">शिवाजी</span></a> के नेतृत्व में मराठे शक्तिशाली हो रहे थे। औरंगज़ेब ने दक्षिण की ओर ध्यान लगाया तो उत्तर में <a class="mw-redirect" href="http://www.blogger.com/wiki/%E0%A4%B8%E0%A4%BF%E0%A4%95%E0%A5%8D%E0%A4%96" title="सिक्ख"><span style="color: #0645ad;">सिखों</span></a> का उदय हो गया। औरंग़ज़ेब के मरते ही (१७०७) मुगल साम्राज्य बिखर गया। अंग्रेज़ों ने डचों, पुर्तगालियों तथा फ्रांसिसियों को भगाकर भारत पर व्यापार का अधिकार सुनिश्चित किया और १८५७ के एक विद्रोह को कुचलने के बाद सत्ता पर काबिज़ हो गए। भारत को आज़ादी १९४७ में मिली जिसमें <a class="mw-redirect" href="http://www.blogger.com/wiki/%E0%A4%AE%E0%A4%B9%E0%A4%BE%E0%A4%A4%E0%A5%8D%E0%A4%AE%E0%A4%BE_%E0%A4%97%E0%A4%BE%E0%A4%81%E0%A4%A7%E0%A5%80" title="महात्मा गाँधी"><span style="color: #0645ad;">महात्मा गाँधी</span></a> के अहिंसा आधारित आंदोलन का योगदान महत्वपूर्ण था। १९४७ के बाद से भारत में गणतांत्रिक शासन लागू है। आज़ादी के समय ही भारत का विभाजन हुआ जिससे <a href="http://www.blogger.com/wiki/%E0%A4%AA%E0%A4%BE%E0%A4%95%E0%A4%BF%E0%A4%B8%E0%A5%8D%E0%A4%A4%E0%A4%BE%E0%A4%A8" title="पाकिस्तान"><span style="color: #0645ad;">पाकिस्तान</span></a> का जन्म हुआ और दोनों देशों में कश्मीर सहित अन्य मुद्दों पर तनाव बना हुआ है।Vinod Bhanahttp://www.blogger.com/profile/08200806326936994849noreply@blogger.com0tag:blogger.com,1999:blog-836167197628339282.post-85496415626762666572010-10-08T19:28:00.000-07:002010-10-08T20:06:22.803-07:00Rajasthan Board Paper 2010Click Here To Download Paper<br />
<a href="http://rajeduboard.nic.in/books/PAPERS-2010/S-01-Hindi-10.pdf">Secondray Hindi</a><br />
<a href="http://rajeduboard.nic.in/books/PAPERS-2010/S-02-English-10.pdf">Secondry English</a><br />
<a href="http://rajeduboard.nic.in/books/PAPERS-2010/S-07-1-Science-10.pdf">Secondry Science 1st</a><br />
<a href="http://rajeduboard.nic.in/books/PAPERS-2010/S-07-2-Science.2-10%20(Secod%20Time).pdf">secondry Science 2nd</a><br />
<a href="http://rajeduboard.nic.in/books/PAPERS-2010/S-07-2-Science.2-10.pdf">secondry Science 2nd</a><br />
<a href="http://rajeduboard.nic.in/books/PAPERS-2010/S-08-1-Soc.%20Sc.1-10.pdf">Secondry Social Science 1st</a><br />
<a href="http://rajeduboard.nic.in/books/PAPERS-2010/S-08-2-Soc.%20Sc.2-10.pdf">Secondry Social Science 2nd</a><br />
<a href="http://rajeduboard.nic.in/books/PAPERS-2010/S-09-1-Math-10.pdf">Secondray Maths 1st</a><br />
<a href="http://rajeduboard.nic.in/books/PAPERS-2010/S-09-2-Math-10.pdf">Secondry Maths 2nd</a><br />
<a href="http://rajeduboard.nic.in/books/PAPERS-2010/S-71-Sans.-10.pdf">Secondry Sanskrit </a><br />
<a href="http://rajeduboard.nic.in/books/PAPERS-2010/SS-01-Hindi-C-10.pdf">SENIOR SECONDARY - 01-Hindi-</a><br />
<a href="http://rajeduboard.nic.in/books/PAPERS-2010/SS-02%20Eng-(C).pdf">SENIOR SECONDARY - ENGLISH</a><br />
<a href="http://rajeduboard.nic.in/books/PAPERS-2010/SS-11-1-Pol.%20Sc.-I-10.pdf">SENIOR SECONDRY - POLITICAL 01</a>Vinod Bhanahttp://www.blogger.com/profile/08200806326936994849noreply@blogger.com0tag:blogger.com,1999:blog-836167197628339282.post-16116766849842907382010-09-18T13:12:00.000-07:002010-09-18T13:12:01.014-07:00राष्ट्रीय परीद्रश्य<span style="background-color: #f1c232; font-size: large;">राष्ट्रीय परीद्रश्य</span><br />
<ul><li><span style="background-color: white; font-size: large;"><span style="font-size: small;">2 6 / 11 मुंबई आतंकी हमले के बाद पहली बार 15 जुलाई 2010 को भारत व् पाकिस्थान के बीच विदेश मंत्री स्तर की वार्ता इस्लामाबाद मे हुई |</span></span></li>
<li><span style="font-size: small;">भारत व् पाकिस्थान के मध्य सियाचीन, सरक्रीक, कश्मीर, आतंकवाद, एवं द्विपक्षिये व्यापार मुद्दे है |</span></li>
<li><span style="font-size: small;">बारात व् पकिस्तान के मध्य 1947 , 1965 , 1971 व् 1999 (कारगिल ) मे युद्ध हो चुके है |</span></li>
<li><span style="font-size: small;">19 जुलाई 2010 को वनांचल एक्सप्रेस से उत्तरबंग एक्सप्रेस सेंथिया स्टेशन पर टकरा गई यह स्टेशन पश्चिम बंगाल के वीरभूम जिले मे है |</span></li>
<li><span style="font-size: small;">7 अप्रैल 2005 को श्रीनगर व् मुजफराबाद के बीच बस सेवा प्रारम्भ |</span></li>
<li><span style="font-size: small;">20 जनुअरी 2006 को लाहोर से अमृतसर के बीच बस सेवा |</span></li>
<li><span style="font-size: small;">18 फरवरी 2006 को मुनाबाव (राजस्थान )ओ खोकरापार (सिंध) के मध्य रेल सेवा आरम्भ |</span></li>
<li><span style="font-size: small;">24 मार्च 2006 को अमृतसर - ननकाना साहिब बस सेवा प्रारम्भ |</span></li>
<li><span style="font-size: small;">पेटा (People for Ethical Treatment of Animal ) संस्था ने प्राणी विज्ञानं की कक्षाओ मे जंतुओं के विच्छेदन पर रोक लगाने की मांग की है |</span></li>
<li><span style="font-size: small;">फेट - अरब सागर मे चक्रवात जून 2010 </span></li>
<li><span style="font-size: small;">लैला - बंगाल की खाड़ी मे चक्रवात</span></li>
<li><span style="font-size: small;">आईला - पश्चिमी बंगाल मे चक्रवात २४ मई 2009 </span></li>
<li><span style="font-size: small;">फ्यान - मुंबई के तटवर्ती क्षेत्रों मे तूफ़ान 11 नवम्बर 2009 </span></li>
<li><span style="font-size: small;">आंद्र प्रदेश राज्ये को तेलंगाना, महारष्ट्र को विदर्भ तथा पश्चिमी बंगाल को गोरखा लेण्ड व् उत्तर प्रदेश को हरित प्रदेश कहते है |</span></li>
<li><span style="font-size: small;">"लीलावती" पुस्तक प्रशिद्ध भारतीय गणितग "भास्कराचार्ये ने 12 वी सताब्दी मे लिखी थी| इस पुस्तक के नाम पर हाल ही मे गणित की अंतर राष्ट्रीय कोंग्रेस कमेटी ने 10 लाख रु क़ा पुरस्कार प्रारम्भ करने क़ा निर्णय लिया गया |</span></li>
<li><span style="font-size: small;">विश्व शांति सूचकांक 2010 के आधार पर भारत क़ा 128 वां स्थान है तथा सबसे शांत देश नुजीलेंड व् सबसे अशांत देश इराक को दर्ज किया गया है |</span></li>
<li></li>
</ul>Vinod Bhanahttp://www.blogger.com/profile/08200806326936994849noreply@blogger.com0tag:blogger.com,1999:blog-836167197628339282.post-21269312646335002182010-09-18T05:06:00.000-07:002010-09-18T05:06:44.128-07:00करंट अफेयर्स 2010<span style="font-size: large;">जोधपुर मे राज्ये क़ा पहला कन्वेंशन सेंटर बनेगा -</span><br />
<span style="font-size: small;">देश क़ा तीसरा व् राज्ये क़ा पहला राजीव गाँधी टूरिज्म कन्वेंशन सेंटर जोधपुर मे बनेगा जिस पर 15 करोड़ रुपये की लगत आएगी, इसके लिए जोधपुर विकास प्राधिकरण, विहार योजना मे २०० गुणा 180 वर्ग मीटर जमीन देगा| इससे पहले तमिलनाडु व् भोपाल मे एसे सेण्टर बनाए गए है | </span><br />
<span style="font-size: large;">सिक्स वन प्रपत्र क्या है -</span><br />
<span style="font-size: small;">सिक्स वन प्रपत्र उस प्रपत्र को कहते है जिसमे किसान अपनी जमीन को बैंक के रहन रख कर मूल्य निर्धारण कर के ऋण लेता है | इस प्रपत्र को पटवारी द्वारा ही तहसीलदार के हस्ताक्षर से तहसील की डाक पंजिका मे दर्ज कर जारी किया जाता है |</span>Vinod Bhanahttp://www.blogger.com/profile/08200806326936994849noreply@blogger.com0tag:blogger.com,1999:blog-836167197628339282.post-33014534623549850172010-09-07T03:10:00.000-07:002010-09-07T03:10:39.227-07:00HINDIGKjald hiVinod Bhanahttp://www.blogger.com/profile/08200806326936994849noreply@blogger.com0tag:blogger.com,1999:blog-836167197628339282.post-30518686779734012432010-09-05T09:41:00.000-07:002010-09-05T13:35:18.912-07:00100 समसामयकी प्रश्न 2009 10<span style="font-size: large;">100 समसामयकी प्रश्न 2009</span> <br />
<ul><li><span style="font-size: small;">राजस्थान के 2010 - 11 क़ा बजट क़ा आकर कितने करोड़ रु रखा गया - 54348 करोड़ रु. </span></li>
<li><span style="font-size: small;">2010 - 11 मे बी. पि. एल. परिवारों को कितने रु. किलो गेंहू देने की घोषणा की गई- 2 रु- किलो </span></li>
<li><span style="font-size: small;">हाल ही मे इंडियन सोलिडेत्री काउंसलिंग की और से "नेशनल महिला रतन गोल्ड मेडल " से राज्य की किस महिला को सम्मानित किया गया- सुषमा रानी चुंग </span></li>
<li><span style="font-size: small;">18 मार्च 2010 को भारत सरकार के वस्त्र मंत्रालय के विकास आयुक्त हस्तशिल्प की और से वर्ष 2008 क़ा राष्ट्रीय पुरस्कार राज्ये के किस वेक्ति को दिया गया - रामस्वरूप शर्मा </span></li>
<li><span style="font-size: small;">4 march 2010 को हुए "ले शो डी रिकोर्ड्स" कार्यकर्म मे लम्बी मुन्चो की वजह से जयपुर के किस वेक्ति क़ा नाम दूसरी बार गिनीज बुक ऑफ़ वर्ड रिकार्ड मे दर्ज हुआ है - रामसिंह चोहान </span></li>
<li><span style="font-size: small;">25 से 27 फरवरी 2010 तक कृषि क़ा पहला मेगा "कृषि एक्सपो - 2010 " राज्य मे कहाँ आयोजित किया गया - कोटा मे </span></li>
<li><span style="font-size: small;">थार की ढाणी के लेखक कोंन है - पृथ्वी परिहार </span></li>
<li><span style="font-size: small;">फरवरी 2010 मे ढाका मे संपन्न दक्षिण एशियाई खेलों मे कांस्ये पदक जीतने वाले राजस्थान के एथलीट समर जीत सिंह राज्ये मे कहाँ के निवासी है - गंगानगर </span></li>
<li><span style="font-size: small;">24 फरवरी 2010 को रेल मंत्री ममता बनर्जी ने रेल बजट मे राजस्थान मे दुरन्तो सहित कितनी नई रेले चलने की घोषणा की है - 13 </span></li>
<li><span style="font-size: small;">रेल बजट 2010 - 11 मे राजस्थान के किस स्टेशन को वर्ड क्लास स्टेशन क़ा तोहफा दिया है - कोटा </span></li>
<li><span style="font-size: small;">खेमारू गाँव के ३०० लोगों ने 24 घंटे मे 6 ,11,137 पोधे लगाकर एक रिकोर्ड बनाया जिसे जनवरी 2010 मे गिनीज बुक ऑफ़ वर्ड रिकोर्ड मे शामिल किया गया यह गाँव कोनसे जिले मे पड़ता है - डूंगरपुर </span></li>
<li><span style="font-size: small;">7 दिसम्बर 2009 को जयपुर मे संपन्न राजस्थान क्रिकेट एशोशियेशन के चुनाव मे अध्यक्ष बनाये गए है - सी पि जोशी </span></li>
<li><span style="font-size: small;">जनवरी 2010 मे राजस्थान को विधुत क्षेत्र मे प्रशंशनिये कार्य निष्पादन के लिए केंद्र सरकार ने कितने पुरष्कार प्रदान किये है - २ </span></li>
<li><span style="font-size: small;">19 जनवरी 2010 को राज्य सरकार ने एक आदेश जारी करते हुए पूर्व प्रधान मंत्री राजीव गाँधी के नाम से संचालित कितने मिशनो क़ा पुनर्गठन कर दिया है - 5 मिशन </span></li>
<li><span style="font-size: small;">9 फरवरी 2010 को मध्येमिक शिक्षा बोर्ड के अध्येक्ष नियुक्त किये गए है - सुभाष गर्ग </span></li>
<li><span style="font-size: small;">शेलेन्द्र कुमार सिंह के निधन के बाद 25 जनवरी 2010 को राज्य के 18 वे राज्यपाल के रूप मे किशने सपथ ली - प्रभा राव </span></li>
<li><span style="font-size: small;">13 दिसंबर 2009 को राज्य के किस स्थान से सुचना एवं प्रोधोगिकी विभाग की देश की पहली वाई मेक्स सेवा प्रारंभ हो गई है - पीसांगन अजमेर </span></li>
<li><span style="font-size: small;">1 दिसंबर 2009 को राज्य के किस राज्यपाल क़ा निधन हो गया था - शेलेन्द्र कुमार सिंह </span></li>
<li><span style="font-size: small;">केंद्र सरकार की राष्ट्रीय माध्यमिक शिक्षा अभियान के तहत राज्य के प्रतेक 5 किमी की परिधि मे माध्यमिक स्कूल खोलने की योजना है इस योजना मे केंद्र व् राज्य क़ा वित्तीय अनुपात क्या है - 75 : 25 </span></li>
<li><span style="font-size: small;">29 नवम्बर 2009 तक थार मे तेल उत्पादक कंपनी केयर्न इंडिया ने मंगला क्षेत्र से कितना तेल निकलने क़ा काम पूरा कर लिया है - 10 लाख बेरल </span></li>
<li><span style="font-size: small;">27 नवम्बर 2009 को राज्य की पूर्व उप मुख्य मंत्री डॉ. कमला ने कोनसे राज्य के राज्य पाल पद की सपथ ग्रहण की - गुजरात </span></li>
<li><span style="font-size: small;">गुजरात की राज्य पाल बंनने से पहले डॉ कमला कहाँ की राज्य पाल नियुक्त की गई - त्रिपुरा </span></li>
<li><span style="font-size: small;">गुर्जर आरक्षण आन्दोलन की जाँच कर रहे बंसल आयोग क़ा कार्य काल बड़ा दिया गया है अब तक बंसल आयोग क़ा कार्यकाल कितनी बार बड चूका है - 6 बार </span></li>
<li><span style="font-size: small;">राजस्थान परमाणु बिजलीघर रावत भाटा की सातवीं आठवी इकाई क़ा निर्माण कार्य कोनसे वर्ष मे शुरू होगा - 2010 मे </span></li>
<li><span style="font-size: small;">सन 2010 से राजस्थान परमाणु बिजलीघर मे सातवी आठवी इकाई क़ा निर्माण कार्य प्रारंभ होगा इसमें कितने कितने मेघा वाट की इकाईया इस्थापित होगी - 700 -700 </span></li>
<li><span style="font-size: small;">वर्ष 2010 से राजस्थान परमाणु बिजलीघर मे 700 - 700 मेघा वाट की 2 इकाइय स्थापित की जा रही है, इनका निर्माण कार्य कोनसे वर्ष मे पूरा होगा - 2016 </span></li>
<li><span style="font-size: small;">२३ नवम्बर 2009 को पदम् श्री प्रोफ़ेसर गोवर्धन मेहता प्रतिष्ठित नेशनल रिसर्च प्रोफेसर नियुक्त किये गए है यह राज्य मे कहाँ के निवासी है - जोधपुर </span></li>
<li><span style="font-size: small;">21 नवम्बर 2009 से केंद्र सरकार ने राज्य के निशक्तों को इन्द्र गाँधी राष्ट्रिय निशक्त पेंशन योजना के तहत कितने रु देने क़ा प्रावधान किया है - 200 रु </span></li>
<li><span style="font-size: small;">केंद्र सरकार की योजना के बाद अब राज्य के निशक्तों की पेंशन बढकर कितनी हो गई है - 400 रु </span></li>
<li><span style="font-size: small;">नवम्बर 2009 मे सेन फ्रंसिशको मे इंटर नेशनल ओप्थेल्मो लोजी एजुकेशन अवार्ड से राज्य के किस वेक्ति को सम्मानित किया गया है - डॉ गोपाल वर्मा </span></li>
<li><span style="font-size: small;">19 नवम्बर 2009 को केंद्रीय मानव संशाधन मंत्रालय ने राज्य मे कोनसे स्थान पर आई आई टी को मंजूरी देदी है - जोधपुर इसमें 1000 करोड़ रु- खर्च करने क़ा प्रावधान है </span></li>
<li><span style="font-size: small;">हाल ही मे केंद्र सरकार ने राज्य मे कितने पोलिटेक्निक कोलेज खोलने के लिए वित्तीय सहायता प्रदान की है -10 </span></li>
<li><span style="font-size: small;">राज्य क़ा पहला राईस क्लस्टर कहाँ बनाया जायेगा - बूंदी </span></li>
<li><span style="font-size: small;">नवम्बर 2009 से खाद्य विभाग द्वारा जयपुर मे एपीएल व् बीपीएल परिवारों को 10 किग्रा की बजाय अब कितना आटा दिया जा रहा है - 20 किलो </span></li>
<li><span style="font-size: small;">राज्य मे अब पीएचडी मे रजिस्ट्रेशन से पूर्व एक प्री टेस्ट लिया जायगा यह प्री टेस्ट वर्ष मे कितनी बार लिया जायेगा - एक बार </span></li>
<li><span style="font-size: small;">राज क़ा सबसे छोटा जिआइएस (गेस इंसुलेटेड सब स्टेशन ) कहाँ बनाया जा रहा है - जयपुर मे </span></li>
<li><span style="font-size: small;">प्रदेश मे अब ड्राइविंग लाइसेंस बनवाने के लिय फीस दो किस्तों मे ली जाएगी पहले यह फीस कितनी बार ली जाती थी - 1 बार </span></li>
<li><span style="font-size: small;">10 नवम्बर 2009 को विधान सभा उप चुनाव परिणाम मे घोषित टोडाभीम सीट पर किस पार्टी ने जीत दर्ज की है - भाजपा </span></li>
<li><span style="font-size: small;">वर्ष 2009 मे संपन्न विधान सभा उप चुनाव मे सलुम्बर सीट किस पार्टी ने जीती - बसपा </span></li>
<li><span style="font-size: small;">29 अक्तूबर 2009 को राज्य मे भीषण अग्नि कांड हुआ जिसमे करीब 700 करोड़ रु- क़ा नुक्सान हुआ यह अग्नि कांड कहाँ हुआ - जयपुर, यह अग्नि कांड आई ओ सी पेट्रोलियम कंपनी के डिपो मे हुआ था </span></li>
<li><span style="font-size: small;">19 नवम्बर को राज्य की 2 वन सुरक्षा एवं प्रबंध समितियों को इंदिरा प्रियेदार्शानी अवार्ड से सम्मानित किया गया, यह समितियां राज्य के कोनसे जिले की हे - उदयपुर </span></li>
<li><span style="font-size: small;">31 अक्टूबर 2009 को राजस्थान क्रिकेट अकादमी की एड होक कमेटी ने राजस्थान की और से काम से काम कितने रणजी मेच खेलने वाले खिलाडी को भी आर सी ए की और से पेंशन देने की घोषणा की है - 5 रणजी मेच खेलने वाले को प्रति माह 5000 रु- की पेंशन दि जाएगी, </span></li>
<li><span style="font-size: small;">31 अक्टूबर 2009 को राज्य के शीर्ष ओधोगिक संघठन काउन्सिल ऑफ़ राजस्थान इन्डस्ट्रिज ( युकोरी ) के अध्येक्ष चुने गए है - तारा चाँद चोधरी </span></li>
<li><span style="font-size: small;">31 अक्टूबर 2009 को राज्य के नए मुख्य सचिव पद पर किसकी नियुक्ति हुई है - टी श्री निवाशन </span></li>
<li><span style="font-size: small;">1 नवम्बर 2009 से कर्मचारी राज्य बीमा योजना प्रदेश के कितने नए क्षेत्रों मे और लागु की गई है - ३</span></li>
<li><span style="font-size: small;">राज्य मे पंचायतो के परिसीमन के बाद कितनी नई पंचायतों के गठन की योजना है - 225 पंचायतों क़ा गठन </span></li>
<li><span style="font-size: small;">31 अक्टूबर 2009 को राज्य मे और कितने विश्व विद्यालयों के लिय आशय पत्र जारी किये गए है - 3 </span></li>
<li><span style="font-size: small;">23 अक्टूबर 2009 को भारतीय विमान पत्तनम की साईट सलेक्सन कमेटी ने राज मे कोनसे स्थान पर नए एयर पोर्ट पर सहमति दि हे - जोधपुर </span></li>
<li><span style="font-size: small;">अक्टूबर 2009 मे फ़्रांस क़ा सर्वोच्च सम्मान प्राप्त करने वाली डॉआशा पांड्य राज्य के कोनसे विश्व विद्यालय मे कार्यरत है - जयपुर राजस्थान विश्व विद्यालय जयपुर </span></li>
<li><span style="font-size: small;">देश भर मे जल्द ही विधुत कनेक्शनो की ऑन लाइन सुरुआत होने वाली है, यह सुरुआत कोनसे राज्य से होगी - राजस्थान </span></li>
<li><span style="font-size: small;">19 अक्टूबर 2009 को राज्य महिला आयोग की अध्येक्ष नियुक्त होने वाली महिला है - मीरा महर्षि </span></li>
<li><span style="font-size: small;">अक्टूबर 2009 मे राज्य के एक विधायक ने अपनी नीजी वेबसाईट बनाई है - भागवान सहाय सेनी, यह राज्य के प्रथम विधायक हे जिनकी अपनी नीजी वेबसाईट है </span></li>
<li><span style="font-size: small;">राज्य के ग्राम पंचायत मुख्यालयों पर प्रतेक माह के कोनसे अंतिम दिवस को नरेगा दिवस के रूप मे मनाने की घोषणा की गई है - गुरुवार</span></li>
<li><span style="font-size: small;">इंडियन रेलवे केटरिंग एंड टूरिज्म कोर्पोरेशन लिमिटेड द्वारा देश के कुछ स्टेशनों पर जन आहार केंद्र खोले जा रहे है इनमे राज्ये क़ा कोनसा स्टेशन सामिल है - जयपुर </span></li>
<li><span style="font-size: small;">स्तन केंसर के ओप्रशन के बद हाथों मे आई सुजन को काम करने के लिए राज्य की पहली कम्प्रेशन मशीन "लिम्फिप्रेस" कहाँ स्थापित की गई है - उदयपुर मे </span></li>
<li><span style="font-size: small;">प्रदेश मे सहकारी संस्थाओं को और मजबूत करने के लिए कोनसी कमेटी की सिफारिशों को लागू किया गया है - वेधेनाथ कमेटी </span></li>
<li><span style="font-size: small;">7 अक्टूबर 2009 को मुखे मंत्री अशोक गहलोत ने राज्य की प्रत्येक ग्राम पंचयत मे कोनसा सुचना प्रोधोगिकी केंद्र खोलने की घोषणा की गई है - राजीव गाँधी आई टी केंद्र </span></li>
<li><span style="font-size: small;">राज्य मे देश क़ा पहला वेस्ट गेस पर आधारित पॉवर प्लांट कोनसे स्थान पर लगेगा - ब्यावर मे लगेगा तथा इसकी लागत 400 करोड़ रु- होगी </span></li>
<li><span style="font-size: small;">सितम्बर 2009 मे दो दिवसीय फिंगर प्रिंट विशेषज्ञों क़ा सम्मलेन राज्य मे कोनसे सहर मे संपन्न हुआ - जयपुर </span></li>
<li><span style="font-size: small;">19 सितम्बर 2009 को वरिस्थ आई ए एस अधिकारी एस एन थानवी क़ा निधन हो गया वे राज्य के कोनसे प्रमुख पद पर आसीन थे - प्रमुख गृह सचीव, वे जोधपुर जिले से सम्बंधित थे </span></li>
</ul>Vinod Bhanahttp://www.blogger.com/profile/08200806326936994849noreply@blogger.com0tag:blogger.com,1999:blog-836167197628339282.post-43168406666889125382010-09-02T06:58:00.000-07:002010-09-03T10:00:44.831-07:00Component of Bacterial Cell<span style="background-color: lime;">Component of Bacterial Cell</span><br />
A bacterial cell is made of a cell envelope, cytopalsm nucleoid, plasmid, inclustion bodies, pilli and fimbriae<br />
<br />
<div class="separator" style="clear: both; text-align: center;"><a href="https://blogger.googleusercontent.com/img/b/R29vZ2xl/AVvXsEin4CQTyuG99p_SQNmk9l7rBa8_1L2EzwJE2uRRIKRTkiUnbnNANPbm-IUorYW14zFs_eQgf5nXVfiCsIlOwCujP97Cebs6TwSjwUbSfsqPyFYjcnWOFXH-RX5eA6jyNmHbxS444XC9JQDT/s1600/bacterialcell.jpg" imageanchor="1" style="margin-left: 1em; margin-right: 1em;"><img border="0" ox="true" src="https://blogger.googleusercontent.com/img/b/R29vZ2xl/AVvXsEin4CQTyuG99p_SQNmk9l7rBa8_1L2EzwJE2uRRIKRTkiUnbnNANPbm-IUorYW14zFs_eQgf5nXVfiCsIlOwCujP97Cebs6TwSjwUbSfsqPyFYjcnWOFXH-RX5eA6jyNmHbxS444XC9JQDT/s320/bacterialcell.jpg" /></a></div><span style="background-color: yellow;">A- Cell Envelope</span> - It is covering over protoplast of a bacterial cell. Cell envelop has three part - 1- Mucilage 2- cell wal 3- palsmalema<br />
<br />
1- <span style="background-color: magenta;">Mucilage sheath</span> (Glycocalyx) - On the out side cell is coverd by mucilage of non cellulosic polysccherides.Thick layer of Mucilage (more than 0.2µm) is called cpsule. A loos sheath of mucilage called slime layer. Mucilage protect the cell against desiccation, toxins, phagocytes, and viruses. Mucilage also possesses ion exchange capacity in the inner layer.<br />
<br />
2-<span style="background-color: magenta;"> Cell Wall</span> - Cell wall is elastic porous and freely permeable to solutes less than 10,000 daltons. Cell wall of G+ Bacteia is smooth and wavy in Gram - Bacteria. The Cell wall contain peptidoglycan, diaaminopimelic acid, lipid and protein. Peptidoglycan forms several layers in the wall of Gram +ve Bacteria and a single layer in the wall of Gram -ve bacteriya, Gram + Bact. cell wall has N-Acetyl Glucosamine (NAG) and N-Acetyl Muremic (NAM) Acid. <br />
The wall of Gram +ve Bacteria contain theoic acid, which act as recepter sites and surface antigen. the inner wall layer of Gram (-) Bacteria has peptidoglycan while the outer one has lipopolysacherides, proteins and phopsholipids. Periplsmic space occurs between plsma membrane and cell wall.<br />
<br />
<div class="separator" style="clear: both; text-align: center;"><a href="https://blogger.googleusercontent.com/img/b/R29vZ2xl/AVvXsEixzqLaeKLJss7xBV5cJG8J2fLDPNiyF3CeL0OG8XozabKmufigD4UVLXsR6-2vqOPe75lI1E12uOviqtsj1aydPEBg7mudHZgbY-izK8mQo8VEjmFIMFcq-KRuRqhnxjYlvNBk6Yq_urYZ/s1600/GramPosCellEnvelope.gif" imageanchor="1" style="margin-left: 1em; margin-right: 1em;"><img border="0" ox="true" src="https://blogger.googleusercontent.com/img/b/R29vZ2xl/AVvXsEixzqLaeKLJss7xBV5cJG8J2fLDPNiyF3CeL0OG8XozabKmufigD4UVLXsR6-2vqOPe75lI1E12uOviqtsj1aydPEBg7mudHZgbY-izK8mQo8VEjmFIMFcq-KRuRqhnxjYlvNBk6Yq_urYZ/s320/GramPosCellEnvelope.gif" /></a><a href="https://blogger.googleusercontent.com/img/b/R29vZ2xl/AVvXsEjCFYBR5mdLdw6wTmAX_nf-Oia0JxIHnh0vBTwABNzz39oJXDxTi7boKVxvG-WInmGcqEA_ZZV3hEWi7geJpJYElt8E0w6iXpcWQlkD_AnVWJos0s-gWavInrZQVMIiDXA5fw83sfgFy767/s1600/Gram-negative-wall-400.jpg" imageanchor="1" style="margin-left: 1em; margin-right: 1em;"><img border="0" ox="true" src="https://blogger.googleusercontent.com/img/b/R29vZ2xl/AVvXsEjCFYBR5mdLdw6wTmAX_nf-Oia0JxIHnh0vBTwABNzz39oJXDxTi7boKVxvG-WInmGcqEA_ZZV3hEWi7geJpJYElt8E0w6iXpcWQlkD_AnVWJos0s-gWavInrZQVMIiDXA5fw83sfgFy767/s320/Gram-negative-wall-400.jpg" /></a></div><br />
3- <span style="background-color: magenta;">Plasmalema (Plasma membren)</span> - It is thin selectively permeable membrane which forms the innermost component of cell envelop and outer covering of cytoplasm. palsma membrane has typical lipoprotein structure as visualised by fluid mosaic model. There is as lipid bilayer. The lipid bilare is stabilised by other pentacyclic sterols called hapanoids instead of cholesterol. <br />
Plasma membrane holds semifluid cytopalsmic content, separates them from surroundings serves as seletively peremeable barrier and having receptor molecules for detection and responding to chemicals in the surroundings. It contains Enzymes for respiration lipid synthesis, cell wall constituents and photosynthesis. Some riboseomes are also attched to it. Mesosome is an extension of plasmalemma.<br />
<br />
<br />
<span style="background-color: yellow;">B- Cytoplasm</span> - It ia granular crystallo - colloidal complex that fills the cell protoplast but excludes nucleoid. It has numerus organels in it-<br />
<br />
<span style="background-color: magenta;">1- Mesosomes</span> - A complex multilaminated membranous structure called mesosome is formed by ivagination of plasma membrane. It is of tho type - Septal and Lateral. Septal mesosome in in contact with nuceoid. It take part in separation of replicated nucleoinds and septum formation. Lateral or peripheral mesosome is not conncted with nucleoid. It is equivalent to mitochondrion and is called chondrioid. Respiratory enzymes occur over it as well as the plasma membrane.<br />
<br />
<span style="background-color: magenta;">2- Ribosomes</span> - They are 70S. Each ribosome has two subunits, 50S and 30S. Ribosome take part in protein synthesis. 4-8 ribosomes are often found attached to a single mRNA strand for formong copies of the same polypeptide. Ribosome aggregates are called polysomes or polyribosomes. Bacteria have two types of 70S ribosomes Fixed (aattache to palsma membrane ) and Free (matrix Ribosome). Fixd ribosome protiens form trasport to outside.<br />
<br />
<div class="separator" style="clear: both; text-align: center;"><a href="https://blogger.googleusercontent.com/img/b/R29vZ2xl/AVvXsEhDKc1-YjWshwERHyJ6dDwSv5AkKbmQr-qfKWJB_QGAjt-0aWV6HtKDw2PL-m2KiQbWDpuEYTUxDRqcMQ7sN22-tBsMyvJsz3uzUkQZy8cA6WLcG3ZjH5GhkuKQR0_kU59Cgav2Lve427WO/s1600/10_small_subunit.gif" imageanchor="1" style="margin-left: 1em; margin-right: 1em;"><img border="0" ox="true" src="https://blogger.googleusercontent.com/img/b/R29vZ2xl/AVvXsEhDKc1-YjWshwERHyJ6dDwSv5AkKbmQr-qfKWJB_QGAjt-0aWV6HtKDw2PL-m2KiQbWDpuEYTUxDRqcMQ7sN22-tBsMyvJsz3uzUkQZy8cA6WLcG3ZjH5GhkuKQR0_kU59Cgav2Lve427WO/s320/10_small_subunit.gif" /></a></div><br />
<span style="background-color: magenta;">3- Chrometophores</span> - the are pigment containnig complex of photoototrophic bacteria and cynobacteria. In cynobacteria (BGA) thylecoid occur in the outer part of cytoplasm called chromoplasm. They bear chlorophill a and carotinoid. Attached to thilecoids are minute granuls clled phycobilisome. The posses phycobilins. In green Bacteria Phtosynthetic pigments lie insid chrometophores calle chlosrosomes.<br />
<br />
<br />
<span style="background-color: yellow;">C- Nucleoid -DNA )</span> - It is folded singal cercular strand of DNA double helix which is also called genophore. prochromosomes or chromonema. DNA strand dis 250- 700 times the length of the cell. It is folded in a super coiled manner. with the help of non-histone protein or polyanines and RNA. Procaryotic DNA is called naked due to its non association with histone proteins and absence of nuclear envelope. Nucleoid lies directly inside the cytoplasm. It is however not free. Nucleoid is in contect with cell membrane ither directly or through mesosomes.<br />
<br />
<br />
<span style="background-color: yellow;">D- Plasmid</span> - The additional or extra chromosomal small rings of DNA having a few useful but not vital genes. e.g. F-Factor (Fertility Factor), Nif -Factor (Nitrogen fixing Gene) R-Facter (resistance Facter).AT times Plasmid associate temporarily with nucleoid. They are called apiosomes. Plsmid have these days become an importent tool in genetic engineerring as vectors of genes.<br />
<br />
<br />
<span style="background-color: yellow;">E- Inclution Bodies</span> - They are non living structures present inside the cytoplasm.<br />
<br />
<span style="background-color: magenta;">1- Gas Vacuoles</span> - The occur in cynobacteria, purpal bacteria, green bacteria and afew other planktonic bacteria. A gas vocule is made up of a large number of minute hexagonal, hollow and cylindrical gas vesicals each surrounded by a ribbed non-lipid protein membrane. The protein membrane is permeable to atmospheric gases but impermiable to water.<br />
<br />
<span style="background-color: magenta;">2- Inorganic Inclusions-</span> Granules) Granules of inorganic substance occure in many bacteria e.g. volutin granules sulpher granules, iron granules, megnatic granules. These granules are also called metachromatic granuls becaause of their ability to pick up differnt colours with basic dyes<br />
<br />
<span style="background-color: magenta;">3- Food Reserve-</span> Cynobacteria posses three types of food reserve - α granules, β-granules, and proteins. Commen food reserve of bacteria is glycosen. Natural fats are absent. Instead many bacteria posses <strong>poly β </strong>hydroxybutyrate or PHB granules. A biodigradeble plastics can be prepared from them. Proeins occure as protein granules.<br />
<br />
<br />
<div class="separator" style="clear: both; text-align: center;"></div><div class="separator" style="clear: both; text-align: center;"></div><span style="background-color: yellow;">F- Flagila</span> - They occur in some bacteria. bacterial flagilla are unistranded equivalent to a single microtubular fiber. Diameter is about 20nm. Baterial flegillum has three parts - Basal Body, Hook and filament. Basal Body is Rod Like Basal part of flegillum which occurs in cell envelop and is attachet to it by means of two pairs of rings in gram -ve bacteria and only one pair of rings in gram +ve bacteria. Hook is curved and thickest part. It is made up of protein units different from those of filament. Filament is long tubuler structure of flagillum. Its wall is formed of 3-5 spiral rows of globular protein molecules called flagillin. Bacterial flagillum rotates by 360 digree that brings about bacword pushing of water.<br />
<br />
<div class="separator" style="clear: both; text-align: center;"><a href="https://blogger.googleusercontent.com/img/b/R29vZ2xl/AVvXsEhxyiqAz4i8RUcucUhNumeXG_wia39cN551bm4580rfPYhDsBp6QT2eqtMUbg2Ug_lUQ7sxRKdjm1D1NUoXBqBLvCBGma7qamTXIBNYbDsmQAQxNdaPtcsQMcFAcYBsd1k46Ou2tq9DdJV0/s1600/N.gif" imageanchor="1" style="margin-left: 1em; margin-right: 1em;"><img border="0" ox="true" src="https://blogger.googleusercontent.com/img/b/R29vZ2xl/AVvXsEhxyiqAz4i8RUcucUhNumeXG_wia39cN551bm4580rfPYhDsBp6QT2eqtMUbg2Ug_lUQ7sxRKdjm1D1NUoXBqBLvCBGma7qamTXIBNYbDsmQAQxNdaPtcsQMcFAcYBsd1k46Ou2tq9DdJV0/s320/N.gif" /></a></div><br />
<br />
<span style="background-color: yellow;">G- Pili -</span> They are 1-4 long holow tubes which are also called sex pili or F pilli because the take part in conjugation. Pili develop in Gram -ve bacteria Similar structures present in Gram +ve bacteria called Spinae. Pili are made of a distinct proteint calle pilin.<br />
<br />
<br />
<div class="separator" style="clear: both; text-align: center;"><a href="https://blogger.googleusercontent.com/img/b/R29vZ2xl/AVvXsEhmWSJXmVVNOlTN4E-zleEplBV5xP2LqMKzFLDQ9aBuvs82xlj4E_C4bdtf9Q4KfzWO8NkXxHKrKonlIEmx98PJSd_JOnAqFU1NitCed6IoE8OA65va_xvlb6WiLGcVxAM0RYPATxKaV2DH/s1600/pili-and-fimbriae.jpg" imageanchor="1" style="margin-left: 1em; margin-right: 1em;"><img border="0" ox="true" src="https://blogger.googleusercontent.com/img/b/R29vZ2xl/AVvXsEhmWSJXmVVNOlTN4E-zleEplBV5xP2LqMKzFLDQ9aBuvs82xlj4E_C4bdtf9Q4KfzWO8NkXxHKrKonlIEmx98PJSd_JOnAqFU1NitCed6IoE8OA65va_xvlb6WiLGcVxAM0RYPATxKaV2DH/s320/pili-and-fimbriae.jpg" /></a></div><span style="background-color: yellow;">H- Fimbriare</span>- The are numerious, small fibors outgrowths from the cell surface which reach a length of 0.1-1.5 μ m. Fimbriae help in attching bacteria to solid surface. Vinod Bhanahttp://www.blogger.com/profile/08200806326936994849noreply@blogger.com0tag:blogger.com,1999:blog-836167197628339282.post-33956608693220406142010-09-01T09:12:00.000-07:002010-09-01T11:31:17.805-07:00Biology Quize part 1<span style="font-size: large;">जीव विज्ञानं प्रश्न भाग 1 </span><br />
<ol><li><span style="font-size: small;">पादप कोशिकाओ के चारो तरफ निर्जीव पदार्थों की बनी एक मोटी परत पाई जाती है जिसे कहते है - कोशिका भित्ति </span></li>
<li><span style="font-size: small;">कोशिका भित्ति की मध्य पत्लिका किसकी बनी होती है - Calcium Pactet and Magnishium Pactet</span></li>
<li><span style="font-size: small;">कोशिका भित्ति की मध्य पटलिका क्या कार्य करती है - अंतरा कोशिकिय सीमेंट क़ा कार्य करती है </span></li>
<li><span style="font-size: small;">जीव धारियों की कोशिकाओ मे होने वाली समस्त रासायनिक क्रियाओ को क्या कहा जाता है - उपापचयी क्रियाये </span></li>
<li><span style="font-size: small;">सिग्मोइड खांच पाई जाती है - रेडियस अल्ना </span></li>
<li><span style="font-size: small;">मच्छर की प्यूपा को कहते है - टंबलर </span></li>
<li><span style="font-size: small;">आर्थोपोडा के जन्तुओ मे उत्सर्जन होता है - मेल्पिघी नालिकाओ, ग्रीन ग्रंथियों, व् कोक्साल ग्रंथियों द्वारा होता है </span></li>
<li><span style="font-size: small;">पुस्तक फुफुस पाए जाते है - एरेक्निडा </span></li>
<li><span style="font-size: small;">मिलिपेड, और सेंटीपेड़ निम्न मे से किस वर्ग के अंतर्गत आते है - मिरियापोडा </span></li>
<li><span style="font-size: small;">एक कीट को क्रस्टेशिया से किस लक्ष्ण द्वारा प्रथक कर सकते है - उपांगो की संख्या के आधार पर </span></li>
<li><span style="font-size: small;">संधि युक्त उपांग किस वर्ग क़ा लक्ष्ण है - अर्थ्रोपोडा के जन्तुओ क़ा </span></li>
<li><span style="font-size: small;">शरीर क़ा वह अंग जो शराब के अत्येधिक सेवन से प्रभावित होता है - लीवर ( यकृत )</span></li>
<li><span style="font-size: small;">एरेक्निडा के जन्तुओ मे कोनसी संरचनाये अनुपस्थित होती है - मेंडीबल, संयुक्त नेत्र तथा एंटीने </span></li>
<li><span style="font-size: small;">मकड़ी मे टांगो की संख्या होती हे - चार जोड़ी </span></li>
<li><span style="font-size: small;">निम्न लिखित मे से कोनसा जंतु 'जीवित जीवाश्म' क़ा उदहारण हे -लिम्युलस</span></li>
<li><span style="font-size: small;">निम्न मे से कोनसा जंतु एप्टेरगोटा के अंतर्गत आता हे -लेपिस्मा </span></li>
<li><span style="font-size: small;">सामाजिक कीट होता हे -एपीस </span></li>
<li><span style="font-size: small;">नोप्लियस लार्वा किस वर्ग के जंतु है - कृस्ठेशिया </span></li>
<li><span style="font-size: small;">शरीर मे ओक्सिजन की पूर्ति किसके माध्यम से होती है - लाल रक्त कणिकाओ से </span></li>
<li><span style="font-size: small;">मास्ट कोशिकाओ द्वारा स्त्रवन किया जाता है - हिस्टेमीन और सेरोटोनिन </span></li>
<li><span style="font-size: small;">दुर्घंध या सुघंध की पहचान मस्तिस्क मे कोनसा भाग करता है - टेम्पोरल वल्लकूट </span></li>
<li><span style="font-size: small;">आनुवंशिकता को अनुवांशिक विज्ञानं या अनुवांशिकी नाम किसने दिया - W . Betson </span></li>
<li><span style="font-size: small;">बाई वालविया मोलस्क "पेक्टेन" क़ा सामान्य नाम है - स्केलोप </span></li>
<li><span style="font-size: small;">सबसे बड़ा अकशेरुकी जंतु होता है - देत्ये (Gaint ) स्किविड </span></li>
<li><span style="font-size: small;">मोलस्का के जंतुओं मे पाए जाने वाले मेंटल क़ा कार्य है - आन्तरिक अंगो की रक्षा, कवच क़ा स्त्रवन, स्वशन मे सहायक </span></li>
<li><span style="font-size: small;">मोलस्का के जंतुओं की उत्सर्जी रचनाये कहलाती है - मेटा नेफ्रिडिया </span></li>
<li><span style="font-size: small;">स्वछ जलिए सीप के जीवन चक्र मे कोंस लार्वा पाया जाता है - ग्लोकी डियम </span></li>
<li><span style="font-size: small;">जीभ क़ा कोनसा भाग कडवे स्वाद क़ा अनुभव करता है - पश्च अंत </span></li>
<li><span style="font-size: small;">लेंगेर्हेंस द्वीप की कोशिकाओं के खराब होने से क्या होता है - उच्च रक्त, और उच्च मूत्र ग्लूकोस स्तर </span></li>
<li><span style="font-size: small;">जिस वेक्ति क़ा एबी रुधिर वर्ग है उसे कभी कभी सार्वत्रिक ग्राही भी कहते है क्योंकि उनमे एंटी बोडी नहीं होती है </span></li>
<li><span style="font-size: small;">मुलेरियन नलिका क़ा सम्बन्ध है - अंड वाहिनी से </span></li>
<li><span style="font-size: small;">कृत्रिम गुर्दा किस सिद्धन्त पर काम करता है - अपोहन </span> </li>
</ol>Vinod Bhanahttp://www.blogger.com/profile/08200806326936994849noreply@blogger.com0tag:blogger.com,1999:blog-836167197628339282.post-37494956293099242962010-09-01T06:02:00.000-07:002010-09-05T09:35:54.813-07:00The Cell<span style="color: red; font-size: large;">कोशिका </span><br />
<span style="color: blue;">कोशिका - </span><span style="font-size: small;"><span style="color: blue;">जीवन क़ा आधार</span> </span><br />
<span style="font-size: small;">सभी जीव कोशिकाओं से बने होते है, कुछ जीव अपना जीवन एक ही कोशिका मे पूरा करते है इन्हें युनिसेलुलर कहा जाता है जैसे - Amoeba, Chlamydomonaas | कुछ जीवों मे कोशिका कोशिका विभाजन करती है और दो या दो से अधिक कोशिकाओ क़ा निर्माण करती है | मनुस्ये क़ा शरीर अनेको कोशिकाओ क़ा बना होता है, सभी कोशिकाए मे एक समान आनुवंशिक पदार्थ होता है तथा सभी कोशिकाओ क़ा विकास पूर्व स्थित कोशिकाओ से होता है | प्रत्येक कोशिका का निर्माण सजीव द्रव्य जीव द्रव्य से हुआ है। अत कोशिका जीवन की मूलभूत इकाई होती है |</span><br />
<span style="font-size: small;"><strong>मनुष्य के शरीर मे 260 प्रकार की कोशिकाए होती है</strong> ये मिलकर उत्तक क़ा निर्माण करती है, तथा उत्तक से अंग क़ा निर्माण होता है, अंग मिलकर शरीर की सरचना क़ा निर्माण करते है |</span><br />
<br />
<span style="color: magenta; font-size: small;">कोशिका की खोज -</span><br />
<span style="font-size: small;"><strong>कोशिका की खोज रोबेर्ट हूक ने 1665 मे</strong> की थी, उसने कोर्क के पतले काट मे माइक्रोस्कोप से खाली बक्शे नुमा भाग को देखा तथा इन्हें <strong>सेलुला </strong>नाम दिया जो बाद मे <strong>सेल </strong>के नाम से जाने लगा |</span><br />
<span style="font-size: small;">रोबेर्ट हूक से <strong><em>पहले </em></strong> Jan Seammerdam (1658) <em><strong> </strong></em>मे मेंडक की लाल रक्त कणिकाओ को देखा था | इसके बाद 1661 मे मार्सेलो मेल्पिन्घी ने पोधो के टुकडो मे अति सूक्ष्म संरचनाओ को देखा| 1683 मे लुवेन्हूक ने सूक्ष्म दर्शी की सहायता से </span><span style="font-size: small;">मुक्त कोशिकाओं क़ा पता लगाया, उसने बक्टेरिया, प्रोटोजोआ, लाल रक्त कणिकाए, शुक्राणु आदि को देखा </span><br />
<span style="font-size: small;">1682 मे Nehmiah ग्रेव ने पाया की पादप उत्तक सूक्ष्म आन्तरिक संरचनाओ या कोशिका से बने होते है तो उसने कोशिका अवधारणा क़ा प्रतिपादन किया |लामार्क ने निष्कर्ष निकाला की सभी जीव कोशिका से बने होते है | </span><br />
<span style="font-size: small;">Corti 1772 ने सर्वप्रथम जीवित/ जीवन के पदार्थ को देखा और Dujardin 1836 ने इसे सार्कोड़ नाम दिया|</span><br />
<span style="font-size: small;">1831 Robert Brown ने ऑर्किड के जड़ो मे नुक्लियस की खोज की |</span><br />
<span style="font-size: small;">Von Mohl (1838, 1846) and Purkinje (1839) मे जेली के सामान पदार्थ या सार्कोड़ को प्रोटोप्लाज्म नाम दिया |</span><br />
<br />
<span style="font-size: small;"><span style="color: #741b47;">कोशिका सिद्धांत -</span> </span><br />
<span style="font-size: small;">1838 मे स्लाएडेन ने पाया की सभी पादप ओशिकाओ की सरचना समान है, दूसरी तरफ स्वान (1839 ) ने स्वतंत्र रूप से कार्य करते हुए पाया की जंतु कोशिकाओ मे कोशिका भित्ति नहीं होती है जबकि एह एक दुसरे से सामान है , इसी आधार पर उसने कोशिका की परिकल्पना ( सेल हिपोथिसिस ) दि की पोधो और जन्तुओ क़ा शरीर कोशिका से बना होता है |</span><br />
<span style="font-size: small;">schleiden और Schwann ( 1839 ) मे Cell theory दि, Negeli 1846 ने बताया की कोशिकाओ मे नुक्लियस युक्त प्रोटोपलाज्म होता है , </span><br />
<span style="font-size: small;"><span style="color: purple;">कोशिका सिद्धांत है -</span> </span><br />
<span style="font-size: small;">1 . जीवित प्राणि कोशिका और उनके उत्पाद के बने होते हैं, एह कोशिका की संक्या पर निर्भर करता है की, वह एक कोशिकिये प्राणी है, या बहु कोशिकिये प्राणी है |</span><br />
<span style="font-size: small;">२- कोशिका प्रोटो प्लास्ट से बनी होती है जिसमे नुक्लियस पाया जाता है |</span><br />
<span style="font-size: small;">3 - सभी कोशिकाए संरचना और क्रियाओ मे सामान होती है |</span><br />
<span style="font-size: small;">4 - जीवित प्राणियों मे कोशिका एक सरचनात्मक इकाई है |</span><br />
<span style="font-size: small;">5 - कोशिका जीवो मे एक कार्यात्मक इकाई है अत एक जीव की क्रियात्मकता सम्पूर्ण सरीर की कोसिकाओ की क्रियात्मकता क़ा योग होता है |</span><br />
<br />
<span style="font-size: small;">कोशिका सिद्धांत के अपवाद - </span><br />
<span style="font-size: small;">a - वायरस मे कोशिका सरचना नहीं होती है,</span><br />
<span style="font-size: small;">b - मोनेरा और प्रोटिस्टा </span>Vinod Bhanahttp://www.blogger.com/profile/08200806326936994849noreply@blogger.com0tag:blogger.com,1999:blog-836167197628339282.post-36832800060792657222010-08-31T13:03:00.000-07:002010-09-05T07:42:05.853-07:00Current Affairs समसामयकी 2009-10<span style="background-color: yellow; color: magenta; font-size: large;">Current Affairs 2009-10 समसामयकी</span><br />
<ol><li><span style="background-color: white; color: black; font-size: large;"><span style="font-size: small;">17 जुलाई 2010 को केंद्र सरकार ने जवाहर लाल नेहरु सोलर मिशन के तहत <span style="background-color: #9fc5e8;">राजस्थान</span> मे कितने मेघा वाट की सर उर्जा उत्पादन परियोजनाओ की स्वीकृति दि है - 66 </span></span></li>
<li><span style="font-size: small;">17 जुलाई 2010 को केंद्र सरकार ने जवाहर लाल नेहरु सोलर मिशन के तहत <span style="background-color: yellow;">भारत </span> मे कितने मेघा वाट की सर उर्जा उत्पादन परियोजनाओ की स्वीकृति दि है- 84 </span></li>
<li><span style="font-size: small;">15 जुलाई 2010 को सुप्रीम कोर्ट ने राज्ये से जुड़े अपने एक मत्वपूर्ण फेसले मे महिलाओ को शहरी निकाय चुनावो मे 50 प्रतिशत आरक्षण पर रोक लगते हुए कितने प्रतिशत आरक्षण देने क़ा आदेश दिया - 33 प्रतिशत </span></li>
<li><span style="font-size: small;">14 जुलाई 2010 से प्रदेश मे निजी क्षेत्र की सबसे बड़ी सर उर्जा परियोजन राज्ये के किस जिले से प्रारम्भ की गई है - नागोर </span></li>
<li><span style="font-size: small;">14 जुलाई 2010 से प्रदेश मे शुरू हुई निजी क्षेत्र की सबसे बड़ी उर्जा परियोजन की किस कंपनी ने शुरुआत की है - रिलाइंस </span></li>
<li><span style="font-size: small;">राज्ये मे राजस्थान व्यवसिक शिक्षा एवं प्रशिक्षण परिषद् (IIT) की स्थापना कहाँ की जाएगी - जोधपुर</span></li>
<li><span style="font-size: small;">वर्ष 2011 क़ा प्रवाशी भारतीय सम्मलेन (NRI) कहाँ होगा - नई दिल्ली </span></li>
<li><span style="font-size: small;">वर्ष 2012 क़ा प्रवाशी भारतीय सम्मलेन कहाँ होगा - जयपुर मे </span></li>
<li><span style="font-size: small;">राज्ये मे लागु हो रहे दो जिलों मे पुलिस कमिश्नर प्रणाली मे पुलिस आयुक्त को 32 विभिन्न कानूनों की शक्तियां जून 2010 मे प्रदान की गई है, राज्य मे किन दो जिलों मे यह प्रणाली सर्व प्रथम लागू होगी - जयपुर जोधपुर </span></li>
<li><span style="font-size: small;">राजस्थान पर्यटन विकास निगम की सही रेल " पेलेस ऑन व्हील " दुनिया की कोनसी सर्वश्रेस्टलक्जरी ट्रेन घोषित की गई है - 4 वि </span></li>
<li><span style="font-size: small;">मोसम क़ा सालाना डाटा संगृहीत कर उनके अध्यन के लिय देश के पाँच शहरों मे "मेंटीनेंस हब स्टेशन " स्थापित किये जायेंगे इसके तहत राजस्थान मे भी एक स्टेशन स्थापित होगा राज्य के किस शहर मे स्थापित किये जायेंगे - जयपुर </span></li>
<li><span style="font-size: small;">12 जून 2010 को राजस्थान के अरविन्द सिंघल उपध्येक्ष , व् के के. शर्मा संयुक्त सचिव किस भारतीय खेल संघ के चुने गए है - बेडमिन्टन</span></li>
<li><span style="font-size: small;">छाबड़ा ताप बिजली घर की 250 मेघा वाट क्षमता की पहली इकाई मे व्यवसाइक उत्पादन कब से शुरू कर दिया गया है - 10 जून 2010 से </span></li>
<li><span style="font-size: small;">जून 2010 मे बिना चीरे की ओपरेसन की पद्धति नेचुरल ओरिफीस ट्रांस्लुमेनेल एंडोस्कोपिक सर्जरी (नोट्स ) के जरिये ओपरेसन करने वाला उत्तर भारत क़ा पहला शहर है - जयपुर</span></li>
<li><span style="font-size: small;">जून 2010 मे केंद्र सरकार ने राज्य मे नव स्थापित आई. आई. एम् . क़ा अध्यक्ष (उदयपुर) किसे नियूक्त किया है - के. सी. बिडला |</span></li>
<li><span style="font-size: small;">आई. आई. एम्. उदयपुर के नव नियूक्त अध्यक्ष के. सी. बिडला उद्योग जगत मे किसके अध्यक्ष है -हिन्दुस्थान मोटर्स </span></li>
<li><span style="font-size: small;">10 जून 2010 को राज्ये सरकार ने एक अधिनियम को मंजूरी दि है जिसमे वृद्ध माता पिता की सेवा नहीं करने वाली संतानों पर सजा व् आर्थिक दंड क़ा प्रावधान रखा गया है, इसमें कितने रुपये तक जुरमाना लगाया जा सकता है - 5000 रुपये </span></li>
<li><span style="font-size: small;">9 जून 2010 को केंद्रीय रेल व् राज्ये मंत्री व् मुख्य मंत्री के बीच जयपुर मे हुई एक बैठक मे रेलवे की डेडिकेटेड फ्रंट कोरिडोर योजना मे कितना धन निवेश की योजना है - 7000 करोड़ रुपये </span></li>
<li><span style="font-size: small;">रेलवे की इस महत्त्व पूर्ण योजना मे कितने जंक्शन होंगे जहाँ माल लाधा व् उतारा जायेगा - 2 ( फुलेरा और मारवाड़ )</span></li>
<li><span style="font-size: small;">5 जून 2010 को केंद्रीय मंत्री प्रकाश जायसवाल व् राज्ये के मुख्य मंत्री अशोक गहलोत ने कोनसे ताप विद्युत गृह क़ा उदघाट्न किया - बरसिंगसर ताप विद्युत् परियोजना |</span></li>
<li><span style="font-size: small;">30 मई 2009 को मुख्य मंत्री अशोक गहलोत ने होंडा उत्पादन इकाई क़ा उदघाटन कहाँ किया - अलवर </span></li>
<li><span style="font-size: small;">इसी वर्ष 2010 मे प्रदेश के कितने जिलों मे राष्टीय सहकारी विकास निगम के सहयोग मे समग्र सहकारी विकास परियोजना लागू होगी - 11 जिलो मे </span></li>
<li><span style="font-size: small;">केंद्र सरकार द्वारा प्रस्तावित दिल्ली मुंबई इंडस्ट्रियल कोरिडोर क़ा 40 प्रतिशत हिस्सा राजस्थान होकर गुजरेगा इसे देखते हुए रिको ने राज्य मे कितने और नए ओद्योगिक क्षेत्र बनाने की तेयारी कर ली है - 2 ( भीलवाडा, जोधपुर )</span></li>
<li><span style="font-size: small;">एम्स. दिल्ली की तर्ज पर बनने वाला अस्पताल राज्ये मे कहाँ स्थापित होगा - जोधपुर </span></li>
<li><span style="font-size: small;">मई 2010 मे राज्य मे और कितनी सहकारी समितियों के गठन को मंजूरी मिल गई है - 43 यह निम्न जिलों मे बनेगी ( जोधपुर, सीकर, बाड़मेर ) इस तरह बाड़मेर मे सबसे ज्यादा सहकारी समितिया हो जाएँगी, इन सहकारी समितियों क़ा गठन 33 वर्ष पूर्व हुआ था |</span></li>
<li><span style="font-size: small;">मई 2010 मे राज्य सरकार ने कालीसिंध नदी पर किस जिले मे 2 और सुपर क्रिटिकल थर्मल इकाइयों की स्थापना करने की सेधान्तिक मंजूरी दे दि गई है - झालावाड </span></li>
<li><span style="font-size: small;">10 मई 2010 को "मुख्य मंत्री अन्न सुरक्षा योजना" राज्य के किस जिले से प्रारम्भ हुई - टोंक - इसमें प्रतेक बी. पि. एल. और स्टेट बी. पि. एल. परिवार को 2 रु. प्रति किलो अनाज उपलब्ध होगा |</span></li>
<li><span style="font-size: small;">हाल ही मे गठित राजस्थान विधिक सेवा प्राधिकरण क़ा अध्येक्ष किसे बनाया गया है - प्रकाश चंद टाटिया |</span></li>
<li><span style="font-size: small;">ग्लोबल वार्मिंग और बदलते पर्यावरण से निपटने के लिए राजस्थान पर्यावरण निति बनाने वाला देश क़ा कोनसा राज्य बना - पहला </span></li>
<li><span style="font-size: small;">राज्य मे पहली बार सरकारी स्तर पर गेस की खोज कहाँ की जा रही है - बीकानेर </span></li>
<li><span style="font-size: small;">15 मई 2010 को भेरोसिंह शेखावत क़ा निधन हो गया वे देश के किस सर्वोच्च पद पर आसीन रह चुके है - उप रास्ट्रपति</span></li>
<li><span style="font-size: small;">राज्य मे " अन्तोदय योजन के जनक " कहलाते है - भेरोसिंह शेखावत </span></li>
<li><span style="font-size: small;">9 मई 2010 को जैन स्वेताम्बर तेरापंथ धर्म संघ के 10 वे आचार्य महाप्राज्ञे क़ा निधन हो गया इनका महाप्रयाण किस स्थान पर हुआ - सरदार शहर |</span></li>
<li><span style="font-size: small;">26 अप्रेल 2010 को राजस्थान की राज्येपाल प्रभा राव क़ा निधन हो गया, पद पर रहते हुए इ कोनसी राज्यपाल थी जिनका निधन हुआ - चोथी यह महा राष्ट्र की निवासी थी</span></li>
<li><span style="font-size: small;">नीजी क्षेत्र मे कितने रु. मासिक तनख्वा वालों की इ. एस. आई. क़ा लाभ प्राप्त होगा - 15000 </span></li>
<li><span style="font-size: small;">20 अप्रेल 2010 को कृष्ण लाल वाल्मीकि क़ा निधन हो गया वे कोंन थे - सांसद राज्य सभा |</span></li>
<li><span style="font-size: small;">विश्व क़ा पहला होम्यो पेथिक विश्वविध्यालय किस राज्य मे खोला जाएगा - राजस्थान </span></li>
<li><span style="font-size: small;">Birla Faundetion क़ा वर्ष 2009 क़ा 19 वां बिहारी पुरस्कार किसे प्रदान किया गया - हेमंत शेष </span></li>
<li><span style="font-size: small;">सत्र 2010 - 11 से राज्य मे कोंन कोंन से कक्षाओं मे NCERT पठेक्रम लागू कर दिया गया - 9 वि और 11 वि </span></li>
<li><span style="font-size: small;">25 अप्रेल 2010 को भारतीय प्राइवेट ट्रांसपोर्ट मजदूर महासंघ क़ा पहला अखिल भारतीय अधिवेशन कहाँ संपन्न हुआ - जयपुर </span></li>
<li><span style="font-size: small;">३० मार्च 2010 मे भारतीय रिजर्व बेंक ने प्रदेश के कितने सहकारी बेंकों को बेंकिंग लाइसेंस जारी किया है - 15 </span></li>
<li><span style="font-size: small;">राज्य मे अभिलेखागार मुजियम के लिए सरकार ने मार्च 2010 मे 1 . 13 करोड़ की राशि स्वीकृत कर दी है यह अभिलेखागार राज्ये के किस जिला मुख्यालय पर बनेगा - बीकानेर </span></li>
<li><span style="font-size: small;">17 मार्च 2010 को केंद्रीय संचार एवं सुचना प्रोधोगिकी विभाग ने राज्य के कितने जिलों को इ जिले घोषित किये है - २ अजमेर जोधपुर </span></li>
<li><span style="font-size: small;">14 मार्च 2010 को केंद्र सरकार ने राज्य मे किस योजन क़ा सुभारम्भ किया है - राजीव गाँधी गेस योजना (RGGLV) लक्ष्मन्गढ़ </span></li>
<li><span style="font-size: small;">26 फरवरी 2010 को RPSC क़ा अध्यक्ष बनाया गया है - महेंद्र लाल कुमावत </span></li>
<li><span style="font-size: small;">6 से 8 मार्च 2010 तक राज्य मे पहली बार बहरूपिया सम्मलेन कहाँ पर आयोजित किया गया - जयपुर </span></li>
<li><span style="font-size: small;">कर्नल जेम्स टोड पुरस्कार - सर गुलाम नून एवं सर कालीन लुकास </span></li>
<li><span style="font-size: small;">हल्दी घाटी पुरस्कार - संजीव श्रीवास्तव </span></li>
<li><span style="font-size: small;">हकीम खान सुर सम्मान - नंदिता दास </span></li>
<li><span style="font-size: small;">महाराणा उदय सिंह पुरस्कार - डा. शेलेश नायक |</span> </li>
</ol>Vinod Bhanahttp://www.blogger.com/profile/08200806326936994849noreply@blogger.com0tag:blogger.com,1999:blog-836167197628339282.post-64219122395994963532010-08-31T02:23:00.000-07:002010-08-31T02:23:37.866-07:00PANCHAYATI RAJ<span style="font-size: large;"><span style="color: magenta;">पंचायती राज</span> </span><br />
<ul><li><span style="font-size: small;">पंचायती राज की शुरुआत २ अक्टूबर 1959 को भारत के प्रधान मंत्री पंडित जवाहरलालनेहरू ने नागोर जिले में की |</span></li>
<li><span style="font-size: small;">भारत को विश्व का सबसे बड़ा लोकतंत्र कहा जाता है |</span></li>
<li><span style="font-size: small;">पंचायती राज मंत्रालय का गठन - 2004 में किया गया |</span></li>
<li><span style="font-size: small;">सर्वप्रथम 1928 में बीकानेर रियासत ने पंचायत कानून बनाया |</span></li>
<li><span style="font-size: small;">1938 में जयपुर ने 1943 में सिरोही ने, 1944 में भरतपुर ने तथा 1949 में करोली रियासत ने पंचायती कानून पारित किये |</span></li>
<li><span style="font-size: small;">नगरीय एवं स्थानीय शाशन को स्थान दिया गया है - संविधान की सातवी अनुसूची (अनुच्छेद 246 ) </span></li>
<li><span style="font-size: small;">सामुदिक विकास कार्यक्रम लागु किया गया - 2 अक्तूबर 1952 </span></li>
<li><span style="font-size: small;">सामुदायिक </span></li>
</ul>Vinod Bhanahttp://www.blogger.com/profile/08200806326936994849noreply@blogger.com0tag:blogger.com,1999:blog-836167197628339282.post-49480516502277516272010-08-30T12:45:00.000-07:002010-08-31T02:22:14.380-07:00G K on your mobile<span style="color: red; font-size: large;">अगर आप अपने मोबाइल पर फ्री मे G.K, Question Answer मंगवाना चाहते है तो अपने मोबाइल के Mesege Box मे टाइप करे </span><br />
<span style="color: blue; font-size: large;">ON RPSCPORTAL2010 या on rpscportal2010 और इसे 919870807070 पर भेज दे|</span><br />
<span style="color: magenta; font-size: large;">यह सेवा बिलकुल फ्री है|</span><br />
<span style="color: magenta; font-size: xx-small;"><a href="http://www.rpscportal2010.blogspot.com/">http://www.rpscportal2010.blogspot.com/</a> published by VINOD BHANA</span>Vinod Bhanahttp://www.blogger.com/profile/08200806326936994849noreply@blogger.com0tag:blogger.com,1999:blog-836167197628339282.post-88816161000557975592010-08-30T04:24:00.000-07:002010-08-31T09:49:53.976-07:00RPSC IInd Grade Teacher/ RAS /RTS Exam Question<span style="background-color: black; color: white; font-size: large;">RPSC IInd Grade General Knowledge Questions</span><br />
<ol><li><br />
<div style="text-align: left;"><span style="background-color: white; color: black; font-size: small;">सर्वोदय क़ा अर्थ है - सबका उत्थान |</span></div></li>
<li><br />
<div style="text-align: left;"><span style="font-size: small;">ब्रिटिश साम्राज्यवाद के दोरान भारत क़ा अथिक अपवाह क़ा सिद्धांत किसने प्रस्तुत किया था - दादाभाई नारोजी |</span></div></li>
<li><br />
<div style="text-align: left;"><span style="font-size: small;">भारत में सबसे पुराना मजदूर संघटन - अखिल भारतीय मजदूर संघ कोंग्रेस</span></div></li>
<li><br />
<div style="text-align: left;"><span style="font-size: small;">1927 में ब्रुसेल्स में दलित राष्ट्रवादियो की कोंग्रेस में राष्ट्रीय कोंग्रेस की और से किसने भाग लिया था - पं जवाहर लाल नेहरु |</span></div></li>
<li><br />
<div style="text-align: left;"><span style="font-size: small;">आर्य समाज की स्थापना किसने की - स्वामी दयानंद सरस्वती ने |</span></div></li>
<li><br />
<div style="text-align: left;"><span style="font-size: small;">भारतीय राष्ट्रीय कोंग्रेस की पहली महिला अध्येक्ष - एनी बीसेंट |</span></div></li>
<li><br />
<div style="text-align: left;"><span style="font-size: small;">वेड शब्द क़ा अर्थ है - ज्ञान |</span></div></li>
<li><br />
<div style="text-align: left;"><span style="font-size: small;">आइना ए अकबरी के लेखक - अबुल फजल </span></div></li>
<li><br />
<div style="text-align: left;"><span style="font-size: small;">मध्य कालीन विजयनगर को आज कल कहते हे - हम्पी |</span></div></li>
<li><br />
<div style="text-align: left;"><span style="font-size: small;">कोंग्रेस छोड़ने के बाद सुभाष चन्द्र बॉस ने अपनी अलग पार्टी बनाई जिसका नाम था - फ़ोरवोर्ड ब्लाक |</span></div></li>
<li><br />
<div style="text-align: left;"><span style="font-size: small;">बल गंगाधर तिलक को लोकमान्य की उपाधि दी गई थी - होमरूल आन्दोलन के दौरान |</span></div></li>
<li><br />
<div style="text-align: left;"> <span style="font-size: small;">भारतीय राष्ट्रीय कोंग्रेस की स्थापना के समय कोण भारत क़ा वायसराय था -लोर्ड डफरिन |</span></div></li>
<li><br />
<div style="text-align: left;"><span style="font-size: small;">मेगस्थनीज किसका राजदूत था - सोल्युकस क़ा |</span></div></li>
<li><br />
<div style="text-align: left;"><span style="font-size: small;">एलोरा की गुफाये और मंदिर है - हिदू बोद्ध , और जैन |</span></div></li>
<li><br />
<div style="text-align: left;"><span style="font-size: small;">भारत की पहली महिला शाशक कोंन थी - रजिया सुल्तान |</span></div></li>
<li><br />
<div style="text-align: left;"><span style="font-size: small;">भारतीय नेपोलियन किसे कहा जाता है -समुद्र गुप्त को |</span></div></li>
<li><br />
<div style="text-align: left;"><span style="font-size: small;">पञ्च तंत्र के रचनाकार थे - विष्णु शर्मा |</span></div></li>
<li><br />
<div style="text-align: left;"><span style="font-size: small;">महाबलीपुरम के सात पगोडा किसके द्वारा संरक्षित कला के शक्षी है - पल्लवों |</span></div></li>
<li><br />
<div style="text-align: left;"><span style="font-size: small;">बुद्ध किस वंश से सम्बंधित थे - शाक्य | </span></div></li>
<li><br />
<div style="text-align: left;"><span style="font-size: small;">पल्लवों की राजधानी क़ा नाम क्या था - कांची |</span></div></li>
<li><br />
<div style="text-align: left;"><span style="font-size: small;">इलाहबाद स्तम्भ के शिलालेख में किसकी उपलब्धियां वर्णित है - समुद्रगुप्त |</span></div></li>
<li><br />
<div style="text-align: left;"><span style="font-size: small;">प्रसिद्द गुप्त संवत किस वर्ष शुरू किया गया - 319 इ |</span></div></li>
<li><br />
<div style="text-align: left;"><span style="font-size: small;">एलोरा में प्रशिद्ध कैलाश मंदिर क़ा निर्माण किसने किया था -</span> <span style="font-size: small;">कृष्ण प्रथम, राष्ट्रकूट </span></div><span style="font-size: small;"></span></li>
<li><span style="font-size: small;"></span><br />
<div style="text-align: left;"><span style="font-size: small;">अकबर के दरबार में प्रशिद्ध संगीतकार तानसेन क़ा मूल नाम क्या था - रामतनु पांडये</span></div></li>
<li><br />
<div style="text-align: left;"><span style="font-size: small;">मिनामता रोग क़ा कारण - पारा</span></div></li>
<li><br />
<div style="text-align: left;"><span style="font-size: small;">आर्थिक मामलो में सुधर के लिए सलाह हेतु राज- सर्कार ने एक संघठन क़ा गठन किया है - इस संघठन क़ा नाम है - आर्थिक नीति एवं सुधर परिषद् |</span></div></li>
<li><br />
<div style="text-align: left;"><span style="font-size: small;">भारतीय संविधान के किस अनुच्छेद के अंतर्गत भारत सर्कार क़ा दैत्व है की वह बहिये आक्रमण एवं आन्तरिक अश्न्ति से राज्यों की रक्षा करे - 355 </span></div></li>
<li><br />
<div style="text-align: left;"><span style="font-size: small;">निम्न में से किस समूह के जीवों क़ा डूबने से हुई म्रत्यु क पता लगाने में महत्त्व है - diotoms </span></div></li>
<li><br />
<div style="text-align: left;"><span style="font-size: small;">जब पुष्कर की पहाड़ियों में भारी वेर्षा होती है तो बाड़ कहाँ आती है - बालोतरा में </span></div></li>
<li><br />
<div style="text-align: left;"><span style="font-size: small;">2008 क़ा बुकर पुरष्कार किसने प्राप्त किया - अरविन्द अडिगा </span></div></li>
<li><br />
<div style="text-align: left;"><span style="font-size: small;">सयुक्त रास्ट्र अमेरिका की मिलिट्री में चार तारे जनरल प्रथम महिला है - एनिडून वुडी |</span></div></li>
<li><br />
<div style="text-align: left;"><span style="font-size: small;">निम्न में से कोनसा अम्ल दूध से दही बनाने के दोरान बनता है - लेक्टिक एसिड |</span></div></li>
<li><br />
<div style="text-align: left;"><span style="font-size: small;">राजस्थान में गुरु शिखर चोटी की ऊंचाई कितनी है - 1772 मी</span></div></li>
<li><br />
<div style="text-align: left;"><span style="font-size: small;">अर्कियोप्तेरिक्स किन वर्गों के प्राणियों के बीच की योजक कड़ी है - सरीसर्प और पक्षी |</span></div></li>
<li><br />
<div style="text-align: left;"><span style="font-size: small;">प्रदीप बंदरगाह कहाँ स्थित है - उड़ीसा |</span></div></li>
<li><br />
<div style="text-align: left;"><span style="font-size: small;">मंगला भाग्यम शक्ति एवं एश्वर्या क्या है - बाड़मेर सांचोर बेसिन मी खोजे गए तेल क्षेत्र |</span></div></li>
<li><br />
<div style="text-align: left;"><span style="font-size: small;">राष्ट्रीय डिजाइन संसथान ने भोगोलिक सूचक पद मे शिल्प कला मे किनका सूचीकरण किया है - ब्लू पोटरी जयपुर की एवं चिकनी मिटटी उद्योग उदयपुर </span></div></li>
<li><br />
<div style="text-align: left;"><span style="font-size: small;">मोती mukye रूप से बना होता है - केल्सियम कार्बोनेट </span></div></li>
<li><br />
<div style="text-align: left;"><span style="font-size: small;">प्रशिद्ध अन्गुलियोंनुमा झील कहाँ स्थित है - USA</span></div></li>
<li><br />
<div style="text-align: left;"><span style="font-size: small;">किस साल मे बाड़मेर के कवास स्थान पर भीषण बाड़ आई थी - 2006 </span></div></li>
<li><br />
<div style="text-align: left;"><span style="font-size: small;">शाहपूरा भीलवाडा मे जिस संप्रदाय की पीठ स्थित है वह हे - रामसनेही संप्रदाय </span></div></li>
<li><br />
<div style="text-align: left;"><span style="font-size: small;">अष्ठा ध्याई क़ा लेखक था - पाणिनि </span></div></li>
<li><br />
<div style="text-align: left;"><span style="font-size: small;">कोंग्रेस के त्रिपुरी अधिवेशन के पश्चात सुभास बॉस और दक्षिणी पंथी क़ा समस्त झगडा किस प्रशन पर केन्द्रित हो गया - कोंग्रेस कार्यकारिणी समिति क़ा गठन </span></div></li>
<li><br />
<div style="text-align: left;"><span style="font-size: small;">अदम्य चेतना ट्रस्ट, हेव्ल्स इंडिया लिमिटेड, हिंदुस्तान जिंक लिमिटेड तथा डी. एस. सी. एल. कोटा आदि ट्रस्ट / कार्पोरेट संभंधित है - मिड डे मील योजना से |</span></div></li>
<li><br />
<div style="text-align: left;"><span style="font-size: small;">राजस्थान मे जन्मे एक उद्योगपति ने 1920 इ मे सी. वी. रमन को इनकी महत्वपूर्ण शोध के लिए 22000 रु की सहायता जुटाई जिसके कारण इन्हें नोबल पुरष्कार मिला - घनश्याम दास बिडला </span></div></li>
<li><br />
<div style="text-align: left;"><span style="font-size: small;">अँधा युग के लेखक कोंन हे - धर्मवीर भारती |</span></div></li>
<li><br />
<div style="text-align: left;"><span style="font-size: small;">सयुक्त राष्ट्र महा सभा के अध्यक्ष - मिगुल द एस्कोटा </span></div></li>
<li><br />
<div style="text-align: left;"><span style="font-size: small;">किस महा द्वीप मे एटलस पर्वत स्थित है - अफ्रीका |</span></div></li>
<li><br />
<div style="text-align: left;"><span style="font-size: small;">प्रचलित मूल्यों के आधार पर 2007-08 के दोरान राजस्थान मे प्रति व्येक्ती आय है - २२०००</span></div></li>
<li><br />
<div style="text-align: left;"><span style="font-size: small;">राजस्थान मे नवल गड़ (झुंझुनू ) ख़बरों मे है क्यों की - राजस्थान सरकार ने सीमेंट निर्माताओं को जमीन उपलब्ध करने की जिम्मेदारी ली है |</span></div></li>
<li><br />
<div style="text-align: left;"></div><span style="font-size: small;">जब पानी मे नमक मिलाया जाता है तो निम्न मे से कोनसा परिवर्तन होता है - क्वाथ्नाक बढता है व जमाव बिदु घटता है |</span></li>
<li><span style="font-size: small;">जब एक वेक्ति तीव्र प्रकाश क्षेत्र से अँधेरे कमरे मे प्रवेश करता है तो उसे कुछ समय क लिए स्पष्ट दिखाई नहीं देता है बाद मे धीरे धीरे उसे चीजे दिखाई देने लगती है इसका कारण है - पुतली के आकार मे परिवर्तन |</span></li>
<li><span style="font-size: small;">जो कला शेली भारतीय और यूनानी आकृति क़ा समिश्रण है उसे कहते है - गांधार शेली |</span></li>
<li><span style="font-size: small;">भारत के किस शहर मे एशिया क़ा पहला D.N.A. बैंक स्थापित किया गया - लखनऊ |</span></li>
<li><span style="font-size: small;">राजस्थान मे राइका है - परम्परागत ऊंट पालन पोषण करता |</span></li>
<li><span style="font-size: small;">राजपूताना मध्य भारत सभा क़ा प्रथम अधिवेशन 1919 मे कहाँ हुआ था - दिल्ली </span></li>
<li><span style="font-size: small;">The Odecity of होप" के लेखक क़ा क्या नाम है- बराक ओबामा </span></li>
<li><span style="font-size: small;">रिडकोर (RIDCOR) है - Road Development Infrastructure Development Company of Rajasthan |</span></li>
<li><span style="font-size: small;">वह कोनसा अभिलेख है जो महाराणा कुम्भा के लेखन पर प्रकाश डालता है - कीर्ति स्तम्भ प्रशस्ति (1460)</span></li>
<li><span style="font-size: small;">ज्ञान पीठ पुरस्कार (6 Nov- 2008) प्रदान किया गया है - रहमान राही </span></li>
<li><span style="font-size: small;">पराजीनी फसल "स्वर्ण चावल " किस वान्छनिये लक्षण के लिए तेयार की गई है - विटामिन A</span></li>
<li><span style="font-size: small;">विश्व के सबसे युवा सम्राट किस राष्ट्र के है - भूटान </span></li>
<li><span style="font-size: small;">मेमथ किसके पूर्वज है - हाथी के </span></li>
<li><span style="font-size: small;">राजस्थान क़ा कोनसा जिला अधिकतम मात्र मे इसबगोल पैदा करता है जालोर </span></li>
<li><span style="font-size: small;">मेवाड, बांगड़ और पास के क्षेत्रों के भीलो मे सामाजिक सुधर के लिए "लसोडिया आन्दोलन" क़ा सूत्र पट किसने किया - सुरमल दास |</span></li>
<li><span style="font-size: small;">भारतीय अन्तरिक्ष अनुशंधान संघठन के अध्यक्ष है - जी माधवन नायर </span></li>
<li><span style="font-size: small;">सबसे स्थाई पारिस्थितिक तंत्र है - समुद्र क़ा </span></li>
<li><span style="font-size: small;">राजस्थान के कोनसे जिले मे सबसे कम जनसंख्या घनत्व पाया जाता है जैसलमेर </span></li>
<li><span style="font-size: small;">जेव आवर्धन से तात्पर्य है - उत्तरोत्तर पोषण स्तरों के जीवों मे पीडक नाशियो की मात्र क़ा बढना |</span></li>
<li><span style="font-size: small;">राजस्थान क़ा कोनसा वृक्ष जंगल की ज्वाला के नाम से जाना जाता है - पलास |</span></li>
<li><span style="font-size: small;">राजस्थान मे किस शहर को " सन सिटी " के नाम से जाना जाता है - जोधपुर |</span></li>
<li><span style="font-size: small;">ब्रहम समाज , रामकृष्ण मिशन और आर्य समाज मे क्या समानता थी - तीनो ही राजनेतिक उद्देशियों के लिए नहीं बने, लेकिन तीनो ने ही देश भक्ति की भावना के विकास मे सहायता दि </span></li>
<li><span style="font-size: small;">गोदावरी नदी के तट पर स्थित महा जन पद था - अस्सक |</span></li>
<li><span style="font-size: small;">राजस्थान के नाथरा की पाल क्षेत्र मे कोनसा खनिज पाया जाता है - लोह अयष्क</span></li>
<li><span style="font-size: small;">निम्न स्थानों मे किस एक स्थान पर सिन्धु घांटी सभ्येता से संभंध विख्यात वृषभ मुद्रा प्राप्त हुई थी - हद्दप्पा |</span></li>
<li><span style="font-size: small;">चन्द्र यान प्रथम क़ा प्रक्षेपण किया गया था - आंध्र प्रदेश से </span></li>
<li><span style="font-size: small;">फिटकरी गंदले पानी को किस प्रक्रिया द्वारा स्वछ करती है -स्कंदन </span></li>
<li><span style="font-size: small;">हेंडलूम मार्क प्रमाणिकता बतलाता है - हेंडलूम कपड़ो की </span></li>
<li><span style="font-size: small;">किस देश ने भारत के साथ नागरिक परमाणु सहयोग समझोते पर सितम्बर 2008 मे हस्ताक्षर किये - फ़्रांस </span></li>
<li><span style="font-size: small;">थाबोम्बेकी के स्थिफा देने के बाड़ दक्षिण अफ्रीका क़ा राष्ट्रपति किसे नियुक्त किया गया - कगलेमा मोठ लाथे</span></li>
<li><span style="font-size: small;">राजस्थान मे मरू विकास कार्यक्रम किस सन मे प्रारंभ हुआ - 1977-78 मे </span></li>
<li><span style="font-size: small;">मसूरिया साडी बनती है - कोटा मे </span></li>
<li><span style="font-size: small;">खानवा मे बाबर के विरुद्ध सांगा की सहायता के लिए किसके नेतृत्व मे मारवाड़ी सेना भेजी गई थी - मालदेव |</span></li>
<li><span style="font-size: small;">भारत मे जेव विविधता तपस्थल "Hot Spot' है - पूर्वी हिमालय और पश्चिमी घांट |</span></li>
<li><span style="font-size: small;">भारत रत्न के लिए किसे चुना गया है - प्- भीमसेन जोशी </span></li>
<li><span style="font-size: small;">राजस्थान के प्रतेक राज्ये मे महकमा बकायत होता था जो - अच्छी फसल के समय शेष राजष्व वसूलता था</span></li>
<li><span style="font-size: small;">कोरल रीफ या जीवाश्म पट्टी प्राय कहाँ पाई जाती है - कर्क व मकर के बीच तटीय क्षेत्रों मे </span></li>
<li><span style="font-size: small;">किसका उपयोग पोलिथीन के संश्लेषण मे किया जाता है - एथेन </span></li>
<li><span style="font-size: small;">भारत मे "मिलियन प्लस आबादी " वाले कितने शहर हे ( ज ग 2001) - 39</span></li>
<li><span style="font-size: small;">राष्ट्रीय जल विकास एजेंसी कोनसे सन मे स्थापित की गई थी - 1980 </span></li>
<li><span style="font-size: small;">न्याय दर्शन क़ा लेखक था - गोत्तम </span></li>
<li><span style="font-size: small;">कंधमाल किस राज्ये मे है - उड़ीसा मे </span></li>
<li><span style="font-size: small;">भारतीय प्रधान मंत्री मनमोहन सिह किस राज्ये से राज्ये सभा के निर्वाचित सदस्य है - आसाम </span></li>
<li><span style="font-size: small;">1946 के चुनाव के पश्चात मुस्लिम लीग ने किस प्रान्त मे अपनी सरकार बनाई - बंगाल मे </span></li>
<li><span style="font-size: small;">कोंन सा शहर राजस्थान क़ा "मानचेस्टर कहा जाता है - भीलवाडा |</span></li>
<li><span style="font-size: small;">फिरोमोंस पाए जाते है - कीटों मे </span></li>
<li><span style="font-size: small;">कोनसा राज्ये उत्तर पूर्वी राज्यों की सात बहनों क़ा भाग नहीं है - पश्चिमबंगाल </span></li>
<li><span style="font-size: small;">राजस्थान मे उपनिवेशन क़ा मुख्य कार्य - भूमि आवंटन करना </span></li>
<li><span style="font-size: small;">पश्चिमी बंगाल के राज्य पाल कोंन है - गोपाल गाँधी </span></li>
<li><span style="font-size: small;">केंद्र मे द्वेध शाशन किस अधिनियम के अंतर्गत स्थापित किया गया - 1935 भारत सरकार अधिनियम |</span></li>
<li><span style="font-size: small;">विश्व वन्य जीव कोष क़ा प्रतीक है - लाल पांडा </span></li>
<li><span style="font-size: small;">राजस्थान मे मानसून वर्षा किस दिशा मे बडती है - उत्तर पश्चिम से दक्षिण पूर्व </span></li>
<li><span style="font-size: small;">धावडिया वे लोग होते थे जो - दोड मे भाग लिया करते थे |</span></li>
<li><span style="font-size: small;">समुद्री जल को शुद्ध जल मे किस प्रक्रिया द्वारा बदला जा सकता है - उत्क्रम परासरण </span></li>
<li><span style="font-size: small;">जल दुर्ग किस स्थान पर स्थित है - गागरोन </span></li>
<li><span style="font-size: small;">निम्न मे से किस फसल मे एजोला एनाबिना जेव उर्वरक क़ा उपयोग किया जाता है - चावल </span></li>
<li><span style="font-size: small;">बनिठ्नी किस चित्र शेली से संभंधित थी - किशन गढ़ शेली </span></li>
<li><span style="font-size: small;">राजस्थान मे खस क़ा उत्पादन सर्वाधिक किस मेखला से होता है - सवाई माधोपुर भरतपुर टोंक |</span></li>
<li><span style="font-size: small;">द्वितीय गोल मेज सम्मलेन मे कांग्रेस क़ा प्रतिनिधित्व किसने किया - महत्मा गाँधी ने </span></li>
<li><span style="font-size: small;">वंश भास्कर के रचियेता है - सूर्ये मल मिश्रण </span></li>
<li><span style="font-size: small;">मैत्री एक्सप्रेस ट्रेन किन दो स्टेशनों के मध्य चलाई गई - कोल्कता एवं ढाका </span></li>
<li><span style="font-size: small;">बक्सा बाघ परियोजना भारत के किस राज्ये मे स्थित है - पश्चिमी बंगाल </span></li>
<li><span style="font-size: small;">राजपूताने क़ा अबुफजल किसे कहा गया है - मुह णोत नेणसी </span></li>
<li><span style="font-size: small;">राजस्थान के इतिहास क़ा पिता - कर्नल टोड इस्लिंगटन (इंग्लेंड )</span></li>
<li><span style="font-size: small;">कालीबंगा सब्द क़ा अर्थ है - काली चूडियाँ </span></li>
</ol>Vinod Bhanahttp://www.blogger.com/profile/08200806326936994849noreply@blogger.com0